लखनऊः प्रदेश में संदिग्ध कोविड मरीजों के नमूनों के परीक्षण के लिए 12 और सरकारी प्रयोगशालाओं की स्थापना की जा रही है. इन प्रयोगशालाओं में RTPCR विधि से संदिग्ध मरीजों की सैंपलों की जांच की जाएगी. यह सभी प्रयोगशालाएं अप्रैल महीने के अंत तक शुरू होने की संभावना है. स्वास्थ्य और परिवार कल्याण के अतिरिक्त मुख्य सचिव अमित मोहन प्रसाद ने बताया कि पिछड़े जिलों में 12 नई प्रयोगशालाओं के शुरू होने से मरीजों के नमूना परीक्षण में तेजी लाने में मदद मिलेगी. यह संक्रमण के प्रसार की जांच करने में विभाग की सहायता भी करेगा.
300 ट्रूनेट मशीनों का भी होगा प्रयोग
अतिरिक्त मुख्य सचिव ने बताया कि कोविड नमूना परीक्षण को बढ़ाने के लिए विभिन्न जिलों में स्थापित 300 ट्रूनेट मशीनों का उपयोग करने का निर्णय लिया है. राज्य सरकार ने जिलों में नमूना परीक्षण बढ़ाने के लिए पिछले साल ट्रूनेट मशीनों की खरीद की थी. कोविड मामलों में गिरावट के बाद, मशीनों का उपयोग अन्य बीमारियों के नमूना परीक्षण के लिए किया गया था. प्रसाद ने कहा कि मुख्य चिकित्सा अधिकारियों को कोविड परीक्षण करने के लिए ट्रूनेट मशीनों का उपयोग करने के लिए निर्देशित किया गया है.
इन जिलों में होगी प्रयोगशालाओं की स्थापना
अमेठी, औरैया, बिजनौर, कुशीनगर, देवरिया, मऊ, सिद्धार्थनगर, सोनभद्र, बुलंदशहर, कासगंज, महोबा और सीतापुर जिलों में बारह नई प्रयोगशालाएं स्थापित की जा रही हैं. अतिरिक्त मुख्य सचिव ने बताया कि 12 जिलों में स्थापित होने वाली प्रयोगशालाओं में एक चिकित्सा अधिकारी, दो गैर-चिकित्सा वैज्ञानिक, तीन प्रयोगशाला तकनीशियन, एक डाटा एंट्री ऑपरेटर और दो प्रयोगशाला सहायकों की नियुक्ति के आदेश जारी किए हैं. उन्होंने बताया कि राज्य सरकार के पास सभी जिलों के साथ-साथ मेडिकल कॉलेजों में प्रयोगशालाएं हैं. सोमवार को प्रयोगशालाओं ने 2.18 लाख नमूनों का परीक्षण किया, जिनमें से 97,000 नमूनों का परीक्षण आरटी-पीसीआर पद्धति से किया गया.
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प्रदेश में अभी 125 सरकारी प्रयोगशालाएं
स्वास्थ्य विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि प्रदेश ने पिछले साल 23 मार्च को सिर्फ 72 नमूनों का परीक्षण करके किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी (KGMU) में एक प्रयोगशाला के साथ कोविड-19 के खिलाफ अपनी लड़ाई शुरू की थी. उन्होंने कहा कि अब राज्य में सरकारी 125 और निजी 104 प्रयोगशालाएं कोविड नमूना परीक्षण के लिए हैं. अतिरिक्त मुख्य सचिव, सूचना और एमएसएमई नवनीत सहगल ने कहा कि राज्य अब 2 लाख से अधिक नमूनों का परीक्षण कर रहा है, जिनमें से एक लाख आरटी-पीसीआर परीक्षण थे.