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UP Mukhyamantri Nagar Srijan Yojana : 23 करोड़ से बदलेगी बनारस के 86 गांवों की तस्वीर, तैयार हुआ ये प्लान - मुख्यमंत्री नगर सृजन योजना

वाराणसी नगर निगम (Varanasi Municipal Corporation) में शामिल 86 गांवों की अब जल्द ही तस्वीर बदलने वाली है. 23 करोड़ रुपये का बजट से इन गांवों का विकास होगा. अभी तक इन ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाली लाखों की आबादी बगैर सड़क, बगैर स्ट्रीट लाइट और बिना सीवर निस्तारण की व्यवस्था के समस्याओं से जूझती रही.

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Published : Jan 21, 2023, 2:27 PM IST

86 गांवों का होगा विकास

वाराणसी: शहर के साथ ग्रामीण क्षेत्रों के विकास को मजबूती देने के लिए शहरी क्षेत्र के विकास की रूपरेखा योगी सरकार में तैयार की गई. पिछले कार्यकाल में ही प्रस्ताव को मंजूरी देने के साथ ही प्रदेश भर में नगर निकाय की सीमा बढ़ाने के उद्देश्य से ग्रामीण क्षेत्रों को नगर निगम में शामिल करने का काम शुरू हुआ. प्रधानमंत्री मोदी का संसदीय क्षेत्र में भी 86 ऐसे गांव हैं, जिनको नगर निगम सीमा में जोड़कर शहरी क्षेत्र का विस्तार किया गया.

इसके बाद 90 वार्ड से बढ़कर अब 100 वार्ड हो चुके हैं, लेकिन इन सबके बीच लंबे वक्त से इन 86 गांवों में रहने वाली लाखों की आबादी को नगर निगम सीमा में शामिल होने की जितनी खुशी थी. उससे कहीं ज्यादा दुख इन्हें झेलने पड़े. यह दुख और तकलीफ इस बात के लिए की थी, क्योंकि पहले ग्राम सभा में रहने वाले यह लोग खराब सड़क बगैर शिविर रात के अंधेरे में सड़कों पर चलने के आदि थे, लेकिन नगर निगम सीमा में आने के बाद इन्हें व सपने दिखाए गए जो शायद कई सालों से पूरे नहीं हो रहे थे. अब उम्मीद जगी है कि यह सपने पूरे होंगे, क्योंकि मुख्यमंत्री नगर सृजन योजना के तहत नगर सीमा में शामिल हुए इन 86 गांव की तस्वीर बदलने की प्लानिंग शुरू हो चुकी है.

वाराणसी के नगरीय क्षेत्र के विस्तार के लिए नगर निगम को शहर से सटे 86 गांव को ग्राम सभा से अपने क्षेत्र में लाने की प्लानिंग तैयार हुई थी. लगभग 3 साल पहले इस काम को शुरू करते हुए इसे अमलीजामा पहनाया गया, लेकिन नगरीय क्षेत्र में शामिल होने वाले गांव में रहने वाले लोगों की मुसीबतें कम होने की जगह और बढ़ गईं, क्योंकि इन ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाली लाखों की आबादी बगैर सड़क, बगैर स्ट्रीट लाइट और बिना सीवर निस्तारण की व्यवस्था के समस्याओं से जूझती रही.

साफ-सफाई तक की दिक्कत सामने आने लगी और यहां पर रहने वाले लोग घड़ी के पेंडुलम की तरह से इधर-उधर डोलते रहे, क्योंकि ग्रामसभा खत्म होने के बाद प्रधान सुनता नहीं था और नगर निगम वाले दस्तावेज तैयार न होने की बात कहकर इन्हें टालते रहते थे, लेकिन अब वाराणसी नगर निगम में शामिल इन ग्रामीण क्षेत्रों के विकास को पंख लगने जा रहे हैं.

इस बारे में नगर आयुक्त वाराणसी प्रणय सिंह का कहना है कि मुख्यमंत्री नगर सृजन योजना के अंतर्गत इन नए क्षेत्रों के विकास की प्लानिंग की गई है और कुल 23 करोड़ रुपये का बजट सैंक्शन हुआ है. इसमें पहले किस्त की धनराशि 17 करोड़ रिलीज हुए हैं और इस दिशा में काम भी शुरू कर दिया गया है. जिस क्षेत्र के स्थानीय जनप्रतिनिधि हैं, उनसे संपर्क करके वहां पर विकास कार्यों का शिलान्यास भी करवाया गया है और माना जा रहा है कि 3 से 4 महीने के अंदर यह काम पूरे हो जाएंगे.

पहली किस्त जारी होने के बाद उसका फाइनल सर्टिफिकेट मिलते ही हम दूसरी किस्त से काम की शुरुआत भी करवा देंगे. 6 करोड़ रुपये की दूसरी किस्त के जरिए शहर के इन नए क्षेत्रों के विकास में और तेजी आ जाएगी. पहली किस्त से सड़कों का निर्माण सीवर व्यवस्था को सुचारू रूप से करने के साथ ही चौराहों पर हाई मास्क और एलईडी लाइट लगाने का काम किया जा रहा है, जबकि दूसरी किस्त के जरिए सुंदरीकरण समेत तमाम कार्य शुरू किए जाएंगे.

हालांकि इस बारे में उन तमाम क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को अब भी विश्वास नहीं हो रहा है. लोगों का कहना है हम तो बीते कई सालों से रह रहे हैं और इन समस्याओं के आदी हो चुके हैं. हमारे जीवन स्तर को सुधारने का प्रयास करने का दावा बहुत सालों से हो रहा है, लेकिन हकीकत क्या है या तो हम लोग ही जानते हैं. लोगों का कहना है बजट के बारे में हमने भी सुना है, लेकिन जब काम शुरू हो जाएगा तब हम मानेंगे की चीजें होने लगी हैं.

