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12 वर्षीय भाई को गन प्वाइंट पर लेकर 15 वर्षीय बहन से गैंगरेप

राज्य सरकार यूपी में बेटियों के सुरक्षित होने का दावा करती है, लेकिन हकीकत में इसके ठीक उलट है. प्रदेश में महिलाओं के खिलाफ अपराध बढ़ता ही जा रहा है. ताजा मामला मुजफ्फरनगर का है. जहां चार पड़ोसियों ने मासूम भाई को गन प्वाइंट पर लेने के बाद नाबालिग बहन के साथ गैंगरेप की वारदात को अंजाम दिया.

मुजफ्फरनगर में गैंगरेप
मुजफ्फरनगर में गैंगरेप
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Published : Jul 25, 2021, 8:05 AM IST

Updated : Jul 25, 2021, 2:22 PM IST

मुजफ्फरनगर : पश्चिमी उत्तर प्रदेश में इन दिनों महिलाओं के साथ अत्याचार और रेप की घटनाएं बढ़ती जा रही हैं. मुजफ्फरनगर के फुगाना थाना क्षेत्र के एक गांव में मासूम भाई को गन प्वाइंट पर लेकर नाबालिक लड़की के साथ पड़ोसी चार युवकों ने गैंगरेप की वारदात को अंजाम दिया, आरोपियों ने पीड़िता को मुंह खोलने पर दरिंदगी का वीडियो वायरल करने की धमकी दी. फिलहाल पुलिस इस मामले की जांच कर रही है.

बताया जा रहा है कि फुगाना थाना क्षेत्र के एक गांव में शुक्रवार देर रात पड़ोस के रहने वाले चार युवकों ने 12 वर्षीय मासूम भाई को गन प्वाइंट पर लेने के बाद 15 वर्षीय बहन के साथ गैंगरेप की वारदात को अंजाम दिया. आरोप है कि तमंचे के बल पर हैवानियात का नंगा नाच करने वाले आरोपियों ने गैंगरेप के दौरान पीड़ित नाबिलक का अश्लीश वीडियो भी बना लिया और पीड़िता को मुंह खोलने पर जान से मारने की धमकी दी.

सीओ का बयान

आरोपियों ने गैंगरेप की वारदात को अंजाम उस वक्त दिया जब पीड़िता के माता-पिता अपनी रिश्तेदार के घर गए हुए थे. परिजनों के घर वापस आने पर पीड़ित नाबालिग ने उन्हें अपने साथ हुई हैवानियत की जानकारी दी. जिसके बाद परिवार ने शनिवार को फुगाना थाना पहुंचकर चारों आरोपियों के खिलाफ तहरीर देकर कानूनी कार्रवाई की मांग की. जिसके बाद पुलिस ने तत्काल गैंगरेप पीड़िता को मेडिकल के लिए भेजकर मामले में चारों आरोपियों के खिलाफ गंभीर धाराओं में केस दर्ज कर लिया. फिलहाल चारो आरोपी फरार हैं और पुलिस उनकी गिरफ्तारी का प्रयास कर रही है.

यूपी सरकार दावा करती है कि प्रदेश में बेटियां सुरक्षित हैं और प्रदेश में बेटियों के खिलाफ अपराध कम हुआ है. NCRB की रिपोर्ट भी सरकार के इस दावे को सही बताते हैं. NCRB की तरफ से जारी किए गए आंकड़ों के मुताबिक महिलाओं के प्रति होने वाले अपराध के मामले में 2019 में देश का कुल औसत 62.4 फीसदी दर्ज किया गया. जबकि, उत्तर प्रदेश में महिला के प्रति अपराध 55.2 प्रतिशत रहा. वहीं 2019 में मिजोरम में महिलाओं के प्रति अपराध का औसत 88.3, मणिपुर में 58.0, मेघालय में 57.3, राजस्‍थान में 110.4 और केरल जैसे छोटे राज्‍य में यह औसत 62.7 रहा. यूपी में महिलाओं के प्रति अपराध का औसत वर्ष 2016 में 52.6, वर्ष 2017 में 66.4 और 2018 में ग्राफ गिरकर 60.3 रहा जो कि अन्‍य राज्‍यों के मुकाबले काफी कम है. लेकिन, बावजूद इसके प्रदेश में उन्नाव, हाथरस और बलरामपुर जैसे कांड हुए. ऐसे में बड़ा सवाल ये उठता है कि प्रदेश में बेटियां पूरी तरह से कब सुरक्षित हो पाएंगी.

