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बर्बाद फसलों का बीमा कंपनियों से दिलाया जाए क्लेम, पूर्व सांसद लिखेंगे केंद्रीय कृषि मंत्री को पत्र - जिलाधिकारी ने किया मुआयना

बुंदेलखंड में दैवीय आपदा किसानों के लिए सबसे बड़ी समस्या बनी हुई है. ऊपर से किसानों को उनकी बर्बाद फसलों का बीमा क्लेम मिलने में भी दिक्कतें पेश आ रही है. जिसको लेकर पूर्व सांसद गंगाचरण राजपूत ने बीमा कंपनी को जल्द क्लेम राशि दिए जाने के साथ-साथ चुनाव आयोग से किसानों को मदद दिलाए जाने के लिए वैकल्पिक व्यवस्था करने की भी मांग की है.

पूर्व सांसद गंगाचरण राजपूत
पूर्व सांसद गंगाचरण राजपूत
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Published : Jan 11, 2022, 10:10 AM IST

महोबा: बुंदेलखंड में दैवीय आपदा किसानों के लिए सबसे बड़ी समस्या बनी हुई है. ऊपर से किसानों को उनकी बर्बाद फसलों का बीमा क्लेम मिलने में भी दिक्कतें पेश आ रही है. जिसको लेकर पूर्व सांसद गंगाचरण राजपूत ने बीमा कंपनी को जल्द क्लेम राशि दिए जाने के साथ-साथ चुनाव आयोग से किसानों को मदद दिलाए जाने के लिए वैकल्पिक व्यवस्था करने की भी मांग की है. पूर्व सांसद बीमा क्लेम के लिए समय सीमा बढ़ाए जाने के लिए हाईकोर्ट में जनहित याचिका दाखिल करने की बात कह रहे हैं.

बीते चार दिनों से लगातार हो रही बारिश और ओलावृष्टि के चलते किसानों की फसलें पूरी तरह से बर्बाद हो चुकी हैं. जिसको लेकर पूर्व सांसद गंगाचरण राजपूत ने प्रेस वार्ता कर चुनाव आयोग से किसानों को राहत दिए जाने की मांग उठाई है. साथ ही बीमा क्लेम की समय अवधि बढ़ाने को लेकर केंद्रीय कृषि मंत्री व फसल बीमा डायरेक्टर को पत्र लिखकर किसानों को राहत दिलाने की भी बात कही है.

पूर्व सांसद गंगाचरण राजपूत

इसके अलावा उन्होंने बीमा की राशि किसानों को 100 दिन में देने की मांग उठाते हुए कहा कि बीमा की राशि किसानों को समय से मिले, ताकि उनके नुकसान की भरपाई हो सके. साथ ही फसल बीमा की प्रक्रिया में सुधार न होने पर उन्होंने हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर करने की भी बात कही है. उन्होंने बताया कि वो जिले के कई गांवों का दौरा किए, जहां पर किसानों की फसलें करीब 90 फीसद तक बर्बाद हो गई है.

इसे भी पढ़ें - आगरा का शांतिनिकेतन बन रहा अनुपम उपवन, जानें टैगोर कल्चरल कॉम्पलेक्स की खासियत

उन्होंने कहा कि वो जिलाधिकारी को मामले से अवगत करा चुके हैं. तमाम प्रशासनिक अधिकारियों के साथ जिलाधिकारी ने मौके मुआयना किया है और तात्कालिक रूप से सभी लेखपालों को अपने-अपने क्षेत्रों में जाकर किसानों की फसलों के नुकसान का आकलन करने के निर्देश दिए हैं. उनका कहना है कि आदर्श आचार संहिता के लागू होने के बाद सरकार किसानों को मुआवजा नहीं दे सकती है. ऐसे में उन्होंने चुनाव आयोग से किसानों की फौरी राहत के लिए मुआवजा की मांग की है.

