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इस संग्रहालय में हैं आजादी से जुड़ीं विरासतें, आजाद की पिस्तौल, अब छात्र मुफ्त में हो सकेंगे रूबरू

इलाहाबाद संग्रहालय (Allahabad Museum) ने 12वीं तक के बच्चों (children up to 12th) को इतिहास और देश की विरासत से जोड़ने के लिए पहल की है. इसके तहत स्कूली बच्चों का संग्रहालय में प्रवेश निशुल्क कर दिया गया है.

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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Dec 6, 2023, 8:36 PM IST

शहीद चंद्रशेखर आजाद पार्क स्थित राष्ट्रीय संग्रहालय.

प्रयागराज : शहीद चंद्रशेखर आजाद पार्क स्थित राष्ट्रीय संग्रहालय में 12वीं तक के छात्र छात्राओं का प्रवेश निशुल्क कर दिया गया है. अब किसी भी बोर्ड के 12वीं तक के बच्चे म्यूजियम में निशुल्क प्रवेश कर सकते हैं. इसी के साथ उनसे फोटोग्राफी के लिए लिए जाना वाला 100 रुपये का शुल्क भी समाप्त कर दिया गया है. जबकि संग्रहालय में वीडियो बनाने वाले अन्य लोगों से 2 हजार रुपये का शुल्क निर्धारित कर दिया गया है. बता दें कि इलाहाबाद संग्रहालय में 16 वीथिकाएं हैं. इसमें पुरातात्विक महत्व की वस्तुएं, अस्त्र-शस्त्र, अभिलेख, मुद्राएं आदि प्रदर्शित हैं, जिनके जरिए बच्चे इतिहास से रूबरू होंगे.

संग्रहालय के निदेशक राजेश प्रसाद ने संग्हालय में 12वीं तक के बच्चों के मुफ्त प्रवेश के बारे में जानकारी दी.

पीएम की इच्छा के अनुरूप भेजा गया प्रस्ताव

इलाहाबाद संग्रहालय देश के राष्ट्रीय संग्रहालयों में से एक है. राष्ट्रीय स्तर के संग्रहालय में अभी तक रोजाना आने वाले छात्र-छात्राओं की संख्या बेहद कम थी. जिसको देखते हुए संग्रहालय की तरफ से राज्यपाल के सामने प्रस्ताव रखा गया. इसमें बताया गया कि पीएम मोदी की इच्छा है कि संग्रहालय में रखी ऐतिहासिस वस्तुओं की जानकारी हर घर और बच्चों तक पहुंचनी चाहिए. पीएम की मंशा के अनुरूप यह प्रस्ताव भेजा गया. राज्यपाल आनंदी बेन पटेल से अनुमोदन मिलने के बाद म्यूजियम में 12वीं तक के छात्र-छात्राओं का प्रवेश निशुल्क कर दिया गया. अब 12वीं तक के बच्चे बिना शुल्क अदा किए म्यूजियम के अंदर जा सकते हैं. अभी तक उनको म्यूजियम में जाने के लिए 20 रुपये का शुल्क देना पड़ता था. अब उन्हें मोबाइल से फ़ोटो क्लिक करने के बदले 100 रुपये का शुल्क भी नहीं देना पड़ेगा.

सिर्फ स्कूल का कॉर्ड दिखाकर मिल जाएगा प्रवेश

इलाहाबाद संग्रहालय के निर्देशक राजेश प्रसाद ने बताया कि राज्यपाल से अनुमति मिलने के बाद 12वीं तक के छात्रों का प्रवेश पूरी तरह से निशुल्क कर दिया गया है. किसी भी स्कूल-कॉलेज या बोर्ड से 12वीं तक के छात्र-छात्राएं अपना स्कूल का आईकॉर्ड दिखाकर संग्रहालय में निशुल्क प्रवेश पा सकते हैं. इसी के साथ छात्रों के ग्रुप को लेकर आने वाले शिक्षकों का भी कोई शुल्क नहीं लगेगा. बताया कि अभी तक मोबाइल से फोटो क्लिक करने पर सभी से 100 रुपये का शुल्क लिया जाता था. उसको भी बच्चों के लिए समाप्त कर दिया गया है.

