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मोहन भागवत से मुलाकात के बाद अरशद मदनी ने कहा- संघ और जमीयत को साथ मिलकर करना होगा काम

उत्तर प्रदेश के सहारनपुर में जमीयत उलेमा-ए-हिंद के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी आरएसएस प्रमुख से मुलाकात कर देवबंद लौटे आए हैं. मौलाना अरशद मदनी ने कहा कि मोहब्बत का पैगाम लेकर आरएसएस प्रमुख से मुलाकात की है. आरएसएस प्रमुख ने उनके प्रस्ताव का दिल खोलकर समर्थन किया है.

जानकारी देते मौलाना अरशद मदनी.
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Published : Sep 1, 2019, 8:55 AM IST

Updated : Sep 17, 2020, 4:21 PM IST

सहारनपुर: जमीयत उलेमा-ए-हिंद के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी ने आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत से मुलाकात की. जहां दोनों लोगों ने हिन्दू मुस्लिम भाई चारे पर विचार किया है, वहीं शियासी गलियारों में हलचल मचा दी है. मौलाना अरशद मदनी ने साम्प्रदायिक सौहार्द और हिंदुस्तान की सलामती के लिए मोहब्बत का पैगाम दिया. हिंदुस्तान के इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ है, जब हिन्दू-मुसलमानों के सबसे बड़े संगठनों की मुलाकात हुई है.

जानकारी देते मौलाना अरशद मदनी.
आरएसएस प्रमुख मोहन भागवन ने भी दिल खोलकर मौलाना मदनी की इस पहल का स्वागत किया है. संभावना जताई जा रही है कि मोहन भागवत और मदनी की यह ऐतिहासिक मुलाकात देश में साम्प्रदायिक सौहार्द के नए आयाम स्थापित करने में मील का पत्थर साबित होगी.

मोहब्बत का पैगाम लेकर आरएसएस प्रमुख से की मुलाकात
आरएसएस प्रमुख से मुलाकात कर देवबंद लौटे जमीयत उलेमा-ए-हिंद के अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी ने बताया कि देश में दिनों दिन बढ़ रही नफरत के खिलाफ मोहब्बत का पैगाम लेकर आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत से उनके दफ्तर में मुलाकात की है. इन दिनों हिन्दू-मुसलमानों में चारों ओर नफरत का माहौल बना हुआ है, जिससे देश का भविष्य खतरे में पड़ता दिख रहा है. ऐसे में अपनी फिक्र के बजाए देश की फिक्र करना जरूरी है.

इसे भी पढ़ें:- नई शिक्षा प्रणाली में भारतीय मूल्य भी शामिल होंगे, भागवत ने जताया भरोसा

हमें और आपको मिलकर करना चाहिए काम
मदनी ने बताया कि हमने संघ संचालक मोहन भागवत के सामने अपना यह नजरिया पेश किया कि वर्तमान परिस्थितियों में अगर मिलकर साम्प्रदायिक सौहार्द के लिए काम नहीं किया गया तो आने वाला वक्त केवल अल्पसंख्यकों के लिए ही नहीं बल्कि देश में रहने वाले हर एक व्यक्ति के लिए नुकसानदेह साबित होगा. इतना ही नहीं हमें लगता है कि अगर हालात को अभी काबू नहीं किया गया तो हमारा प्यारा मुल्क तबाह हो जाएगा. इसलिए हमें और आपको मिलकर काम करना चाहिए. हमने अपनी जिम्मेदारी निभाते हुए पहल कर दी है.

