चंदौलीः यूं तो पुलिस के इकबाल पर सवाल होते रहे हैं, लेकिन हालिया हालात को देखकर ऐसा लग रहा है कि पुलिस का इकबाल अब हासिए पर आ गया है. यह आरोप भले ही राजनीतिक हो, लेकिन सोशल साइट्स पर तेजी से फैल रही. 41 सेकेंड की वीडियो इसके पुख्ता होने का प्रमाण है. धानापुर में सपाईयों के संघर्ष के दौरान सैयदराजा विधायक सुशील सिंह मौके पर तैनात सिपाही की वर्दी खींचते हुए कैमरे में कैद कर लिए गए. आंदोलन की आपाधापी में धानापुर पुलिस ने मामले को नजरअंदाज कर दिया, लेकिन इस प्रकरण को एक बार फिर से जिंदा किया गया है. जिससे राजनीतिक पारा जरूर चढ़ा दिया है.
दरअसल बीजेपी विधायक द्वारा पुलिस की वर्दी पकड़कर खींचने का वीडियो सोशल मीडिया वायरल हो रहा है. सैयदराजा विधायक सुशील सिंह पर सिपाही की वर्दी खीचने का आरोप लग रहा है. पूर्व विधायक मनोज सिंह डब्लू ने तमाम सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर यह वीडियो वायरल किया है. अपने सोशल मीडिया एकाउंट से वीडियो जारी कर पूर्व विधायक ने वर्तमान विधायक पर सवाल उठाए है.
सैयदराजा से पूर्व विधायक मनोज सिंह डब्लू ने सवाल उठाया है कि जहां एक तरफ समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ताओं पर कोविड-19 से लेकर पुलिस के अभद्रता तक के तमाम मामले अलग-अलग थानों में दर्ज किए जा रहे हैं. वहीं भाजपा विधायक द्वारा सिपाही की वर्दी खींचने का वीडियो वायरल हो रहा है. इस पर प्रशासन क्या कार्रवाई करेगा.
वीडियो के बारे बताते विधायक ने लिखा है कि यह वीडियो बीते दिनों सेना के जवान के सम्मान के लिए हो रहे आंदोलन के दिन का है. यही नहीं पूर्व विधायक ने आरोप लगाते हुए लिखा है कि वीडियो में साफ-साफ दिख रहा है कि विधायक सुशील सिंह सिपाही की वर्दी पकड़ कर खींच रहे हैं. उन्होंने सवाल उठाते हुए आगे कहा कि क्या सत्ताधारी दल के नेताओं को भीड़ जुटाने और पुलिस से बदसलूकी करने की छूट मिली है. यही नहीं उन्होंने इस बाबत मिर्जा गालिब के शेर का भी उल्लेख किया है, कि हम आह भी भरते हैं तो हो जाते हैं बदनाम, और वो कत्ल भी करते हैं तो चर्चा नहीं होता.