इसे भी पढ़ें : बीहड़ में गड्ढे में दफन मिला बच्चे का शव, तंत्र-मंत्र के चक्कर में हत्या की आशंका

मुजफ्फरनगर : पश्चिमी उत्तर प्रदेश में इन दिनों महिलाओं के साथ अत्याचार और रेप की घटनाएं बढ़ती जा रही हैं. मुजफ्फरनगर के फुगाना थाना क्षेत्र के एक गांव में मासूम भाई को गन प्वाइंट पर लेकर नाबालिक लड़की के साथ पड़ोसी चार युवकों ने गैंगरेप की वारदात को अंजाम दिया, आरोपियों ने पीड़िता को मुंह खोलने पर दरिंदगी का वीडियो वायरल करने की धमकी दी. फिलहाल पुलिस इस मामले की जांच कर रही है.

बताया जा रहा है कि फुगाना थाना क्षेत्र के एक गांव में शुक्रवार देर रात पड़ोस के रहने वाले चार युवकों ने 12 वर्षीय मासूम भाई को गन प्वाइंट पर लेने के बाद 15 वर्षीय बहन के साथ गैंगरेप की वारदात को अंजाम दिया. आरोप है कि तमंचे के बल पर हैवानियात का नंगा नाच करने वाले आरोपियों ने गैंगरेप के दौरान पीड़ित नाबिलक का अश्लीश वीडियो भी बना लिया और पीड़िता को मुंह खोलने पर जान से मारने की धमकी दी.

सीओ का बयान

आरोपियों ने गैंगरेप की वारदात को अंजाम उस वक्त दिया जब पीड़िता के माता-पिता अपनी रिश्तेदार के घर गए हुए थे. परिजनों के घर वापस आने पर पीड़ित नाबालिग ने उन्हें अपने साथ हुई हैवानियत की जानकारी दी. जिसके बाद परिवार ने शनिवार को फुगाना थाना पहुंचकर चारों आरोपियों के खिलाफ तहरीर देकर कानूनी कार्रवाई की मांग की. जिसके बाद पुलिस ने तत्काल गैंगरेप पीड़िता को मेडिकल के लिए भेजकर मामले में चारों आरोपियों के खिलाफ गंभीर धाराओं में केस दर्ज कर लिया. फिलहाल चारो आरोपी फरार हैं और पुलिस उनकी गिरफ्तारी का प्रयास कर रही है.

यूपी सरकार दावा करती है कि प्रदेश में बेटियां सुरक्षित हैं और प्रदेश में बेटियों के खिलाफ अपराध कम हुआ है. NCRB की रिपोर्ट भी सरकार के इस दावे को सही बताते हैं. NCRB की तरफ से जारी किए गए आंकड़ों के मुताबिक महिलाओं के प्रति होने वाले अपराध के मामले में 2019 में देश का कुल औसत 62.4 फीसदी दर्ज किया गया. जबकि, उत्तर प्रदेश में महिला के प्रति अपराध 55.2 प्रतिशत रहा. वहीं 2019 में मिजोरम में महिलाओं के प्रति अपराध का औसत 88.3, मणिपुर में 58.0, मेघालय में 57.3, राजस्‍थान में 110.4 और केरल जैसे छोटे राज्‍य में यह औसत 62.7 रहा. यूपी में महिलाओं के प्रति अपराध का औसत वर्ष 2016 में 52.6, वर्ष 2017 में 66.4 और 2018 में ग्राफ गिरकर 60.3 रहा जो कि अन्‍य राज्‍यों के मुकाबले काफी कम है. लेकिन, बावजूद इसके प्रदेश में उन्नाव, हाथरस और बलरामपुर जैसे कांड हुए. ऐसे में बड़ा सवाल ये उठता है कि प्रदेश में बेटियां पूरी तरह से कब सुरक्षित हो पाएंगी.

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Last Updated : Jul 25, 2021, 2:22 PM IST
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