आरएसएस प्रमुख ने मिलकर काम करने का किया वादा
आरएसएस प्रमुख ने उनके प्रस्ताव का दिल खोलकर समर्थन करते हुए उम्मीद बंधाई कि देश की एकता और अखंडता के लिए हम मिलकर काम करेंगे. भागवत ने दो टूक कहा कि मुल्क को बचाने के लिए आपकी पहल बिल्कुल सही है. हम इस पर जरूर काम करेंगे. मौलाना मदनी ने कहा कि हमें उम्मीद है कि आने वाले दिनों में हम अब से ज्यादा मिल जुलकर रहेंगे और अपनी कौम और मुल्क के हित में काम करेंगे. संघ संचालक मोहन भागवत और जमीयत अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी की इस मुलाकात ने लोगों के दिलों में उम्मीद की एक नई किरन जगा दी है. माना जा रहा है कि देश के साम्प्रदायिक सौहार्द के लिए यह मुलाकात मील का पत्थर साबित होगी.

सहारनपुर: जमीयत उलेमा-ए-हिंद के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी ने आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत से मुलाकात की. जहां दोनों लोगों ने हिन्दू मुस्लिम भाई चारे पर विचार किया है, वहीं शियासी गलियारों में हलचल मचा दी है. मौलाना अरशद मदनी ने साम्प्रदायिक सौहार्द और हिंदुस्तान की सलामती के लिए मोहब्बत का पैगाम दिया. हिंदुस्तान के इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ है, जब हिन्दू-मुसलमानों के सबसे बड़े संगठनों की मुलाकात हुई है.

जानकारी देते मौलाना अरशद मदनी.
आरएसएस प्रमुख मोहन भागवन ने भी दिल खोलकर मौलाना मदनी की इस पहल का स्वागत किया है. संभावना जताई जा रही है कि मोहन भागवत और मदनी की यह ऐतिहासिक मुलाकात देश में साम्प्रदायिक सौहार्द के नए आयाम स्थापित करने में मील का पत्थर साबित होगी.

मोहब्बत का पैगाम लेकर आरएसएस प्रमुख से की मुलाकात
आरएसएस प्रमुख से मुलाकात कर देवबंद लौटे जमीयत उलेमा-ए-हिंद के अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी ने बताया कि देश में दिनों दिन बढ़ रही नफरत के खिलाफ मोहब्बत का पैगाम लेकर आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत से उनके दफ्तर में मुलाकात की है. इन दिनों हिन्दू-मुसलमानों में चारों ओर नफरत का माहौल बना हुआ है, जिससे देश का भविष्य खतरे में पड़ता दिख रहा है. ऐसे में अपनी फिक्र के बजाए देश की फिक्र करना जरूरी है.

इसे भी पढ़ें:- नई शिक्षा प्रणाली में भारतीय मूल्य भी शामिल होंगे, भागवत ने जताया भरोसा

हमें और आपको मिलकर करना चाहिए काम
मदनी ने बताया कि हमने संघ संचालक मोहन भागवत के सामने अपना यह नजरिया पेश किया कि वर्तमान परिस्थितियों में अगर मिलकर साम्प्रदायिक सौहार्द के लिए काम नहीं किया गया तो आने वाला वक्त केवल अल्पसंख्यकों के लिए ही नहीं बल्कि देश में रहने वाले हर एक व्यक्ति के लिए नुकसानदेह साबित होगा. इतना ही नहीं हमें लगता है कि अगर हालात को अभी काबू नहीं किया गया तो हमारा प्यारा मुल्क तबाह हो जाएगा. इसलिए हमें और आपको मिलकर काम करना चाहिए. हमने अपनी जिम्मेदारी निभाते हुए पहल कर दी है.

आरएसएस प्रमुख ने मिलकर काम करने का किया वादा
आरएसएस प्रमुख ने उनके प्रस्ताव का दिल खोलकर समर्थन करते हुए उम्मीद बंधाई कि देश की एकता और अखंडता के लिए हम मिलकर काम करेंगे. भागवत ने दो टूक कहा कि मुल्क को बचाने के लिए आपकी पहल बिल्कुल सही है. हम इस पर जरूर काम करेंगे. मौलाना मदनी ने कहा कि हमें उम्मीद है कि आने वाले दिनों में हम अब से ज्यादा मिल जुलकर रहेंगे और अपनी कौम और मुल्क के हित में काम करेंगे. संघ संचालक मोहन भागवत और जमीयत अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी की इस मुलाकात ने लोगों के दिलों में उम्मीद की एक नई किरन जगा दी है. माना जा रहा है कि देश के साम्प्रदायिक सौहार्द के लिए यह मुलाकात मील का पत्थर साबित होगी.

