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श्मशान घाट पर घमासान, अंतिम संस्कार के लिये परिजन परेशान

तेज रफ्तार से बढ़ रहे कोरोना की वजह से अभी तक संक्रमित और उनके परिजन इलाज के लिये ही परेशान हो रहे थे, लेकिन अब अंतिम संस्कार कि लिए भी श्मशान घाट पर घमासान हो रहा है. प्रयागराज के फाफामऊ श्मशान घाट पर परिजनों को परेशान करने का मामला सामने आया है.

श्मशान घाट पर घमासान
श्मशान घाट पर घमासान
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Published : Apr 22, 2021, 4:00 AM IST

प्रयागराजः संगम नगरी में कोरोना से जिंदगी की जंग हारने वाले मरीजों के परिजनों को उनके अंतिम संस्कार के लिये भी जंग करनी पड़ रही है. फाफामऊ घाट पर अपने परिजन के अंतिम संस्कार के लिये लड़ाई लड़नी पड़ रही है. इस बात का खुलासा श्मसान घाट के एक वॉयरल वीडियो के जरिये हुआ है. वॉयरल वीडियो मंगलवार का बताया जा रहा है, जिसमें अंतिम संस्कार के लिये 22 हजार रुपये मांगने के साथ ही गीली लकड़ियों के जरिये अंतिम संस्कार करवाने का आरोप लगाया जा रहा है.

अंतिम संस्कार के लिये परिजन परेशान.

वॉयरल वीडियो में बताया जा रहा है कि उनसे अंतिम संस्कार करने के लिये 22 हजार रुपये मांगे गये. रुपये न देने पर खुद से ही अंतिम संस्कार करने को कहा गया, जिसके बाद परिजनों ने जब खुद से अंतिम संस्कार करने की तैयारी शुरू की तो घाट पर मौजूद लोगों से उनकी कहासुनी शुरू हो गयी. इसके बाद मामला बढ़ने पर पुलिस ने मौके पर पहुंचकर कोरोना पीड़ित का अंतिम संस्कार करवाया.

फाफामऊ गंगा घाट का मामला
पूरी घटना फाफामऊ गंगा घाट की है. मंगलवार को कोरोना संक्रमित का शव लेकर परिजन अंतिम संस्कार करने के लिये गये थे. वॉयरल वीडियो में मृतक के परिजन आरोप लगा रहे हैं कि उनसे अंतिम संस्कार करने के लिये 22 हजार रुपये मांगे गये. परिजनों ने इसका विरोध किया तो घाट पर अंतिम संस्कार करवाने वालों से उनकी कहासुनी हो गयी. इसके बाद परिजनों ने खुद से ही अंतिम संस्कार करने का प्रयास किया तो विवाद बढ़ने लगा. सूचना पर पहुंची पुलिस ने बीच-बचाव करते हुये दोनो पक्षों को शांत करवाकर अंतिम संस्कार करवाया.

अंतिम संस्कार के लिये गीली लकड़ी देने का आरोप
मृतक के परिजनों ने यह भी आरोप लगाया कि कोरोना पीड़ितों के शव का अंतिम संस्कार करने के लिये घाट पर गीली लकड़ी का इस्तेमाल कर रहे हैं. जिस वजह से अंतिम संस्कार के लिये लोगों को कई घंटों तक बैठना पड़ता है. इस दौरान कोई गीली लकड़ी की शिकायत करता है तो उसे पैसे वापस लेकर खुद से चिता जलाने की बात कही जाती है.

यह भी पढ़ेंः-चरक अस्पताल में ऑक्सीजन की कमी से मौत, कई का जीवन दांव पर

मनमाना रेट वसूलने का आरोप
प्रयागराज में इन दिनों कोरोना महामारी विकारल रुप धारण कर चुकी है. ऐसे में श्मसान घाटों पर भी चिताओं की भीड़ रहती है. जिले में प्रशासन की तरफ से फाफामऊ घाट पर कोरोना संक्रमण से मरने वालों का अंतिम संस्कार करने का इंतजाम किया गया है, जिस वजह से अस्पतालों में होने वाली मौत के बाद सभी शवों को अंतिम संस्कार के लिय इस घाट पर भेजा जाता है. यही वजह है कि इस घाट पर ज्यादा भीड़ रहती है. उसी भीड़ का फायदा उठाने के लिये लालची किस्म के लोग शवों का अंतिम संस्कार करने के बदले मनमाना रुपये वसूलने में लग गये हैं.

