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शाहजहांपुर मेडिकल कॉलेज की लापरवाही, हाथ में बेटी का शव उठाकर मुर्दा घर पहुंचे परिजन

उत्तर प्रदेश के शाहजहांपुर में मेडिकल कॉलेज की लापरवाही का मामला सामने आया है. जिले में एक परिवार को मासूम के शव को खुद उठाकर मॉच्यूरी तक पहुंचाना पड़ा.

medical college shahjahanpur
शाहजहांपुर मेडिकल कॉलेज की लापरवाही
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Published : Aug 4, 2020, 11:59 PM IST

Updated : Sep 4, 2020, 3:10 PM IST

शाहजहांपुर: जिले में मेडिकल कॉलेज का बेरहम चेहरा सामने आया है. यहां एक परिवार को अपने मासूम की लाश को अपने हाथों से उठाकर मॉच्यूरी तक पहुंचाना पड़ा. परिजनों ने आरोप लगाया है कि डॉक्टरों ने स्टेचर देने से इनकार कर दिया था. गोद में बच्चे की लाश ले जाते हुआ वीडियो वायरल होने के बाद हड़कंप मचा हुआ है. फिलहाल मेडिकल कॉलेज प्रशासन ने मामले में जांच के आदेश दिए हैं.

शाहजहांपुर मेडिकल कॉलेज की लापरवाही.

यह तस्वीर किसी के भी दिल को झकझोर सकती है, क्योंकि स्टेचर न मिलने पर परिवार वालों ने बच्चे की लाश को खुद मुर्दाघर पहुंचाया. शर्मसार कर देने वाला यह नजारा शाहजहांपुर के मेडिकल कॉलेज का है. दरअसल तिलहर थाना क्षेत्र के रहने वाले रामबाबू की कार देर रात नेशनल हाई-वे पर अज्ञात वाहन से टकरा गई थी. इसमें बाबूराम की मौत हो गई थी, जबकि उनकी पत्नी और 4 बच्चे गंभीर रूप से घायल हो गए थे.

मंगलवार दोपहर 3 साल की बच्ची आराध्या ने भी दम तोड़ दिया. इसके बाद इमरजेंसी में तैनात डॉक्टरों ने बच्चे की लाश को परिवार वालों से मुर्दाघर में रखने को कहा. जब परिवार वालों ने बच्चे की लाश ले जाने के लिए स्टेचर मांगा तो मेडिकल स्टॉफ ने कोरोना का हवाला देते हुए स्ट्रेचर देने से इनकार कर दिया. मजबूर होकर बच्ची का मामा उसकी लाश को अपने हाथों से उठाकर मुर्दाघर ले गया.

आपको बता दें कि इसी मुर्दाघर में कोरोना की बीमारी से मरने वाले लोगों की लाशें भी रखी जाती हैं, लेकिन मेडिकल स्टॉफ ने स्ट्रेचर देने से मना कर दिया. मेडिकल कॉलेज के प्रिसिंपल अभय कुमार सिन्हा ने बताया कि स्टॉफ की लापरवाही का मामला संज्ञान में आया है. इसकी जांच कराकर दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.

शाहजहांपुर: जिले में मेडिकल कॉलेज का बेरहम चेहरा सामने आया है. यहां एक परिवार को अपने मासूम की लाश को अपने हाथों से उठाकर मॉच्यूरी तक पहुंचाना पड़ा. परिजनों ने आरोप लगाया है कि डॉक्टरों ने स्टेचर देने से इनकार कर दिया था. गोद में बच्चे की लाश ले जाते हुआ वीडियो वायरल होने के बाद हड़कंप मचा हुआ है. फिलहाल मेडिकल कॉलेज प्रशासन ने मामले में जांच के आदेश दिए हैं.

शाहजहांपुर मेडिकल कॉलेज की लापरवाही.

यह तस्वीर किसी के भी दिल को झकझोर सकती है, क्योंकि स्टेचर न मिलने पर परिवार वालों ने बच्चे की लाश को खुद मुर्दाघर पहुंचाया. शर्मसार कर देने वाला यह नजारा शाहजहांपुर के मेडिकल कॉलेज का है. दरअसल तिलहर थाना क्षेत्र के रहने वाले रामबाबू की कार देर रात नेशनल हाई-वे पर अज्ञात वाहन से टकरा गई थी. इसमें बाबूराम की मौत हो गई थी, जबकि उनकी पत्नी और 4 बच्चे गंभीर रूप से घायल हो गए थे.

मंगलवार दोपहर 3 साल की बच्ची आराध्या ने भी दम तोड़ दिया. इसके बाद इमरजेंसी में तैनात डॉक्टरों ने बच्चे की लाश को परिवार वालों से मुर्दाघर में रखने को कहा. जब परिवार वालों ने बच्चे की लाश ले जाने के लिए स्टेचर मांगा तो मेडिकल स्टॉफ ने कोरोना का हवाला देते हुए स्ट्रेचर देने से इनकार कर दिया. मजबूर होकर बच्ची का मामा उसकी लाश को अपने हाथों से उठाकर मुर्दाघर ले गया.

आपको बता दें कि इसी मुर्दाघर में कोरोना की बीमारी से मरने वाले लोगों की लाशें भी रखी जाती हैं, लेकिन मेडिकल स्टॉफ ने स्ट्रेचर देने से मना कर दिया. मेडिकल कॉलेज के प्रिसिंपल अभय कुमार सिन्हा ने बताया कि स्टॉफ की लापरवाही का मामला संज्ञान में आया है. इसकी जांच कराकर दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.

Last Updated : Sep 4, 2020, 3:10 PM IST
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