Intro:सहारनपुर : इस्लामिक जगत की सबसे बड़ी तंजीम जमीयत उलेमा ए हिंद के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी ने RSS प्रमुख मोहन भागवत से मुलाकात कर जहां हिन्दू मुस्लिम भाई चारे पर विचार किया है वहीं शियासी गलियारों में हल चल मचा दी है। मौलाना अरशद मदनी ने साम्प्रदायिक सौहार्द और हिंदुस्तान की सलामती के लिए मोहब्बत का पैगाम दिया है। हिंदुस्तान के इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ हैं जब हिन्दू मुसलमानों के सबसे बड़े संगठनों की मुलाकात हुई है। आरएसएस प्रमुख मोहन भागवन ने भी दिल खोलकर मौलाना मदनी की इस पहल का स्वागत किया है। संभावना जताई जा रही है कि मोहन भागवत और मदनी की यह ऐतिहासिक मुलाकात देश में साम्प्रदायिक सौहार्द के नए आयाम स्थापित करने में मील का पत्थर साबित होगी।Body:VO 1 - आरएसएस प्रमुख से मुलाकात कर देवबंद लौटे जमीयत उलेमा ए हिंद के अध्यक्ष व दारुल उलूम देवबंद के वरिष्ठ उस्ताद मौलाना अरशद मदनी ने बताया कि देश में दिनों दिन बढ़ रही नफरत के खिलाफ मोहब्बत का पैगाम लेकर आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत से उनके दफ्तर में मुलाकात की है। इन दिनों हिन्दू मुसलमानों में चारों ओर नफरत का माहौल बना हुआ है। जिससे देश का भविष्य खतरे में पड़ता दिख रहा है। ऐसे में अपनी फिक्र के बजाए देश की फिक्र करना जरूरी है। मदनी ने बताया कि हमने संघ संचालक मोहन भागवत के सामने अपना यह नजरिया पेश किया कि वर्तमान परिस्थितियों में अगर मिलकर साम्प्रदायिक सौहार्द के लिए काम नहीं किया गया तो आने वाला वक्त केवल अल्पसंख्यकों के लिए ही नहीं बल्कि देश में रहने वाले हर एक व्यक्ति के लिए नुकसानदेह साबित होगा। इतना ही नहीं हमें लगता है कि अगर हालात को अभी काबू नहीं किया गया तो हमारा प्यारा मुल्क तबाह हो जाएगा। इसलिए हमें और आपको मिलकर काम करना चाहिए। हमने अपनी जिम्मेदारी निभाते हुए पहल कर दी है। आरएसएस प्रमुख ने उनके प्रस्ताव का दिल खोलकर समर्थन करते हुए उम्मीद बंधाई कि देश की एकता अखंडता के लिए हम मिलकर काम करेंगे। भागवत जी ने दो टूक कहा कि मुल्क को बचाने के लिए आपकी पहल बिल्कुल सही है, हम इस पर जरूर काम करेंगे। मौलाना मदनी ने कहा कि हमें उम्मीद है कि आने वाले दिनों में हम अब से ज्यादा मिल जुलकर रहेंगे और अपनी कौम व मुल्क के हित में काम करेंगे। सरसंघ संचालक मोहन भागवत और जमीयत अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी की इस मुलाकात ने लोगों के दिलों में उम्मीद की एक नई किरन जगा दी है। माना जा रहा है कि देश के साम्प्रदायिक सौहार्द के लिए यह मुलाकात मील का पत्थर साबित होगी।

बाईट - मौलाना अरशद मदनी ( अध्यक्ष जमीयत उलमा ए हिंद )Conclusion:रोशन लाल सैनी
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Last Updated : Sep 17, 2020, 4:21 PM IST
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