पढ़ेंः Varanasi Municipal Corporation: 100 करोड़ के बांड संग शेयर मार्केट में उतरने को तैयार, सेबी तैयार करेगा रूपरेखा

86 गांवों का होगा विकास

वाराणसी: शहर के साथ ग्रामीण क्षेत्रों के विकास को मजबूती देने के लिए शहरी क्षेत्र के विकास की रूपरेखा योगी सरकार में तैयार की गई. पिछले कार्यकाल में ही प्रस्ताव को मंजूरी देने के साथ ही प्रदेश भर में नगर निकाय की सीमा बढ़ाने के उद्देश्य से ग्रामीण क्षेत्रों को नगर निगम में शामिल करने का काम शुरू हुआ. प्रधानमंत्री मोदी का संसदीय क्षेत्र में भी 86 ऐसे गांव हैं, जिनको नगर निगम सीमा में जोड़कर शहरी क्षेत्र का विस्तार किया गया.

इसके बाद 90 वार्ड से बढ़कर अब 100 वार्ड हो चुके हैं, लेकिन इन सबके बीच लंबे वक्त से इन 86 गांवों में रहने वाली लाखों की आबादी को नगर निगम सीमा में शामिल होने की जितनी खुशी थी. उससे कहीं ज्यादा दुख इन्हें झेलने पड़े. यह दुख और तकलीफ इस बात के लिए की थी, क्योंकि पहले ग्राम सभा में रहने वाले यह लोग खराब सड़क बगैर शिविर रात के अंधेरे में सड़कों पर चलने के आदि थे, लेकिन नगर निगम सीमा में आने के बाद इन्हें व सपने दिखाए गए जो शायद कई सालों से पूरे नहीं हो रहे थे. अब उम्मीद जगी है कि यह सपने पूरे होंगे, क्योंकि मुख्यमंत्री नगर सृजन योजना के तहत नगर सीमा में शामिल हुए इन 86 गांव की तस्वीर बदलने की प्लानिंग शुरू हो चुकी है.

वाराणसी के नगरीय क्षेत्र के विस्तार के लिए नगर निगम को शहर से सटे 86 गांव को ग्राम सभा से अपने क्षेत्र में लाने की प्लानिंग तैयार हुई थी. लगभग 3 साल पहले इस काम को शुरू करते हुए इसे अमलीजामा पहनाया गया, लेकिन नगरीय क्षेत्र में शामिल होने वाले गांव में रहने वाले लोगों की मुसीबतें कम होने की जगह और बढ़ गईं, क्योंकि इन ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाली लाखों की आबादी बगैर सड़क, बगैर स्ट्रीट लाइट और बिना सीवर निस्तारण की व्यवस्था के समस्याओं से जूझती रही.

साफ-सफाई तक की दिक्कत सामने आने लगी और यहां पर रहने वाले लोग घड़ी के पेंडुलम की तरह से इधर-उधर डोलते रहे, क्योंकि ग्रामसभा खत्म होने के बाद प्रधान सुनता नहीं था और नगर निगम वाले दस्तावेज तैयार न होने की बात कहकर इन्हें टालते रहते थे, लेकिन अब वाराणसी नगर निगम में शामिल इन ग्रामीण क्षेत्रों के विकास को पंख लगने जा रहे हैं.

इस बारे में नगर आयुक्त वाराणसी प्रणय सिंह का कहना है कि मुख्यमंत्री नगर सृजन योजना के अंतर्गत इन नए क्षेत्रों के विकास की प्लानिंग की गई है और कुल 23 करोड़ रुपये का बजट सैंक्शन हुआ है. इसमें पहले किस्त की धनराशि 17 करोड़ रिलीज हुए हैं और इस दिशा में काम भी शुरू कर दिया गया है. जिस क्षेत्र के स्थानीय जनप्रतिनिधि हैं, उनसे संपर्क करके वहां पर विकास कार्यों का शिलान्यास भी करवाया गया है और माना जा रहा है कि 3 से 4 महीने के अंदर यह काम पूरे हो जाएंगे.

पहली किस्त जारी होने के बाद उसका फाइनल सर्टिफिकेट मिलते ही हम दूसरी किस्त से काम की शुरुआत भी करवा देंगे. 6 करोड़ रुपये की दूसरी किस्त के जरिए शहर के इन नए क्षेत्रों के विकास में और तेजी आ जाएगी. पहली किस्त से सड़कों का निर्माण सीवर व्यवस्था को सुचारू रूप से करने के साथ ही चौराहों पर हाई मास्क और एलईडी लाइट लगाने का काम किया जा रहा है, जबकि दूसरी किस्त के जरिए सुंदरीकरण समेत तमाम कार्य शुरू किए जाएंगे.

हालांकि इस बारे में उन तमाम क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को अब भी विश्वास नहीं हो रहा है. लोगों का कहना है हम तो बीते कई सालों से रह रहे हैं और इन समस्याओं के आदी हो चुके हैं. हमारे जीवन स्तर को सुधारने का प्रयास करने का दावा बहुत सालों से हो रहा है, लेकिन हकीकत क्या है या तो हम लोग ही जानते हैं. लोगों का कहना है बजट के बारे में हमने भी सुना है, लेकिन जब काम शुरू हो जाएगा तब हम मानेंगे की चीजें होने लगी हैं.

पढ़ेंः Varanasi Municipal Corporation: 100 करोड़ के बांड संग शेयर मार्केट में उतरने को तैयार, सेबी तैयार करेगा रूपरेखा

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