मिर्जापुर: मिर्जापुर में स्वयं सहायता समूह की महिलाएं बहुत जल्द सोलर चरखा पर सूत कातती नजर आएंगी. गांव की महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए क्षेत्रीय ग्रामोद्योग एवं खादी संस्था ने जिले की महिलाओं को चयनित कर लिया है. महिलाओं को ट्रेनिंग देकर सोलर चरखा वितरण किया जाएगा. इससे जहां महिलाओं को घर में रोजगार मिलेगा. वहीं रोजगार मिलने से उनकी आर्थिक स्थिति भी मजबूत होगी.
सौर ऊर्जा से चलने वाले सोलर चरखा को चलाना और उनका रखरखाव बहुत आसान है. कुल 25 लाभार्थियों को सोलर चरखा जिले में दिया जाना है. एक सोलर चरखे की कीमत 26 हजार रुपये है. इस सोलर चरखा से महिलाएं घर में सूत कातकर रोजगार कमा सकेंगी. वहीं परिवार चलाने के लिए एक आर्थिक मजबूती भी मिल जाएगी. इसके अलावा प्रवासी मजदूरों को विशेष तौर पर जोड़ने की योजना तैयार की जा रही है.
स्वयं सहायता से जुड़ी महिलाएं पहले से ही कई उत्पाद तैयार कर बाजार में बेच रही हैं. कोरोना काल में मास्क के साथ सरकारी स्कूल के बच्चों की ड्रेसें बनाई जा रही हैं. जिले में 8,000 स्वयं सहायता समूह की महिलाएं सक्रिय हैं. एक समूह में 12 से 14 महिलाएं होती हैं.