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रिटायर्ड कर्मचारियों को ठगने वाले 2 साइबर अपराधी कोलकाता से गिरफ्तार - crime news

राजधानी लखनऊ की साइबर क्राइम टीम ने सेवानिवृत्त सरकारी कर्मचारियों को फोन कॉल के माध्यम से पेंशन आदि अपडेट करने का झांसा देकर उनके बैंक खातों से ऑनलाइन ठगी करने वाले गिरोह के दो सदस्यों को कोलकाता से गिरफ्तार किया है. ये दोनों साइबर अपराधी झारखंड के रहने वाले हैं.

झारखंड के रहने वाले साइबर अपराधी गिरफ्तार.
झारखंड के रहने वाले साइबर अपराधी गिरफ्तार.
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Published : Aug 15, 2021, 7:43 PM IST

लखनऊ: झारखंड में जामताड़ा के दुमका जिले में सरैयाहाट के सलजोर बंदरी निवासी शातिर साइबर अपराधी प्रमोद मंडल (29) और झारखंड में धनबाद के मनियाडीह महुआदाप निवासी मंटू कुमार मंडल (21) आखिरकार कोलकाता में पुलिस के हत्थे चढ़ गया. इन दोनों को सूबे की राजधानी लखनऊ के साइबर थाना पुलिस की टीम ने गिरफ्तार किया है. इनकी तलाश कई राज्यों की पुलिस कर रही थी. आरोपी करीब 5.16 करोड़ रुपये की ठगी कर चुके हैं.

साइबर क्राइम टीम की मानें तो ये आरोपी पेंशनरों को निशाना बनाते थे. ये कर्मियों को फोन कॉल कर निजी जानकारियां पूछ उनके बैंक खातों से ऑनलाइन रकम उड़ाते थे. अभी तक इस गैंग ने यूपी और राजस्थान के 12 से अधिक कर्मचारियों से ठगी की है. दुमका पुलिस भी बीते 4 माह से शातिर प्रमोद मंडल पहुंचने की कोशिश में जुटी थी. प्रमोद के पास 10 करोड़ से अधिक की संपत्ति है. कई राज्यों में साइबर ठगी को अंजाम दे चुका प्रमोद लगातार लोकेशन बदल रहा था. इन दिनों कोलकाता में रह रहा था. इसकी भनक लगते ही लखनऊ पुलिस साइबर टीम ने कोलकोता पुलिस के सहयोग से उसे धर दबोचा.

ADG साइबर क्राइम की मानें तो झारखंड में बैठे ये साइबर अपराधी कुछ महीनों से सेवानिवृत्त सरकारी कर्मचारियों को उनकी नौकरी व खाता संबंधी विवरण पूछकर पेंशन आदि अपडेट करने के नाम पर बैंक खातों से रुपयों की ठगी कर रहे थे. इस तरह के कई मामले सामने आ चुके थे. लखनऊ में पेंशन धारक महिला हेड कांस्टेबल एस्टरडीन ने 9 लाख रुपये व उपनिरीक्षक रामलखन चौधरी ने 10 लाख रुपये, हरदोई में पेंशनर रिटायर्ड उपनिरीक्षक छोटे लाल ने 11 लाख और उपनिरीक्षक उदयवीर सिंह ने 10 लाख रुपये ठगने का केस दर्ज कराया था. शुरुआती विवेचना में चारों मुकदमे में झारखंड के जामताड़ा गैंग का हाथ सामने आया. इसी जानकारी के आधार पर सर्विलांस के जरिये प्रमोद और मंटू मंडल को कोलकाता से दबोचा गया.

ADG साइबर क्राइम ने बताया कि टीम ने दोनों आरोपियों के पास से अपराध में प्रयुक्त 13 अदद मोबाइल फोन, विभिन्न बैंकों के 07 एटीएम कार्ड, 13 सिम कार्ड, 03 आधार कार्ड व 01 पैन कार्ड, 01 वोटर आईडी, 04 ब्रांडेड घड़ी, 02 ब्लूटूथ साउंड सिस्टम और 12 फ्लिप्कार्ट आदि बरामद किया है. धनबाद में चंदवा थाने में प्रमोद के खिलाफ आईटी एक्ट समेत जालसाजी समेत कई संगीन धाराओं में मुकदमा दर्ज है. यही नहीं, वाराणसी परिक्षेत्र में एक, लखनऊ परिक्षेत्र में 3 और हरदोई में 2 मुकदमे में प्रमोद वांछित था. इससे पूर्व भी लखनऊ साइबर टीम ने 3 और आरोपी गिरफ्तार किए थे. दुमका में जब भी साइबर अपराधियों की गिरफ्तारी हुई है और उनसे पूछताछ में प्रमोद मंडल का नाम सामने आता रहा है.

