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मिर्जापुर: साइबेरियन पक्षियों के आने से गुलजार हुए विंध्याचल के घाट - विंध्याचल घाट

यूपी के मिर्जापुर का विंध्याचल घाट इन दिनों साइबेरियन पक्षियों से गुलजार है. गंगा की लहरों पर अठखेलियां करते इन विदेशी मेहमानों को देखने के लिए लोगों की भीड़ उमड़ रही है. दिसंबर महीने में आए ये पक्षी तीन महीने बाद अपने वतन को वापस लौट जाते हैं.

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साइबेरियन पक्षी से गुलजार हुए घाट.
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Published : Dec 24, 2019, 12:14 PM IST

Updated : Sep 10, 2020, 12:19 PM IST

मिर्जापुर: सात समंदर पार से आए साइबेरियन पक्षियों ने मिर्जापुर के विंध्याचल घाटों पर अपना डेरा डाल दिया है. खूबसूरत विदेशी मेहमानों के पहुंचने से गंगा घाटों का नजारा ही बदल गया है. गंगा की लहरों पर अठखेलियां करते इन पक्षियों को देखने के लिए घाटों पर भीड़ उमड़ रही है. दिसंबर महीने में कड़ाके की ठंड बढ़ते ही गंगा तटों की खूबसूरती को बढ़ाने के लिए यह विदेशी मेहमान हर वर्ष आते हैं.

साइबेरियन पक्षियों से गुलजार हुए घाट.

साइबेरियन पक्षियों से गुलजार विंध्याचल घाट
विंध्याचल घाट इस समय साइबेरियन पक्षियों के पहुंचने से गुलजार है. यह विदेशी मेहमान दूरदराज से आने वाले मां विंध्यवासिनी के दरबार में भक्तों और स्थानीय लोगों के लिए आकर्षण का केंद्र बने हुए हैं. गंगा नदी में अठखेलियां करते पक्षियों को लोग दाना खिलाते हैं.

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गंगा की लहरों पर अठखेलियां करते विदेशी मेहमान.

तीन महीने तक भारत में रहते हैं साइबेरियन पक्षी
दिसंबर महीने में कड़ाके की ठंड शुरू होते ही गंगा के तटों की खूबसूरती को बढ़ाने के लिए यह विदेशी मेहमान हर वर्ष आते हैं. करीब तीन महीने तक यहां पर प्रवास करते हैं और मकर संक्रांति के बाद वापस लौट जाते हैं.

इसे भी पढ़ें:- सर्दियां शुरू होते ही काशी पहुंचे अनोखे मेहमान, उठा रहे मेहमान-नवाजी का लुत्फ

पर्यटकों का कहना है कि मां विंध्यवासिनी का दर्शन पूजन करने आए हैं. गंगा घाटों पर स्नान करने आए तो देखा यहां का नजारा ही अलग है. साइबेरियन पक्षी को देखकर बहुत खुश हुए. स्थानीय लोगों का कहना है कि हर साल इंतजार रहता है इन साइबेरियन पंछियों के आने का.

मिर्जापुर: सात समंदर पार से आए साइबेरियन पक्षियों ने मिर्जापुर के विंध्याचल घाटों पर अपना डेरा डाल दिया है. खूबसूरत विदेशी मेहमानों के पहुंचने से गंगा घाटों का नजारा ही बदल गया है. गंगा की लहरों पर अठखेलियां करते इन पक्षियों को देखने के लिए घाटों पर भीड़ उमड़ रही है. दिसंबर महीने में कड़ाके की ठंड बढ़ते ही गंगा तटों की खूबसूरती को बढ़ाने के लिए यह विदेशी मेहमान हर वर्ष आते हैं.

साइबेरियन पक्षियों से गुलजार हुए घाट.

साइबेरियन पक्षियों से गुलजार विंध्याचल घाट
विंध्याचल घाट इस समय साइबेरियन पक्षियों के पहुंचने से गुलजार है. यह विदेशी मेहमान दूरदराज से आने वाले मां विंध्यवासिनी के दरबार में भक्तों और स्थानीय लोगों के लिए आकर्षण का केंद्र बने हुए हैं. गंगा नदी में अठखेलियां करते पक्षियों को लोग दाना खिलाते हैं.

