लखनऊ : उत्तर प्रदेश पाॅवर कॉरपोरेशन की एकमुश्त समाधान योजना पहली बार बिजली चोरी के मामलों में भी राहत दे रही है. ऐसे उपभोक्ता जो बिजली चोरी में पकड़े गए और उन पर भारी भरकम जुर्माना लगा वह भी अब अपना पंजीकरण कराकर ओटीएस में बकाया भुगतान कर अपने ऊपर से बिजली चोर का धब्बा हटा सकते हैं. उत्तर प्रदेश में बिजली चोरी के छह लाख से ज्यादा मामले हैं. यानी छह लाख बिजली चोरी के मामलों में 35 फीसद रकम का भुगतान कर जुर्माने में 65% छूट का लाभ लिया सकता है. 35% जुर्माना भरते ही उपभोक्ता कानूनी कार्रवाई से मुक्त हो जाएंगे. उन पर से बिजली चोरी करने का टैग हट जाएगा. हालांकि एक शर्त जरूर है कि इस छूट का फायदा उठाने के लिए हर हाल में उन्हें 30 नवंबर तक अपना पंजीकरण करा लेना होगा.
उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने प्रदेश के उपभोक्ताओं को दीपावली से पहले तोहफा देते हुए एकमुश्त समाधान योजना लागू की है. इस योजना में अलग-अलग वर्ग के उपभोक्ता अपने बकाए के भुगतान पर सरचार्ज माफी का फायदा उठा सकते हैं. अभी तक ओटीएस योजना कई बार लागू हुई, लेकिन ऐसा पहली बार हुआ है कि बिजली चोरी करने वाले उपभोक्ताओं को भी इस योजना का लाभ देने का फैसला लिया गया है. उत्तर प्रदेश पाॅवर काॅरपोरेशन के आंकड़ों के मुताबिक प्रदेश भर में छह लाख से ज्यादा बिजली चोरी के मामले हैं. जो घर या फिर दुकान में बिजली चोरी की और पकड़े गए हैं. अब ऐसे उपभोक्ता 30 नवंबर तक क्षेत्रीय उपकेंद्र पर पंजीकरण कर सकते हैं और उन पर जितना बकाया है उसका 35 फीसद भुगतान करके बिल पर ब्याज व जुर्माने में 65% का लाभ ले सकते हैं.
तहसील की रिकवरी नोटिस भी हो जाएगी वापस : उत्तर प्रदेश के ऊर्जा मंत्री अरविंद कुमार शर्मा का कहना है कि इस बार की ओटीएस योजना में बिजली चोरी करने वाले उपभोक्ताओं को तो राहत दी ही जा रही है. जिन उपभोक्ताओं के पास बिजली चोरी के मामले में तहसील की तरफ से वसूली का नोटिस भेजा गया है. उन बकाएदारों को भी ओटीएस योजना में शामिल किया गया है. तहसील से रिकवरी नोटिस आने के बावजूद उपभोक्ता परेशान न हों. एकमुश्त समाधान योजना में छूट पाने के लिए वह अपना पंजीकरण कराकर ऑटोमेटिक तहसील की रिकवरी और पुलिस विभाग से जारी नोटिस वापस हो जाएगा. ऐसे मामले में आवेदक को रजिस्ट्रेशन के समय जुर्माने की 10% और बाद में 25% धनराशि जमा करनी होगी.
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