इसे भी पढ़ें:- 'वाह रे यूपी पुलिस', बदमाशों के डर से रास्ता बदलने की दे रही नसीहत

साइबर क्राइम टीम की पूछताछ व बरामद उपकरणों के नंबर आदि को NCCRP (National Cyber Crime Reporting Portal) पोर्टल व साइबर सेफ पोर्टल पर सर्च किया गया तो जानकारी मिली कि पकड़े गए अभियुक्तों प्रमोद कुमार मंडल व मंटू मंडल ने धौलपुर राजस्थान के अभिषेक राजपूत, पुणे महाराष्ट्र के जयंत मणिकर से व तेलंगाना, यूपी के मिर्जापुर, औरैया आदि के लोगों से भी ऑनलाइन रुपयों की ठगी की है. साथ ही आरोपियों ने लखनऊ, वाराणसी, हरदोई में किए अपने जुर्म को भी कुबूल लिया. आरोपियों ने मितन मंडल, राहुल मंडल, विक्रम मंडल, मुकेश मंडल, सचिन मंडल के नाम कुबूले हैं. साइबर टीम इनकी तलाश कर रही है. ADG का कहना है कि आरोपियों द्वारा प्रयोग किए जा रहे बैंक खाते सीज करा दिए गए हैं. उन्होंने बताया कि आरोपी मंटू मंडल थाना चंदवा जिला धनबाद झारखंड से वांछित है. इसके खिलाफ न्यायालय ACIM लातेहार द्वारा कुर्की नोटिस जारी की गई है.

ADG साइबर क्राइम ने बताया कि आरोपी सरकारी सेवानिवृत कर्मियों के डाटा को ओपन सोर्स से ऑनलाइन प्राप्त कर उनको कॉल के माध्यम से पेंशन आदि अपडेट करने की बात बताकर उनसे उनके खातों की गोपनीय जानकारी प्राप्त कर लेते हैं. फिर उनको बैंक खातों में ऑनलाइन ट्रांजैक्शन सुविधा एक्टिवेट कर उस बैंक खाते में अपना फर्जी मोबाइल नंबर रजिस्टर्ड करा देते थे और उनका बैंक खाता हैक कर उनके खातों में मौजूद उनके जीवन भर की जमा पूंजी दूसरे खातों में ट्रान्सफर कर निकाल लेते थे.

लखनऊ: झारखंड में जामताड़ा के दुमका जिले में सरैयाहाट के सलजोर बंदरी निवासी शातिर साइबर अपराधी प्रमोद मंडल (29) और झारखंड में धनबाद के मनियाडीह महुआदाप निवासी मंटू कुमार मंडल (21) आखिरकार कोलकाता में पुलिस के हत्थे चढ़ गया. इन दोनों को सूबे की राजधानी लखनऊ के साइबर थाना पुलिस की टीम ने गिरफ्तार किया है. इनकी तलाश कई राज्यों की पुलिस कर रही थी. आरोपी करीब 5.16 करोड़ रुपये की ठगी कर चुके हैं.

साइबर क्राइम टीम की मानें तो ये आरोपी पेंशनरों को निशाना बनाते थे. ये कर्मियों को फोन कॉल कर निजी जानकारियां पूछ उनके बैंक खातों से ऑनलाइन रकम उड़ाते थे. अभी तक इस गैंग ने यूपी और राजस्थान के 12 से अधिक कर्मचारियों से ठगी की है. दुमका पुलिस भी बीते 4 माह से शातिर प्रमोद मंडल पहुंचने की कोशिश में जुटी थी. प्रमोद के पास 10 करोड़ से अधिक की संपत्ति है. कई राज्यों में साइबर ठगी को अंजाम दे चुका प्रमोद लगातार लोकेशन बदल रहा था. इन दिनों कोलकाता में रह रहा था. इसकी भनक लगते ही लखनऊ पुलिस साइबर टीम ने कोलकोता पुलिस के सहयोग से उसे धर दबोचा.

