सुलतानपुरः पुरुषों के कंधे से कंधा मिलाकर महिलाएं भी राष्ट्र के नवनिर्माण में भागीदार बनें, इसके लिए मेधावी बेटियों को उच्चाधिकारियों की कुर्सी सांकेतिक रूप से देने की कवायद की गई है. हाईस्कूल की परीक्षा में 86 फीसदी अंक प्राप्त करने वाली प्रज्ञा को जिलाधिकारी की कुर्सी पर बैठाया गया. ईटीवी भारत से विशेष बातचीत में छात्रा प्राज्ञा ने कहा कि वो इस कुर्सी का सम्मान करती हैं. प्रज्ञा ने कहा कि मैं भी पढ़कर लिखकर आईएएस अफसर बनूंगी.
एक दिन की डीएम बनीं प्रज्ञा त्रिपाठी
सुलतानपुर की प्रज्ञा त्रिपाठी ने केश कुमारी बालिका इंटरमीडिएट कॉलेज से हाई स्कूल में परीक्षा में 86 फीसदी अंक हासिल किया था. इंटरमीडिएट में बेहतर तैयारी और अच्छे प्रदर्शन को देखते हुए जिलाधिकारी के कुर्सी सोमवार को सांकेतिक रूप से प्रदान की गई. इस दौरान प्रज्ञा ने न सिर्फ लोगों की समस्याओं को सुना, बल्कि उनके निस्तारण के लिए जिलाधिकारी रवीश गुप्ता से विचार-विमर्श भी किया.
प्रज्ञा तिवारी ने जताई खुशी
प्रज्ञा को सांकेतिक रूप से डीएम की कुर्सी पर बैठाया गया. जिस पर प्रज्ञा ने कहा कि यह उनके लिए गर्व की बात है. इस दौरान प्रज्ञा ने छात्रों को संदेश देते हुए कहा कि सभी को मेहनत करने से पीछे नहीं हटना चाहिए. छात्र मेहनत के दम पर कोई भी मुकाम हासिल कर सकता है.
नारी शक्ति सराहनीय कार्यक्रम
प्रज्ञा ने कहा कि सरकार का मिशन शक्ति कार्यक्रम बेहद सराहनीय है. प्रज्ञा ने सरकार से आह्वान किया कि इस अभियान को आगे भी जारी रखा जाए. जिससे महिलाओं का विश्वास बढ़े और वो उच्च मुकाम हासिल कर सकें.
ये अभियान एक बेहतर संदेश
जिला अधिकारी रवीश गुप्ता ने कहा कि मिशन शक्ति अभियान के तहत यह कार्यक्रम आयोजित किया गया है. जिसमें छात्रा प्रज्ञा को जिला अधिकारी की कुर्सी पर बैठाया गया. ये जीजीआईसी की मेधावी छात्रा है. डीएम ने प्रज्ञा की तारीफ करते हुए कहा कि इन्होंने बहुत अच्छा कार्य किया है. जो शिकायतें आई है, उसका बहुत ही बेहतरीन ढंग से निराकरण किया है.