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बर्खास्तगी के खिलाफ टीचर की अपील खारिज करने पर हाईकोर्ट नाराज, बीएसए से मांगा हलफनामा - HIGH COURT NEWS

न्यायमूर्ति प्रकाश पाडिया ने प्राथमिक विद्यालय हरिपुर सुजानगंज जौनपुर में कार्यरत रहे टीचर सुशील कुमार यादव की याचिका पर दिया आदेश.

इलाहाबाद हाईकोर्ट का आदेश.
इलाहाबाद हाईकोर्ट का आदेश. (Photo Credit : ETV Bharat)
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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Jan 16, 2025, 9:14 PM IST

प्रयागराज : इलाहाबाद हाईकोर्ट ने बगैर किसी अधिकारिता के टीचर की बर्खास्तगी के खिलाफ दाखिल अपील खारिज करने के बीएसए के आदेश को अवैध माना है. कोर्ट ने इस मामले में बेसिक शिक्षा अधिकारी (बीएसए) जौनपुर से व्यक्तिगत हलफनामा दाखिल करने को कहा है. साथ ही पूछा है कि किस अधिकार से उन्होंने बर्खास्तगी के खिलाफ दाखिल अपील खारिज की है.

यह आदेश न्यायमूर्ति प्रकाश पाडिया ने प्राथमिक विद्यालय हरिपुर सुजानगंज जौनपुर में कार्यरत रहे टीचर सुशील कुमार यादव की याचिका पर दिया है. याची के अधिवक्ता आलोक कुमार यादव ने कोर्ट को बताया कि बर्खास्तगी आदेश के खिलाफ दाखिल अपील पर सुनवाई का अधिकार मेम्बर सेक्रेटरी बेसिक एजूकेशन बोर्ड को है न कि बीएसए को है. याची को 27 दिसंबर 2019 को बर्खास्त कर दिया गया था. छह अगस्त 2024 को याचिका यह कहते हुए निस्तारित कर दी गई कि याची को बर्खास्तगी के खिलाफ अपील दाखिल करने का वैकल्पिक उपचार है. इस पर याची ने अपील दाखिल की, लेकिन बीएसए ने स्वयं अपील पर सुनवाई कर उसे खारिज कर दिया. बीएसए के इस आदेश को हाईकोर्ट में याचिका में चुनौती दी गई है.

हाईकोर्ट ने इस मामले में अधिवक्ताओं के तर्क सुनने के बाद बीएसए को व्यक्तिगत हलफनामा दाखिल करने का निर्देश दिया है. साथ ही कहा कि हलफनामा दाखिल नहीं किया जाता तो बीएसए 23 जनवरी को न्यायालय में उपस्थित रहेंगे.

प्रयागराज : इलाहाबाद हाईकोर्ट ने बगैर किसी अधिकारिता के टीचर की बर्खास्तगी के खिलाफ दाखिल अपील खारिज करने के बीएसए के आदेश को अवैध माना है. कोर्ट ने इस मामले में बेसिक शिक्षा अधिकारी (बीएसए) जौनपुर से व्यक्तिगत हलफनामा दाखिल करने को कहा है. साथ ही पूछा है कि किस अधिकार से उन्होंने बर्खास्तगी के खिलाफ दाखिल अपील खारिज की है.

यह आदेश न्यायमूर्ति प्रकाश पाडिया ने प्राथमिक विद्यालय हरिपुर सुजानगंज जौनपुर में कार्यरत रहे टीचर सुशील कुमार यादव की याचिका पर दिया है. याची के अधिवक्ता आलोक कुमार यादव ने कोर्ट को बताया कि बर्खास्तगी आदेश के खिलाफ दाखिल अपील पर सुनवाई का अधिकार मेम्बर सेक्रेटरी बेसिक एजूकेशन बोर्ड को है न कि बीएसए को है. याची को 27 दिसंबर 2019 को बर्खास्त कर दिया गया था. छह अगस्त 2024 को याचिका यह कहते हुए निस्तारित कर दी गई कि याची को बर्खास्तगी के खिलाफ अपील दाखिल करने का वैकल्पिक उपचार है. इस पर याची ने अपील दाखिल की, लेकिन बीएसए ने स्वयं अपील पर सुनवाई कर उसे खारिज कर दिया. बीएसए के इस आदेश को हाईकोर्ट में याचिका में चुनौती दी गई है.

हाईकोर्ट ने इस मामले में अधिवक्ताओं के तर्क सुनने के बाद बीएसए को व्यक्तिगत हलफनामा दाखिल करने का निर्देश दिया है. साथ ही कहा कि हलफनामा दाखिल नहीं किया जाता तो बीएसए 23 जनवरी को न्यायालय में उपस्थित रहेंगे.

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