सहारनपुर: ATS की कार्रवाई में आए दिन सहारनपुर में आतंकी संगठनों से जुड़े संदिग्ध लोग पकड़े जा रहे हैं. हाल ही में ATS ने 3 थाना क्षेत्रों में छापेमारी कर 4 संदिग्ध आंतकियो को गिरफ्तार कर पूछताछ कर रही है. ETV भारत की टीम ने 2 संदिग्धों के परिजनों से बातचीत कर उनके बैकग्राउंड और व्यवहार के बारे में जाना. इस दौरान परिजनों ने उन्हें बेगुनाह बताया है. वहीं ग्रामीणों ने भी उनके व्यवहार की तारीफ की है.
गौरतलब है कि सहारनपुर जनपद आतंकी गतिविधियों के चलते अक्सर चर्चा में रहता है. कभी सहारनपुर शहर से तो कभी फतवों की नगरी देवबंद से ISISI, अलकायदा, इंडियन मुजाहिद्दीन समेत कई आतंकी संगठनों से जुड़े आतंकी पकड़े गए हैं. देवबंद में फर्जी पासपोर्ट, आधारकार्ड और अन्य दस्तावेजों के आधार पर भी संदिग्ध बांग्लादेशी और पाकिस्तानी आतंकी पकड़े जा चुके हैं. यही वजह है कि सीएम योगी ने देवबंद में ATS कमांडो सेंटर की स्थापना की है. इसके बावजूद आतंकी संगठनों से जुड़े लोग सहारनपुर को अपनी पनाहगार बना रहे हैं.
ATS की टीम ने सहारनपुर के अलग-अलग इलाकों में छापेमारी कर 4 संदिग्ध आतंकियों को गिरफ्तार किया है. खुफिया सूचना के आधार पर ATS ने चिलकाना थाना क्षेत्र के मनोहरपुर गांव से मोहम्मद मुख्तार पुत्र आयूब हसन, गागलहेड़ी थाना क्षेत्र के कैलाशपुर गांव से मोहम्मद अलीम पुत्र मोहम्मद सलीम और सैयद माजरा गांव से लुकमान पुत्र इमरान को गिरफ्तार किया है. इसके साथ ही पुलिस ने थाना देवबंद के जाहिरपुर गांव से एक और संदिग्ध आतंकी कामिल पुत्र यासीन को गिरफ्तार किया है. बताया जा रहा है कि पकड़े गए सभी संदिग्धों का कनेक्शन आतंकी संगठनों से मिला है. उनके पास से ATS की टीम को कई अहम सबूत भी मिले हैं. ATS सभी संदिग्धों को गुप्त स्थान पर ले गई है, जहां उनसे पूछताछ की जा रही है.
ईटीवी भारत की टीम ने गागलहेड़ी निवासी मोहम्मद अलीम और लुकमान के गांव पहुंचकर हकीकत जानने की कोशिश की है. यहां संदिग्ध आरोपी लुकमान के सैयद माजरा गांव में दार-ए-अकरम नाम से एक मदरसा चलाता है. मदरसे के सामने ही लुकमान और उसके भाई हन्नान का घर है. भाई हन्नान की मानें तो लुकमान 19 सितंबर को मुरादाबाद के गजरौला कस्बा गया था. जहां से ATS की टीम ने उसे गिरफ्तार कर लिया था. ATS की टीम ने पिछले 22 दिन से लुकमान को हिरासत में रखा है. तब उनकी उससे कोई बात नहीं हो पाई है.
हन्नान ने बताया कि सोमवार को छोटे भाई लुकमान से मिलने लखनऊ गए हैं. उनके वापस आने के बाद ही पता चल चलेगा कि पूरा मामला क्या है या उससे मुलाकात हो पाई है या नहीं. वहीं ग्रामीणों के मुताबिक लुकमान 7 भाइयों में सबसे बड़ा है और गांव में ही मदरसा चलाता है. लुकमान के चार बेटे और तीन बेटियां हैं. लुकमान सभी ग्रामीणों के साथ मिलजुल कर रहता है. उसका व्यवहार सबसे के साथ अच्छा रहा है.
इसके बाद ईटीवी भारत की टीम मोहम्मद अलीम के घर कैलाशपुर पहुंची, जहां उसकी मां रुखसाना का रो-रो कर बुरा हाल है. मां रुखसाना का कहना है कि उसका बेटा अलीम बेकसूर है. अलीम कभी थाने तक भी नहीं गया है. उन्होंने बताया कि अलीम ने 8वीं तक की पढ़ाई की है और लुधियाना में कपड़ा बेचने का काम करता है. घर में उसकी पत्नी और 9 साल की बेटी है. जबकि पिता सलीम का 5 महीने पहले निधन हो गया था. अलीम की मां का कहना है कि ATS ने उनके बेटे को गलत फहमी में गिरफ्तार किया है. वो खुद समाजसेवी है. कोरोना काल में न जाने कितने लोगों की मदद की है. उन्होंने सरकार से मांग की है कि उनके बेटे को छोड़ दिया जाए.
अलीम की पत्नी सादमा ने बताया कि वो कुछ दिन पहले कपड़ा खरीदने कुल्लू मनाली गए थे. लेकिन घर वापस नहीं लौटे और पता चला कि उसको ATS ने गिरफ्तार कर लिया है. पत्नी ने बताया कि अलीम अक्सर लुकमान से मिलने सैयद माजरा जाते थे. लेकिन उनके सामने फोन पर ऐसी कोई बात नहीं होती थी, जिसको संदिग्ध माना जाए. अलीम ईमान के पक्के इंसान हैं. उन्होंने ऐसा कोई काम नहीं किया, जो देश विरोधी रहा हो. ATS ने लुकमान से की गई फोन कॉल के आधार पर अलीम को गिरफ्तार किया है. वहीं ग्रामीणों का मानना है कि अलीम की दोस्ती लुकमान से तो थी, लेकिन वह आतंकी नहीं हो सकता.
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