वीडियोग्राफी करने वालों का बढ़ाया गया शुल्क

संग्रहालय में एक तरफ जहां 12वीं तक के छात्रों का प्रवेश निशुल्क कर दिया गया है, वहीं पर संग्रहालय में आकर वीडियो बनाने वालों से लिया जाने वाला शुल्क बढ़ा दिया गया है. संग्रहालय में वीडियो बनाने वाले लोगों से अभी तक 200 रुपये का शुल्क लिया जाता था, लेकिन अब यह शुल्क 2 हजार रुपये कर दिया गया है. संग्रहालय के निदेशक राजेश प्रसाद का कहना है कि वीडियो बनाने के नाम पर बिना वजह कई लोग संग्रहालय में आते हैं. जिसमें यूट्यूबर से लेकर सोशल मीडिया पर रील बनाने वाले और अनजान मीडिया संस्थानों के लोग होते हैं. जिसको देखते हुए अब यह फैसला लिया गया है कि इस तरह के लोगों से 2 हजार रुपये शुल्क लिया जाएगा. जिससे न सिर्फ संग्रहालय की आय बढ़ेगी बल्कि बिना वजह वीडियो बनाने वालों की संख्या में भी कमी आएगी.

क्या-क्या है म्यूजियम में

संग्रहालय में प्राचीन सभ्यताओं से जुड़े सिक्के-मूर्तियों के साथ ही आजादी से जुड़ी तमाम तरह की वस्तुएं रखी गई हैं. संग्रहालय की अलग-अलग गैलरी में दुर्लभ मूर्तियों के साथ ही जीव जंतुओं के अवशेष रखे गए हैं.साथ ही इस संग्रहालय में चंद्र शेखर आजाद के जीवन से जुड़ी तमाम जानकारियां, स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों की वीर गाथाएं, उनसे जुड़ी वस्तुएं सहेज कर रखी गई हैं. यही नहीं, हाल ही में नए संसद भवन के सेंट्रल हाल में जो सेंगोल स्थापित किया गया है, वह भी इसी संग्रहालय से गया हुआ है. जबकि उसी सेंगोल का प्रतीक अब भी इस म्यूजियम की शान बढ़ा रहा है.

फ्री एंट्री शुरू हुई तो छात्रों की संख्या में हुआ कई गुना इजाफा

इलाहाबाद के इस संग्रहालय में 26 नवंबर के बाद 12वीं तक के छात्रों का प्रवेश निशुल्क किया गया है. जैसे ही इसकी जानकारी स्कूलों तक पहुंची, छात्र-छात्राओं के म्यूजियम पहुंचने की संख्या में अचानक से बढ़ोतरी हो गई.पहले जहां संग्रहालय में रोजाना 50 तक छात्र-छात्राएं ही पहुंचते थे, वहीं अब यह संख्या बढ़कर 300 तक पहुंच गई है. जबकि शनिवार और रविवार के दिन संग्रहालय में आने वाले छात्र-छात्राओं की संख्या 1500 तक पहुंच गई है.

यह भी पढ़ें : कुंभ 2025 से पहले बन सकता है लेटे हनुमान मंदिर कॉरिडोर, जानिए क्या है योजना और कितनी आएगी लागत

यह भी पढ़ें : उमेश पाल हत्याकांड : माफिया अतीक के भाई अशरफ की पत्नी जैनब के घर हुई कुर्की की कार्यवाही, नौ महीने से है फरार

शहीद चंद्रशेखर आजाद पार्क स्थित राष्ट्रीय संग्रहालय.

प्रयागराज : शहीद चंद्रशेखर आजाद पार्क स्थित राष्ट्रीय संग्रहालय में 12वीं तक के छात्र छात्राओं का प्रवेश निशुल्क कर दिया गया है. अब किसी भी बोर्ड के 12वीं तक के बच्चे म्यूजियम में निशुल्क प्रवेश कर सकते हैं. इसी के साथ उनसे फोटोग्राफी के लिए लिए जाना वाला 100 रुपये का शुल्क भी समाप्त कर दिया गया है. जबकि संग्रहालय में वीडियो बनाने वाले अन्य लोगों से 2 हजार रुपये का शुल्क निर्धारित कर दिया गया है. बता दें कि इलाहाबाद संग्रहालय में 16 वीथिकाएं हैं. इसमें पुरातात्विक महत्व की वस्तुएं, अस्त्र-शस्त्र, अभिलेख, मुद्राएं आदि प्रदर्शित हैं, जिनके जरिए बच्चे इतिहास से रूबरू होंगे.

संग्रहालय के निदेशक राजेश प्रसाद ने संग्हालय में 12वीं तक के बच्चों के मुफ्त प्रवेश के बारे में जानकारी दी.