ADG साइबर क्राइम की मानें तो झारखंड में बैठे ये साइबर अपराधी कुछ महीनों से सेवानिवृत्त सरकारी कर्मचारियों को उनकी नौकरी व खाता संबंधी विवरण पूछकर पेंशन आदि अपडेट करने के नाम पर बैंक खातों से रुपयों की ठगी कर रहे थे. इस तरह के कई मामले सामने आ चुके थे. लखनऊ में पेंशन धारक महिला हेड कांस्टेबल एस्टरडीन ने 9 लाख रुपये व उपनिरीक्षक रामलखन चौधरी ने 10 लाख रुपये, हरदोई में पेंशनर रिटायर्ड उपनिरीक्षक छोटे लाल ने 11 लाख और उपनिरीक्षक उदयवीर सिंह ने 10 लाख रुपये ठगने का केस दर्ज कराया था. शुरुआती विवेचना में चारों मुकदमे में झारखंड के जामताड़ा गैंग का हाथ सामने आया. इसी जानकारी के आधार पर सर्विलांस के जरिये प्रमोद और मंटू मंडल को कोलकाता से दबोचा गया.

ADG साइबर क्राइम ने बताया कि टीम ने दोनों आरोपियों के पास से अपराध में प्रयुक्त 13 अदद मोबाइल फोन, विभिन्न बैंकों के 07 एटीएम कार्ड, 13 सिम कार्ड, 03 आधार कार्ड व 01 पैन कार्ड, 01 वोटर आईडी, 04 ब्रांडेड घड़ी, 02 ब्लूटूथ साउंड सिस्टम और 12 फ्लिप्कार्ट आदि बरामद किया है. धनबाद में चंदवा थाने में प्रमोद के खिलाफ आईटी एक्ट समेत जालसाजी समेत कई संगीन धाराओं में मुकदमा दर्ज है. यही नहीं, वाराणसी परिक्षेत्र में एक, लखनऊ परिक्षेत्र में 3 और हरदोई में 2 मुकदमे में प्रमोद वांछित था. इससे पूर्व भी लखनऊ साइबर टीम ने 3 और आरोपी गिरफ्तार किए थे. दुमका में जब भी साइबर अपराधियों की गिरफ्तारी हुई है और उनसे पूछताछ में प्रमोद मंडल का नाम सामने आता रहा है.

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साइबर क्राइम टीम की पूछताछ व बरामद उपकरणों के नंबर आदि को NCCRP (National Cyber Crime Reporting Portal) पोर्टल व साइबर सेफ पोर्टल पर सर्च किया गया तो जानकारी मिली कि पकड़े गए अभियुक्तों प्रमोद कुमार मंडल व मंटू मंडल ने धौलपुर राजस्थान के अभिषेक राजपूत, पुणे महाराष्ट्र के जयंत मणिकर से व तेलंगाना, यूपी के मिर्जापुर, औरैया आदि के लोगों से भी ऑनलाइन रुपयों की ठगी की है. साथ ही आरोपियों ने लखनऊ, वाराणसी, हरदोई में किए अपने जुर्म को भी कुबूल लिया. आरोपियों ने मितन मंडल, राहुल मंडल, विक्रम मंडल, मुकेश मंडल, सचिन मंडल के नाम कुबूले हैं. साइबर टीम इनकी तलाश कर रही है. ADG का कहना है कि आरोपियों द्वारा प्रयोग किए जा रहे बैंक खाते सीज करा दिए गए हैं. उन्होंने बताया कि आरोपी मंटू मंडल थाना चंदवा जिला धनबाद झारखंड से वांछित है. इसके खिलाफ न्यायालय ACIM लातेहार द्वारा कुर्की नोटिस जारी की गई है.

ADG साइबर क्राइम ने बताया कि आरोपी सरकारी सेवानिवृत कर्मियों के डाटा को ओपन सोर्स से ऑनलाइन प्राप्त कर उनको कॉल के माध्यम से पेंशन आदि अपडेट करने की बात बताकर उनसे उनके खातों की गोपनीय जानकारी प्राप्त कर लेते हैं. फिर उनको बैंक खातों में ऑनलाइन ट्रांजैक्शन सुविधा एक्टिवेट कर उस बैंक खाते में अपना फर्जी मोबाइल नंबर रजिस्टर्ड करा देते थे और उनका बैंक खाता हैक कर उनके खातों में मौजूद उनके जीवन भर की जमा पूंजी दूसरे खातों में ट्रान्सफर कर निकाल लेते थे.

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