चंदौली: सपा नेता मनोज सिंह डब्लू शनिवार को मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट दीपक मिश्रा की अदालत में पेश हुए. उन्होंने न्यायालय के समक्ष उपस्थित होकर एनबीडब्लू को निरस्त कराया. वहीं, सपा नेता के अधिवक्ता अजय कुमार मौर्य ने अपने पक्ष को कोर्ट में रखा. इसके बाद कोर्ट ने 3 अक्टूबर को जारी एनबीडब्लू को निरस्त करते हुए मामले में सुनवाई की.
विदित हो कि वर्ष 2021 में धीना थाना अंतर्गत महुजी ग्राम प्रधान अनुसूईया देवी और पूर्व विधायक मनोज सिंह डब्लू सहित कुल 51 नामजद और अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया था. यह वही प्रकरण है, जिसमें महुजी की तत्कालीन महिला प्रधान अनुसुईया देवी ने पूर्व प्रधान उमाशंकर सिंह द्वारा बीमारी के दौरान अस्पताल में दिए गए कपड़े, मिठाई और श्रृंगार के सामान को जादू-टोना का बताते हुए चक्काजाम किया था. घटना की जानकारी के बाद सपा नेता मनोज सिंह डब्लू भी मौके पर पहुंचे थे. इसी मामले में स्थानीय पुलिस एफआईआर में धारा 143, 147, 186, 188, 189, 341, 353, 269, 270, 504, 506, 34, 7 सीएलए, आपदा प्रबंधन अधिनियम 54, महामारी अधिनियम-3 के तहत दर्ज करते हुए कार्रवाई में जुट गई.
इस मामले में सुनवाई के दौरान न्यायालय ने अनुसुईया देवी की फाइल व सपा के पूर्व विधायक की फाइल को पृथक कर सुनवाई की. इसी मामले में बीते 3 अक्टूबर को सपा नेता मनोज सिंह डब्लू के खिलाफ एनबीडब्लू जारी किया गया था. लेकिन, व्यक्तिगत कारणों से सपा नेता मामले की सुनवाई वाले दिन कोर्ट में उपस्थित नहीं हो पाए. इसके बाद उनके अधिवक्ता ने हाजिरी माफी की दरख्वास्त कोर्ट से की. इसके बाद सपा नेता मनोज सिंह डब्लू शनिवार को मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत के समक्ष प्रस्तुत हुए.
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