पूर्व सांसद गंगाचरण राजपूत
पूर्व सांसद गंगाचरण राजपूत

बता दें कि फसल बीमा में बीमा कंपनियों के भ्रष्टाचार को लेकर पूर्व में भी पूर्व सांसद गंगाचरण राजपूत ने जनहित याचिका दायर कर किसानों को उनकी फसल का बीमा क्लेम दिलाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी. यहीं नहीं पूर्व सांसद ने कहा कि बीमा कंपनी की ओर से बीमा क्लेम के लिए समय सीमा बढ़ाने की जरुरत है. ताकि किसान समय से क्लेम के लिए शिकायत कर सकें.

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महोबा: बुंदेलखंड में दैवीय आपदा किसानों के लिए सबसे बड़ी समस्या बनी हुई है. ऊपर से किसानों को उनकी बर्बाद फसलों का बीमा क्लेम मिलने में भी दिक्कतें पेश आ रही है. जिसको लेकर पूर्व सांसद गंगाचरण राजपूत ने बीमा कंपनी को जल्द क्लेम राशि दिए जाने के साथ-साथ चुनाव आयोग से किसानों को मदद दिलाए जाने के लिए वैकल्पिक व्यवस्था करने की भी मांग की है. पूर्व सांसद बीमा क्लेम के लिए समय सीमा बढ़ाए जाने के लिए हाईकोर्ट में जनहित याचिका दाखिल करने की बात कह रहे हैं.

बीते चार दिनों से लगातार हो रही बारिश और ओलावृष्टि के चलते किसानों की फसलें पूरी तरह से बर्बाद हो चुकी हैं. जिसको लेकर पूर्व सांसद गंगाचरण राजपूत ने प्रेस वार्ता कर चुनाव आयोग से किसानों को राहत दिए जाने की मांग उठाई है. साथ ही बीमा क्लेम की समय अवधि बढ़ाने को लेकर केंद्रीय कृषि मंत्री व फसल बीमा डायरेक्टर को पत्र लिखकर किसानों को राहत दिलाने की भी बात कही है.

पूर्व सांसद गंगाचरण राजपूत

इसके अलावा उन्होंने बीमा की राशि किसानों को 100 दिन में देने की मांग उठाते हुए कहा कि बीमा की राशि किसानों को समय से मिले, ताकि उनके नुकसान की भरपाई हो सके. साथ ही फसल बीमा की प्रक्रिया में सुधार न होने पर उन्होंने हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर करने की भी बात कही है. उन्होंने बताया कि वो जिले के कई गांवों का दौरा किए, जहां पर किसानों की फसलें करीब 90 फीसद तक बर्बाद हो गई है.

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उन्होंने कहा कि वो जिलाधिकारी को मामले से अवगत करा चुके हैं. तमाम प्रशासनिक अधिकारियों के साथ जिलाधिकारी ने मौके मुआयना किया है और तात्कालिक रूप से सभी लेखपालों को अपने-अपने क्षेत्रों में जाकर किसानों की फसलों के नुकसान का आकलन करने के निर्देश दिए हैं. उनका कहना है कि आदर्श आचार संहिता के लागू होने के बाद सरकार किसानों को मुआवजा नहीं दे सकती है. ऐसे में उन्होंने चुनाव आयोग से किसानों की फौरी राहत के लिए मुआवजा की मांग की है.

पूर्व सांसद गंगाचरण राजपूत
पूर्व सांसद गंगाचरण राजपूत

बता दें कि फसल बीमा में बीमा कंपनियों के भ्रष्टाचार को लेकर पूर्व में भी पूर्व सांसद गंगाचरण राजपूत ने जनहित याचिका दायर कर किसानों को उनकी फसल का बीमा क्लेम दिलाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी. यहीं नहीं पूर्व सांसद ने कहा कि बीमा कंपनी की ओर से बीमा क्लेम के लिए समय सीमा बढ़ाने की जरुरत है. ताकि किसान समय से क्लेम के लिए शिकायत कर सकें.

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