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मथुरा: कोर्ट में हुई PFI सदस्यों की पेशी, 1 मई को होगी अगली सुनवाई

हाथरस में किशोरी हत्याकांड में सांप्रदायिक हिंसा फैलाने के मामले में मथुरा जिला कारागार में बंद पांच पीएफआई सदस्यों को शनिवार को एडीजे प्रथम कोर्ट में पेश किया गया, जबकि लखनऊ जिला कारागार में बंद दो सदस्यों की पेशी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से हुई. कोर्ट में एसटीएफ के अधिकारियों ने आठों आरोपियों के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किए.

PFI के सात सदस्य एडीजे कोर्ट में आज किए जाएंगे पेश
PFI के सात सदस्य एडीजे कोर्ट में आज किए जाएंगे पेश
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Published : Apr 3, 2021, 11:17 AM IST

Updated : Apr 3, 2021, 7:50 PM IST

मथुरा: हाथरस में पिछले साल सांप्रदायिक हिंसा फैलाने के मामले में पीएफआई सदस्यों को शनिवार को एडीजे प्रथम कोर्ट में पेश किया गया. कोर्ट में एसटीएफ के अधिकारियों ने आठों आरोपियों के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किए. पांच हजार पन्नों की चार्जशीट कोर्ट में दाखिल की गई. वहीं मामले की अगली सुनवाई एक मई को होगी. फिलहाल पीएफआई के पांच सदस्य जिला कारागार में बंद हैं. वहीं दो सदस्य लखनऊ जिला कारागार में बंद हैं, जबकि एक की गिरफ्तारी अभी तक नहीं हो पाई है.

जानकारी देते अधिवक्ता.

आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट कोर्ट में दाखिल
दरअसल, बता दें कि पिछले साल पांच अक्टूबर को पकड़े गए पीएफआई के सदस्य अतीकुर्रहमान, मसूद, आलम, सिद्दीकी कप्पन, छात्र विंग संगठन महासचिव रउफ शरीफ इस समय मथुरा जिला कारागार में बंद हैं, जबकि फिरोज खान और कमांडर अंसद बदरुदीन लखनऊ जिला कारागार में बंद हैं. पिछले दिनों राजधानी लखनऊ में एटीएस की टीम ने पीएफआई के दो सदस्य अंसद बरूद्दीन और फिरोज खान को विस्फोटक सामग्री के साथ गिरफ्तार किया था, जो कि मथुरा जिला कारागार में बंद पीएफआई सदस्यों के नजदीकी बताए जा रहे हैं. वहीं इनका एक अन्य साथी दानिश फरार चल रहा है. आठों के खिलाफ एसटीएफ की टीम ने शनिवार को मथुरा कोर्ट में पांच हजार पन्नों की चार्जशीट दाखिल की, जिसमें पीएफआई के सदस्यों को आरोपी माना है.

आरोपियों की हुई कोर्ट में पेशी
मथुरा जिला कारागार में बंद पीएफआई के सदस्य अतीकुर्रहमान, आलम, मसूद, सिद्धकी कप्पन, छात्र विंग संगठन महासचिव रउफ शरीफ को कड़ी सुरक्षा के बीच में एडीजे प्रथम कोर्ट में लाया गया, जबकि लखनऊ जेल में बंद पीएफआई के दो सदस्य फिरोज खान और कमांडर अंसद बदरुद्दीन की पेशी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से की गई. कोर्ट में आरोपियों के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल करने के बाद एडीजे प्रथम जज अनिल कुमार पांडे द्वारा मामले की अगली सुनवाई के लिए एक मई की तिथि नियत की गई.

8वां सदस्य पुलिस की गिरफ्त से चल रहा फरार
पीएफआई मामले में एसटीएफ की टीम जांच कर रही है. जांच के दौरान दिल्ली निवासी दानिश का नाम प्रकाश में आया. दानिश के खिलाफ भी एसटीएफ की टीम ने शनिवार को कोर्ट में आरोप पत्र दाखिल किया है. पिछले कई दिनों से दानिश हाईकोर्ट स्टे पर फरार चल रहा है.

