महोबा: देश के सबसे बड़े सूबे उत्तर प्रदेश के महोबा जिले को शासन ने भले ही स्वास्थ्य सेवाओं के मामले में प्रथम स्थान दिया हो, लेकिन बुंदेखखंड के इस जिले में स्वास्थ्य सेवाओं की जमीनी हकीकत कुछ और ही है. महिला जिला अस्पताल में स्वास्थ्यकर्मियों की लापरवाही का बड़ा मामला सामने आया है. जहां महज कुछ घंटों पहले जन्म लेने वाला मासूम जिंदगी और मौत से जूझ रहा है. वहीं, परिजनों ने स्वास्थ्यकर्मियों पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए अस्पताल परिसर में जमकर हंगामा काटा.
इधर, हंगामा बढ़ता देख ड्यूटी पर तैनात चिकित्सक ने मासूम की हालत गंभीर बता उसे हायर सेंटर के लिए रेफर करने की बात कह दी. फिलहाल पूरे मामले का संज्ञान लेकर सीएमएस ने मामले की जांच करा दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की बात कही है.
दरअसल, मामला जिला मुख्यालय स्थित महिला जिला अस्पताल का है, जहां मुख्यालय के कस्बाथाई मुहल्ले के रहने वाले अनीस की 22 वर्षीय पत्नी नेहा ने मंगलवार को जिला अस्पताल में स्वस्थ बच्चे को जन्म दिया था. जिला अस्पताल प्रशासन की ओर से एहतियातन नवजात शिशु को जिला अस्पताल के एसएनसीयू वार्ड में भर्ती कर दिया गया, जहां उसका इलाज चल रहा था. आज जब पिता अनीस अपने मासूम बेटे को देखने एसएनसीयू वार्ड गए तो उन्होंने अपने बेटे को रेडिएंट वार्मर मशीन में खून से लथपथ देखा.
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वहीं, पिता ने ड्यूटी पर तैनात स्टाफ से नाराजगी जता डॉक्टर को मामले से अवगत कराया तो एसएनसीयू वार्ड पहुंचे डॉक्टर ने मासूम की हालत गंभीर बता उसे हायर सेंटर रेफर कर दिया. हालांकि, रेफर करने की बात को सुन परिजन आक्रोशित हो गए और अस्पताल में हंगामा मचाना शुरू कर दिया.
परिजनों ने एसएनसीयू वार्ड में तैनात स्वास्थ्यकर्मियों पर लापरवाही का आरोप लगाया है. इधर, इस मामले के प्रकाश में आने के बाद जिला अस्पताल के सीएमएस डॉ. डी के सुल्लेरे ने मामले की जांच करा दोषी स्वास्थ्यकर्मियों के खिलाफ कार्रवाई किए जाने की बात कही है.
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