लखनऊ: उत्तर प्रदेश राजकीय निर्माण निगम लिमिटेड के प्रोजेक्ट मैनेजर सुनील कुमार गौतम के खिलाफ आय से अधिक संपत्ति व भ्रष्टाचार े मामले में एफआईआर दर्ज की गई है. खुली जांच में दोषी पाए जाने पर उत्तर प्रदेश विजिलेंस ने उनके विरुद्ध मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है.
उत्तर प्रदेश सतर्कता अधिष्ठान (विजिलेंस) इंस्पेक्टर कृष्णपाल सिंह ने मेरठ सेक्टर थाने में सुनील कुमार गौतम के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988 की धारा 13(1) (बी) और 13(2) के तहत मुकदमा दर्ज किया है. विजिलेंस की खुली जांच में विवेचक ने पाया गया कि जांच के लिए निर्धारित की गई अवधि में सुनील गौतम ने सभी ज्ञात एवं वैध स्रोतों से कुल 41,56,122 रुपये अर्जित किया जबकि इसी अवधि में उन्होंने भरण-पोषण व परिसंपत्तियां खरीदने में 54,86,243 रुपये खर्च किया. इस तरह उनके द्वारा आय से अधिक 13,30,121 रुपये खर्च किया गया. जांच के दौरान इस संबंध में प्रोजेक्ट मैनेजर सुनील कुमार कोई संतोषजनक स्पष्टीकरण भी नहीं दे पाए थे.
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शासन के सतर्कता विभाग ने 31 मई 2019 को विजिलेंस को निर्माण निगम के प्रोजेक्ट मैनेजर सुनील गौतम के विरुद्ध खुली जांच के आदेश दिए गए थे. विजिलेंस की जांच रिपोर्ट का परीक्षण करने के बाद शासन ने 8 मार्च 2022 को भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज कर विवेचना करने के आदेश दिए थे. फिलहाल आरोपी सुनील गौतम का आवास जीटीबी इनक्लेव नई दिल्ली में हैं.
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