इसे भी पढ़ें:- पूर्व सांसद धनंजय सिंह के आवास पर पुलिस ने मारा छापा

एसटीएफ की टीम ने पीएफआई के सदस्यों पर संगीन आरोप लगाए हैं. सबूतों के आधार पर कोर्ट में चार्जशीट दाखिल की गई, जिसमें कहा गया है कि पिछले साल हाथरस में सांप्रदायिक हिंसा फैलाने का आरोप और विदेशों से फंडिंग के मामले में सबूत इकट्ठे किए गए, जो कोर्ट में पेश किए गए हैं. आठों सदस्यों के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया गया है.

पीएफआई सदस्य का आरोप
वहीं पीएफआई के एक सदस्य अतीकुर्रहमान ने प्रदेश सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि प्रदेश सरकार के कहने पर हमारे खिलाफ झूठे मुकदमे लगाए गए है. फर्जी दस्तावेज तैयार करके हमें आरोपी बनाया जा रहा है. जेल में हमें काफी परेशान किया जाता है.

आज एडीजे प्रथम कोर्ट में पीएफआई के सभी सदस्यों के खिलाफ एसटीएफ की टीम ने चार्जशीट दाखिल की है. पांच हजार पन्नों की चार्जशीट कोर्ट में दाखिल की गई है. सभी सदस्यों के खिलाफ संगीन धाराओं में जो मुकदमे दर्ज किए गए थे, उनके सभी सबूत न्यायालय के समक्ष एसटीएफ की टीम ने दिए हैं. सभी 120बी के मुलजिम बनाए गए हैं.
-शिवराम सिंह तरकर, जिला शासकीय अधिवक्ता

आज पीएफआई के सदस्यों को एडीजे प्रथम कोर्ट में लाया गया. एसटीएफ की टीम ने सदस्यों के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया है, लेकिन अभी तक आरोप पत्र की कॉपी हमें नहीं मिली है. एसटीएफ द्वारा जो आरोप लगाए जा रहे हैं, वह गलत हैं. हम उच्च न्यायालय में अपील करेंगे. मेरे मुवक्किल ने बताया कि जेल प्रशासन द्वारा शुक्रवार से अतीकुर्रहमान को खाना नहीं दिया गया है. 24 घंटे बीत जाने के बाद भी खाना उपलब्ध नहीं हो सका. उसे जेल में परेशान किया जा रहा है.
-मधुबन दत्त चतुर्वेदी, पीएफआई सदस्यों के अधिवक्ता

मथुरा: हाथरस में पिछले साल सांप्रदायिक हिंसा फैलाने के मामले में पीएफआई सदस्यों को शनिवार को एडीजे प्रथम कोर्ट में पेश किया गया. कोर्ट में एसटीएफ के अधिकारियों ने आठों आरोपियों के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किए. पांच हजार पन्नों की चार्जशीट कोर्ट में दाखिल की गई. वहीं मामले की अगली सुनवाई एक मई को होगी. फिलहाल पीएफआई के पांच सदस्य जिला कारागार में बंद हैं. वहीं दो सदस्य लखनऊ जिला कारागार में बंद हैं, जबकि एक की गिरफ्तारी अभी तक नहीं हो पाई है.

जानकारी देते अधिवक्ता.

आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट कोर्ट में दाखिल
दरअसल, बता दें कि पिछले साल पांच अक्टूबर को पकड़े गए पीएफआई के सदस्य अतीकुर्रहमान, मसूद, आलम, सिद्दीकी कप्पन, छात्र विंग संगठन महासचिव रउफ शरीफ इस समय मथुरा जिला कारागार में बंद हैं, जबकि फिरोज खान और कमांडर अंसद बदरुदीन लखनऊ जिला कारागार में बंद हैं. पिछले दिनों राजधानी लखनऊ में एटीएस की टीम ने पीएफआई के दो सदस्य अंसद बरूद्दीन और फिरोज खान को विस्फोटक सामग्री के साथ गिरफ्तार किया था, जो कि मथुरा जिला कारागार में बंद पीएफआई सदस्यों के नजदीकी बताए जा रहे हैं. वहीं इनका एक अन्य साथी दानिश फरार चल रहा है. आठों के खिलाफ एसटीएफ की टीम ने शनिवार को मथुरा कोर्ट में पांच हजार पन्नों की चार्जशीट दाखिल की, जिसमें पीएफआई के सदस्यों को आरोपी माना है.

