मिर्जापुर : दो दिन से भूखा सात साल का सुदामा लोगों से खाना मांगता रहा. बताता रहा कि उसकी मां ने भी पिछले तीन दिन से खाना नहीं खाया है. लेकिन किसी ने उसकी नहीं सुनी. वह रोता और फिर अगले दरवाजे की ओर बढ़ जाता. हर बार उसे दुत्कारा ही गया. भूख से व्याकुल सुदामा को कोई रास्ता नहीं सूझा तो उसने पुलिस चौकी का रुख किया. पुलिस चौकी पहुंचकर उसका सब्र जवाब दे गया और वहीं फूट-फूटकर रोने लगा. जब चौकी इंचार्ज ने पूछा तो उसने बताया कि वह भूखे पेट मारा-मारा फिर रहा है.
सुदामा को रोते देख चौकी इंचार्ज ने लगाया गले
अहरौरा थाना क्षेत्र के इमलियां चट्टी पुलिस चौकी पर मासूम सुदामा ने बताया कि उसने पिछले दो दिन से कुछ नहीं खाया है. उसकी मां भी भूखी है. उसके लिए भी खाना चाहिए. लेकिन कोई एक रोटी देने के लिए भी तैयार नहीं है. यह कहते हुए सुदामा रोने लगा. यह सुन वहां मौजूद चौकी इंचार्ज ने दिलीप गुप्ता ने उसे गले लगा लिया. इसके बाद सुदामा को लेकर उसकी मां के पास पहुंचे. एक मंदिर में आसरा लिए मां-बेटे की हालत वाकई पीड़ा देने वाली थी.
गांव के मंदिर को बनाया आसरा
चौकी इंचार्ज दिलीप गुप्ता मासूम सुदामा को लेकर जब उसकी मां की पास पहुंचे तो मां भी भूखी बैठी मिली. यहां मां-बेटे से बातचीत में पता चला कि गांव का कच्चा मकान गिर चुका है. पिता का काफी पहले ही निधन हो चुका है. सुदामा मां के साथ काली में मंदिर में रहता है. मंदिर ही दोनों का आसरा है. इधर मां भी बीमार चल रही है. लेकिन दवा के लिए पैसे नहीं हैं. इसके बाद चौकी इंचार्ज ने दोनों की मदद के लिए हाथ आगे बढ़ाया.
खाना खिलाया, ओढ़ने के लिए दिया कंबल
सुदामा और उसकी मां की हालत देख चौकी इंचार्ज ने दोनों को खाना खिलाया. कुछ पैसे भी दिए. इसके साथ ही दोनों के लिए राशन मंगवाया और ठंड से बचने के लिए कंबल दिए. चौकी इंचार्ज दिलीप गुप्ता ने बताया कि सुदामा नाम का बच्चा रोते हुए चौकी में आया था. वह भूखा था, उसकी मदद की गई है. खाने और रहने की व्यवस्था कराई गई है. बच्चे ने कहा कि ग्राम प्रधान और सप्लाई इंस्पेक्टर से वार्ता की गई है. प्रधान ने कहा है कि गरीब को आवास राशन कार्ड दिलाया जाएगा, सरकारी सुविधा जो भी हो सकेगी, वह दी जाएगी.
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