लखनऊ: लखनऊ विश्वविद्यालय में PHDसीटों का मामला और उलझता जा रहा है. प्रशासन की ओर से विभागों को भेजे गए संबंधित पत्र में शिक्षक संघ ने अपनी आपत्ति दर्ज कराई है. दो मार्च को शिक्षक संघ सामान्य सभा की बैठक में इस मामले को एक बार फिर से उठाने वाला है.
शिक्षक संघ के पदाधिकारियों ने कहा कि विश्वविद्यालय प्रशासन द्वारा भेजे गए पत्र में अनुशासन कार्यवाही की बात कही गई है, जोकि धमकी समान है. इस वजह से शिक्षक संघ में काफी रोष है. वहीं विश्वविद्यालय प्रशासन ने इस पूरे मामले में बात करने से मना कर दिया है. शिक्षकों का कहना है कि प्रशासन PHDअध्यादेश की अनदेखी कर रहा है और सीटों का निर्धारण मनमाने ढंग से किया जा रहा है.
मामले में शिक्षक संघ ने कई बार कुलपति से मुलाकात भी की, लेकिन अभी तक उनकी कोई भी सुनवाई नहीं हुई है. गुरुवार को कार्यकारिणी की बैठक में इस पर चर्चा हुई और दो मार्च को इस पर आम सभा भी बुलाई गई है. विश्वविद्यालय प्रशासन ने दावा किया है कि गुरुवार देर शाम तक विश्वविद्यालय के लगभग सभी विभागों से सूचना उपलब्ध कराई गई है, जिसमें कुछ विभागों ने पूर्व में भेजी सूचना को ही आधार बताया है. कुछ विभागों ने आधी सूचनाएं भेजी हैं. वहीं प्रति कुलपति व सीट निर्धारण कमेटी के चेयरमैन प्रोफेसर राजकुमार सिंह ने बताया कि अब कमेटी इसी आधार पर सीटों का निर्धारण करेगी.