आरोपियों की हुई कोर्ट में पेशी
मथुरा जिला कारागार में बंद पीएफआई के सदस्य अतीकुर्रहमान, आलम, मसूद, सिद्धकी कप्पन, छात्र विंग संगठन महासचिव रउफ शरीफ को कड़ी सुरक्षा के बीच में एडीजे प्रथम कोर्ट में लाया गया, जबकि लखनऊ जेल में बंद पीएफआई के दो सदस्य फिरोज खान और कमांडर अंसद बदरुद्दीन की पेशी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से की गई. कोर्ट में आरोपियों के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल करने के बाद एडीजे प्रथम जज अनिल कुमार पांडे द्वारा मामले की अगली सुनवाई के लिए एक मई की तिथि नियत की गई.

8वां सदस्य पुलिस की गिरफ्त से चल रहा फरार
पीएफआई मामले में एसटीएफ की टीम जांच कर रही है. जांच के दौरान दिल्ली निवासी दानिश का नाम प्रकाश में आया. दानिश के खिलाफ भी एसटीएफ की टीम ने शनिवार को कोर्ट में आरोप पत्र दाखिल किया है. पिछले कई दिनों से दानिश हाईकोर्ट स्टे पर फरार चल रहा है.

इसे भी पढ़ें:- पूर्व सांसद धनंजय सिंह के आवास पर पुलिस ने मारा छापा

एसटीएफ की टीम ने पीएफआई के सदस्यों पर संगीन आरोप लगाए हैं. सबूतों के आधार पर कोर्ट में चार्जशीट दाखिल की गई, जिसमें कहा गया है कि पिछले साल हाथरस में सांप्रदायिक हिंसा फैलाने का आरोप और विदेशों से फंडिंग के मामले में सबूत इकट्ठे किए गए, जो कोर्ट में पेश किए गए हैं. आठों सदस्यों के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया गया है.

पीएफआई सदस्य का आरोप
वहीं पीएफआई के एक सदस्य अतीकुर्रहमान ने प्रदेश सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि प्रदेश सरकार के कहने पर हमारे खिलाफ झूठे मुकदमे लगाए गए है. फर्जी दस्तावेज तैयार करके हमें आरोपी बनाया जा रहा है. जेल में हमें काफी परेशान किया जाता है.

आज एडीजे प्रथम कोर्ट में पीएफआई के सभी सदस्यों के खिलाफ एसटीएफ की टीम ने चार्जशीट दाखिल की है. पांच हजार पन्नों की चार्जशीट कोर्ट में दाखिल की गई है. सभी सदस्यों के खिलाफ संगीन धाराओं में जो मुकदमे दर्ज किए गए थे, उनके सभी सबूत न्यायालय के समक्ष एसटीएफ की टीम ने दिए हैं. सभी 120बी के मुलजिम बनाए गए हैं.
-शिवराम सिंह तरकर, जिला शासकीय अधिवक्ता

आज पीएफआई के सदस्यों को एडीजे प्रथम कोर्ट में लाया गया. एसटीएफ की टीम ने सदस्यों के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया है, लेकिन अभी तक आरोप पत्र की कॉपी हमें नहीं मिली है. एसटीएफ द्वारा जो आरोप लगाए जा रहे हैं, वह गलत हैं. हम उच्च न्यायालय में अपील करेंगे. मेरे मुवक्किल ने बताया कि जेल प्रशासन द्वारा शुक्रवार से अतीकुर्रहमान को खाना नहीं दिया गया है. 24 घंटे बीत जाने के बाद भी खाना उपलब्ध नहीं हो सका. उसे जेल में परेशान किया जा रहा है.
-मधुबन दत्त चतुर्वेदी, पीएफआई सदस्यों के अधिवक्ता

Last Updated : Apr 3, 2021, 7:50 PM IST
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