पीएम की इच्छा के अनुरूप भेजा गया प्रस्ताव

इलाहाबाद संग्रहालय देश के राष्ट्रीय संग्रहालयों में से एक है. राष्ट्रीय स्तर के संग्रहालय में अभी तक रोजाना आने वाले छात्र-छात्राओं की संख्या बेहद कम थी. जिसको देखते हुए संग्रहालय की तरफ से राज्यपाल के सामने प्रस्ताव रखा गया. इसमें बताया गया कि पीएम मोदी की इच्छा है कि संग्रहालय में रखी ऐतिहासिस वस्तुओं की जानकारी हर घर और बच्चों तक पहुंचनी चाहिए. पीएम की मंशा के अनुरूप यह प्रस्ताव भेजा गया. राज्यपाल आनंदी बेन पटेल से अनुमोदन मिलने के बाद म्यूजियम में 12वीं तक के छात्र-छात्राओं का प्रवेश निशुल्क कर दिया गया. अब 12वीं तक के बच्चे बिना शुल्क अदा किए म्यूजियम के अंदर जा सकते हैं. अभी तक उनको म्यूजियम में जाने के लिए 20 रुपये का शुल्क देना पड़ता था. अब उन्हें मोबाइल से फ़ोटो क्लिक करने के बदले 100 रुपये का शुल्क भी नहीं देना पड़ेगा.

सिर्फ स्कूल का कॉर्ड दिखाकर मिल जाएगा प्रवेश

इलाहाबाद संग्रहालय के निर्देशक राजेश प्रसाद ने बताया कि राज्यपाल से अनुमति मिलने के बाद 12वीं तक के छात्रों का प्रवेश पूरी तरह से निशुल्क कर दिया गया है. किसी भी स्कूल-कॉलेज या बोर्ड से 12वीं तक के छात्र-छात्राएं अपना स्कूल का आईकॉर्ड दिखाकर संग्रहालय में निशुल्क प्रवेश पा सकते हैं. इसी के साथ छात्रों के ग्रुप को लेकर आने वाले शिक्षकों का भी कोई शुल्क नहीं लगेगा. बताया कि अभी तक मोबाइल से फोटो क्लिक करने पर सभी से 100 रुपये का शुल्क लिया जाता था. उसको भी बच्चों के लिए समाप्त कर दिया गया है.

वीडियोग्राफी करने वालों का बढ़ाया गया शुल्क

संग्रहालय में एक तरफ जहां 12वीं तक के छात्रों का प्रवेश निशुल्क कर दिया गया है, वहीं पर संग्रहालय में आकर वीडियो बनाने वालों से लिया जाने वाला शुल्क बढ़ा दिया गया है. संग्रहालय में वीडियो बनाने वाले लोगों से अभी तक 200 रुपये का शुल्क लिया जाता था, लेकिन अब यह शुल्क 2 हजार रुपये कर दिया गया है. संग्रहालय के निदेशक राजेश प्रसाद का कहना है कि वीडियो बनाने के नाम पर बिना वजह कई लोग संग्रहालय में आते हैं. जिसमें यूट्यूबर से लेकर सोशल मीडिया पर रील बनाने वाले और अनजान मीडिया संस्थानों के लोग होते हैं. जिसको देखते हुए अब यह फैसला लिया गया है कि इस तरह के लोगों से 2 हजार रुपये शुल्क लिया जाएगा. जिससे न सिर्फ संग्रहालय की आय बढ़ेगी बल्कि बिना वजह वीडियो बनाने वालों की संख्या में भी कमी आएगी.

क्या-क्या है म्यूजियम में

संग्रहालय में प्राचीन सभ्यताओं से जुड़े सिक्के-मूर्तियों के साथ ही आजादी से जुड़ी तमाम तरह की वस्तुएं रखी गई हैं. संग्रहालय की अलग-अलग गैलरी में दुर्लभ मूर्तियों के साथ ही जीव जंतुओं के अवशेष रखे गए हैं.साथ ही इस संग्रहालय में चंद्र शेखर आजाद के जीवन से जुड़ी तमाम जानकारियां, स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों की वीर गाथाएं, उनसे जुड़ी वस्तुएं सहेज कर रखी गई हैं. यही नहीं, हाल ही में नए संसद भवन के सेंट्रल हाल में जो सेंगोल स्थापित किया गया है, वह भी इसी संग्रहालय से गया हुआ है. जबकि उसी सेंगोल का प्रतीक अब भी इस म्यूजियम की शान बढ़ा रहा है.

फ्री एंट्री शुरू हुई तो छात्रों की संख्या में हुआ कई गुना इजाफा

इलाहाबाद के इस संग्रहालय में 26 नवंबर के बाद 12वीं तक के छात्रों का प्रवेश निशुल्क किया गया है. जैसे ही इसकी जानकारी स्कूलों तक पहुंची, छात्र-छात्राओं के म्यूजियम पहुंचने की संख्या में अचानक से बढ़ोतरी हो गई.पहले जहां संग्रहालय में रोजाना 50 तक छात्र-छात्राएं ही पहुंचते थे, वहीं अब यह संख्या बढ़कर 300 तक पहुंच गई है. जबकि शनिवार और रविवार के दिन संग्रहालय में आने वाले छात्र-छात्राओं की संख्या 1500 तक पहुंच गई है.

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