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गंगा की लहरों पर अठखेलियां करते विदेशी मेहमान.

तीन महीने तक भारत में रहते हैं साइबेरियन पक्षी
दिसंबर महीने में कड़ाके की ठंड शुरू होते ही गंगा के तटों की खूबसूरती को बढ़ाने के लिए यह विदेशी मेहमान हर वर्ष आते हैं. करीब तीन महीने तक यहां पर प्रवास करते हैं और मकर संक्रांति के बाद वापस लौट जाते हैं.

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पर्यटकों का कहना है कि मां विंध्यवासिनी का दर्शन पूजन करने आए हैं. गंगा घाटों पर स्नान करने आए तो देखा यहां का नजारा ही अलग है. साइबेरियन पक्षी को देखकर बहुत खुश हुए. स्थानीय लोगों का कहना है कि हर साल इंतजार रहता है इन साइबेरियन पंछियों के आने का.

Intro:सात समंदर पार से आकर साइबेरियन पक्षियों ने मिर्जापुर के विंध्याचल गंगा घाटों पर अपना डेरा डाल दिया है ।खूबसूरत विदेशी मेहमानों के पहुंचने से गंगा घाटों का नजारा ही बदल गया है। गंगा की लहरों पर अठखेलियां करते इन पक्षियों को देखने के लिए घाटों पर भीड़ उमड़ रही है। दिसंबर महीने में कड़ाके की ठंड बढ़ते ही गंगा तटों की खूबसूरती को बढ़ाने के लिए यह विदेशी मेहमान हर वर्ष आते हैं। करीब 3 महीने तक यहां पर प्रवास करते हैं और मकर संक्रांति के बाद वापस लौटने लगते हैं।


Body:मिर्जापुर के विंध्याचल के घाटों पर इस समय साइबेरियन पक्षियों के पहुचने से गुलजार। सात समुंदर पार से आए यह विदेशी मेहमान दूरदराज से आने वाले मां विंध्यवासिनी के दरबार मे भक्तों पर्यटकों और स्थानीय लोगों के लिए आकर्षण का केंद्र बने हैं। गंगा नदी में अठखेलियां करते पक्षियों को लोग काफी देर तक नाव से गंगा नदी में जाकर दाना खिलाते हैं इस खूबसूरत नजारे को विंध्याचल आने वाले सभी पर्यटक देखना चाहते हैं।दिसंबर महीने में कड़ाके की ठंड शुरू होते ही गंगा के तटों की खूबसूरती को बढ़ाने के लिए विदेशी मेहमान हर वर्ष अपने समय पर आ जाते हैं। गंगा में अठखेलियां करते हैं पक्षियों को लोग काफी देर तक निहारते रहते हैं। 3 महीने प्रवास करने के बाद यह पक्षी अपने वतन के लिए लौट जाती हैं। दूरदराज से आए पर्यटको का कहना है कि हम लोग मां विंध्यवासिनी का दर्शन पूजन करने आए हैं गंगा घाटों पर स्नान करने आए तो देखा यहां का नजारा ही अलग है साइबेरियन पक्षी को देखकर बहुत खुश हुए हम लोग भी साइबेरियन पंछियों को नाव से जाकर दाना खिलाए। वहीं स्थानीय लोगों का भी कहना है कि हमको हर साल इंतजार रहता है इनको आने का जब साइबेरियन पंछी आ जाती है तो हम बहुत खुश होते हैं हम लोग भी सुबह शाम जाकर पंछियों के दाने खिलाते हैं। यह नजारा केवल साल में एक बार देखने को मिलता है लगभग 3 महीने तक ठंड में रहती हैं इसके बाद वापस लौट जाते हैं।

बाईट-प्यारे लाल गुप्ता-पर्यटक
बाईट-रामलाल साहनी-स्थानीय

जय प्रकाश सिंह
मिर्ज़ापुर
9453881630


Conclusion:
Last Updated : Sep 10, 2020, 12:19 PM IST
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