पुलिस ने आरोपों को नकारा
घाट पर ज्यादा पैसे मांगने के मामले में इलाके की पुलिस का कहना है कि अंतिम संस्कार के बदले 22 हजार रुपये नहीं मांगे गये थे. जल्दी अंतिम संस्कार कराने को लेकर विवाद हुआ था. एक ही व्यक्ति अंतिम संस्कार करवाता था, जिस वजह से देर होती थी. अब घाट पर अंतिम संस्कार करने के लिये दो और लोगों को लगा दिया गया है.

प्रयागराजः संगम नगरी में कोरोना से जिंदगी की जंग हारने वाले मरीजों के परिजनों को उनके अंतिम संस्कार के लिये भी जंग करनी पड़ रही है. फाफामऊ घाट पर अपने परिजन के अंतिम संस्कार के लिये लड़ाई लड़नी पड़ रही है. इस बात का खुलासा श्मसान घाट के एक वॉयरल वीडियो के जरिये हुआ है. वॉयरल वीडियो मंगलवार का बताया जा रहा है, जिसमें अंतिम संस्कार के लिये 22 हजार रुपये मांगने के साथ ही गीली लकड़ियों के जरिये अंतिम संस्कार करवाने का आरोप लगाया जा रहा है.

अंतिम संस्कार के लिये परिजन परेशान.

वॉयरल वीडियो में बताया जा रहा है कि उनसे अंतिम संस्कार करने के लिये 22 हजार रुपये मांगे गये. रुपये न देने पर खुद से ही अंतिम संस्कार करने को कहा गया, जिसके बाद परिजनों ने जब खुद से अंतिम संस्कार करने की तैयारी शुरू की तो घाट पर मौजूद लोगों से उनकी कहासुनी शुरू हो गयी. इसके बाद मामला बढ़ने पर पुलिस ने मौके पर पहुंचकर कोरोना पीड़ित का अंतिम संस्कार करवाया.

फाफामऊ गंगा घाट का मामला
पूरी घटना फाफामऊ गंगा घाट की है. मंगलवार को कोरोना संक्रमित का शव लेकर परिजन अंतिम संस्कार करने के लिये गये थे. वॉयरल वीडियो में मृतक के परिजन आरोप लगा रहे हैं कि उनसे अंतिम संस्कार करने के लिये 22 हजार रुपये मांगे गये. परिजनों ने इसका विरोध किया तो घाट पर अंतिम संस्कार करवाने वालों से उनकी कहासुनी हो गयी. इसके बाद परिजनों ने खुद से ही अंतिम संस्कार करने का प्रयास किया तो विवाद बढ़ने लगा. सूचना पर पहुंची पुलिस ने बीच-बचाव करते हुये दोनो पक्षों को शांत करवाकर अंतिम संस्कार करवाया.

अंतिम संस्कार के लिये गीली लकड़ी देने का आरोप
मृतक के परिजनों ने यह भी आरोप लगाया कि कोरोना पीड़ितों के शव का अंतिम संस्कार करने के लिये घाट पर गीली लकड़ी का इस्तेमाल कर रहे हैं. जिस वजह से अंतिम संस्कार के लिये लोगों को कई घंटों तक बैठना पड़ता है. इस दौरान कोई गीली लकड़ी की शिकायत करता है तो उसे पैसे वापस लेकर खुद से चिता जलाने की बात कही जाती है.

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मनमाना रेट वसूलने का आरोप
प्रयागराज में इन दिनों कोरोना महामारी विकारल रुप धारण कर चुकी है. ऐसे में श्मसान घाटों पर भी चिताओं की भीड़ रहती है. जिले में प्रशासन की तरफ से फाफामऊ घाट पर कोरोना संक्रमण से मरने वालों का अंतिम संस्कार करने का इंतजाम किया गया है, जिस वजह से अस्पतालों में होने वाली मौत के बाद सभी शवों को अंतिम संस्कार के लिय इस घाट पर भेजा जाता है. यही वजह है कि इस घाट पर ज्यादा भीड़ रहती है. उसी भीड़ का फायदा उठाने के लिये लालची किस्म के लोग शवों का अंतिम संस्कार करने के बदले मनमाना रुपये वसूलने में लग गये हैं.

पुलिस ने आरोपों को नकारा
घाट पर ज्यादा पैसे मांगने के मामले में इलाके की पुलिस का कहना है कि अंतिम संस्कार के बदले 22 हजार रुपये नहीं मांगे गये थे. जल्दी अंतिम संस्कार कराने को लेकर विवाद हुआ था. एक ही व्यक्ति अंतिम संस्कार करवाता था, जिस वजह से देर होती थी. अब घाट पर अंतिम संस्कार करने के लिये दो और लोगों को लगा दिया गया है.

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