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अगर आपके घरों में आते हैं गिलहरी व चूहे तो हो जाएं होशियार, हो सकती है ये बीमारी - मेरठ की खबरें

यूपी में लगातार डेंगू के एक के बाद एक मामले सामने आ रहे हैं. वहीं अब स्क्रब टाइफस बीमारी का भी जिक्र इन दिनों काफी हो रहा है. कई मामले प्रदेश में इस बीमारी के भी मिल चुके हैं. स्वास्थ्य विभाग की तरफ से जागरूक किया जा रहा है कि अगर घर के आसपास जंगल है या फिर झाड़ियां हैं तो सचेत एवं सतर्क हो जाएं, क्योंकि जिस रहस्य से हाल ही में पर्दा उठा है वो यही है कि गिलहरी और चूहे अगर घर में आते हैं तो स्क्रब टाइफस (SCRUB TYPHUS) होने का खतरा वहां हो सकता है. देखिए ये खास खबर.

गिलहरी व चूहों से रहें सावधान
गिलहरी व चूहों से रहें सावधान
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Published : Sep 8, 2021, 5:29 PM IST

मेरठ : हाल ही में राज्य सरकार ने प्रदेश में डेंगू की रोकथाम के लिए तमाम कदम उठाए हैं. लेकिन इसके साथ एक कोशिश ये भी की गई है कि लोगों को जागरूक किया जाए कि घरों के आसपास अगर झाड़ियां हैं तो वे सतर्क हो जाएं. इतना ही नहीं झाड़ियों को हटाने के बारे में भी दिशानिर्देश शाशन स्तर से दिए गए हैं. बता दें कि स्क्रब टाइफस के कई मामले प्रदेश में मिल चुके हैं. इस बारे में जो रिसर्च हुई है उसके मुताबिक बीमारी घातक भी हो सकती है. जिम्मेदारों की मानें तो स्क्रब टाइफस (SCRUB TYPHUS) चूहों व गिलहरियों से घरों तक पहुंचता है.

मण्डलीय नोडल अधिकारी डॉक्टर तालियान ने बताया कि स्क्रब टाइफस के लक्षण भी बिल्कुल डेंगू की तरह ही होते हैं. उन्होंने बताया कि जब गिलहरी या चूहे घरों में आते हैं तो अमूमन चूहों की पहुंच रसोई तक होती है. उनसे संक्रमण फैलता है. चूहे के कान में रहने वाला एक अति सूक्ष्म जंतु है, जो रसोई में रखे भोजन तक अगर पहुंच जाए तो फिर उस परिवार में ये बीमारी आ सकती है. डॉक्टर अशोक तालियान का कहना है कि और तो और अगर आप पशुपालक हैं और आपके शरीर पर कटे का निशान है तो पशुओं के मूत्र के लगने से भी एक अलग तरह की बीमारी आपको जकड़ सकती है.

गिलहरी व चूहों से रहें सावधान

इसे भी पढ़ें- रात के अंधेरे में चला योगी का बुलडोजर, लोगों ने कहा- नाइंसाफी कर रही सरकार

उन्होंने बताया कि नार्थ ईस्ट के कई राज्यों में काफी प्रयास के बाद इस बात का खुलासा हुआ है. डॉक्टर तालियान का कहना है कि गांवों में तो अधिकार खुले घर होते हैं. वहां तो चूहे और गिलहरियों की संख्या भी अधिक होती है. ऐसे में जागरुक होने की जरूरत है. दूसरी तरफ इस बारे में मेरठ के सीएमओ अखिलेश मोहन का कहना है कि इस मौसम में स्क्रब टाइफस (SCRUB TYPHUS) का अभी कोई मामला हालांकि नहीं है. लेकिन फिर भी लगातार जागरूक करने को महकमा हर कोशिश जिले में कर रहा है.

मेरठ : हाल ही में राज्य सरकार ने प्रदेश में डेंगू की रोकथाम के लिए तमाम कदम उठाए हैं. लेकिन इसके साथ एक कोशिश ये भी की गई है कि लोगों को जागरूक किया जाए कि घरों के आसपास अगर झाड़ियां हैं तो वे सतर्क हो जाएं. इतना ही नहीं झाड़ियों को हटाने के बारे में भी दिशानिर्देश शाशन स्तर से दिए गए हैं. बता दें कि स्क्रब टाइफस के कई मामले प्रदेश में मिल चुके हैं. इस बारे में जो रिसर्च हुई है उसके मुताबिक बीमारी घातक भी हो सकती है. जिम्मेदारों की मानें तो स्क्रब टाइफस (SCRUB TYPHUS) चूहों व गिलहरियों से घरों तक पहुंचता है.

मण्डलीय नोडल अधिकारी डॉक्टर तालियान ने बताया कि स्क्रब टाइफस के लक्षण भी बिल्कुल डेंगू की तरह ही होते हैं. उन्होंने बताया कि जब गिलहरी या चूहे घरों में आते हैं तो अमूमन चूहों की पहुंच रसोई तक होती है. उनसे संक्रमण फैलता है. चूहे के कान में रहने वाला एक अति सूक्ष्म जंतु है, जो रसोई में रखे भोजन तक अगर पहुंच जाए तो फिर उस परिवार में ये बीमारी आ सकती है. डॉक्टर अशोक तालियान का कहना है कि और तो और अगर आप पशुपालक हैं और आपके शरीर पर कटे का निशान है तो पशुओं के मूत्र के लगने से भी एक अलग तरह की बीमारी आपको जकड़ सकती है.

गिलहरी व चूहों से रहें सावधान

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उन्होंने बताया कि नार्थ ईस्ट के कई राज्यों में काफी प्रयास के बाद इस बात का खुलासा हुआ है. डॉक्टर तालियान का कहना है कि गांवों में तो अधिकार खुले घर होते हैं. वहां तो चूहे और गिलहरियों की संख्या भी अधिक होती है. ऐसे में जागरुक होने की जरूरत है. दूसरी तरफ इस बारे में मेरठ के सीएमओ अखिलेश मोहन का कहना है कि इस मौसम में स्क्रब टाइफस (SCRUB TYPHUS) का अभी कोई मामला हालांकि नहीं है. लेकिन फिर भी लगातार जागरूक करने को महकमा हर कोशिश जिले में कर रहा है.

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