लखनऊ : उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम के परिचालकों पर अक्सर भ्रष्टाचार के आरोप लगते रहे हैं. कई बार इन आरोपों की जांच हुई तो कंडक्टर दोषी भी साबित हुए और नौकरी से हाथ भी धो बैठे, लेकिन अब परिवहन निगम के एक कदम से भ्रष्टाचार पर लगाम लग सकती है. कंडक्टर अब भ्रष्टाचार को बढ़ावा देने के बजाय ईमानदारी से मन लगाकर काम करेंगे. इससे निगम की इनकम में इजाफा होगा और यात्रियों को सफर में सुविधा मिलेगी. अब आप जरूर जानना चाहेंगे कि आखिर ऐसा क्या हो गया जिससे परिवहन निगम के परिचालक मन लगाकर ईमानदारी से काम करने लगेंगे और परिवहन निगम की आय में भी बढ़ोतरी हो सकती है. दरअसल, इसके पीछे बड़ा कारण है संविदा परिचालकों का म्युचुअल ट्रांसफर. परिवहन निगम ने मनचाहे स्थान पर परिचालकों का तबादला करना शुरू कर दिया है. ऐसे में अब अधिकारी ही यह उम्मीद जता रहे हैं कि अपने मनचाहे स्थान पर नौकरी करने के बाद परिचालक जो मजबूरी में ऊपरी इनकम कर रहे थे जिससे विभाग को घाटा हो रहा था, अब उसमें जरूर कमी आएगी.
उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम ने प्रदेश के विभिन्न डिपो में तैनात 262 संविदा परिचालकों का पारस्परिक तबादला कर दिया. इससे परिचालकों को अपने मनचाहे स्थान पर जाने का मौका मिल गया. कई परिचालकों को उनके गृह क्षेत्र के डिपो में ट्रांसफर कर दिया गया. यूपीएसआरटीसी के अधिकारियों का कहना है कि 'इसका सीधा फायदा निगम को मिलेगा. अभी तक अपने घर से सैकड़ों किलोमीटर दूर डिपो में तैनात परिचालक को रोजी रोटी के लिए अपने परिवार से भी दूर रहना पड़ता था. अपने परिवार को समय भी नहीं दे पता था जिससे परिवार में कई बार झगड़े की नौबत बन रही थी. कंडक्टर को किराए पर कमरा लेना पड़ता था और फिर खाने का भी खर्च बढ़ता था. ऐसे में घर भेजने के लिए कंडक्टर के पास काफी कम पैसे बचते थे. लिहाजा, मजबूरी में ही कई बार कंडक्टर बिना बुक कराए बस में समान ले जाते थे, बेटिकट यात्रियों को सफर कराते थे और पैसा अपने पास रख लेते थे जिससे भ्रष्टाचार को बढ़ावा मिल रहा था. परिचालकों की समस्याओं को देखते हुए और भ्रष्टाचार पर रोक लगाने के लिए परिवहन निगम ने म्यूचुअल ट्रांसफर का प्लान बनाया और अब बड़ी संख्या में कंडक्टरों के म्युचुअल ट्रांसफर किए जा रहे हैं. इसके बाद अब यह समस्या दूर हो गई है. अधिकारी उम्मीद जता रहे हैं कि आने वाले दिनों में म्युचुअल ट्रांसफर का असर जरूर दिखेगा. जो कंडक्टर ईमानदारी से अब काम करेंगे और भ्रष्टाचार नहीं फैलाएंगे. इससे निगम की आय में बढ़ोतरी होगी.'
क्या कहते हैं यूनियन नेता : उत्तर प्रदेश रोडवेज कर्मचारी के मीडिया प्रभारी रजनीश मिश्रा का कहना है कि 'परिवहन निगम का ये कदम प्रशंसनीय है. म्युचुअल ट्रांसफर होने से अब परिचालकों को काफी राहत मिलेगी. अब वह अपना काम पूरी ईमानदारी और शिद्दत से करेंगे. इसका सीधा फायदा परिवहन निगम को मिलेगा. कंडक्टर भी अब अपने घर से दूर न रहकर परिवार के साथ रहेंगे जिससे अब तक उनका जो अतिरिक्त खर्च होता था वह अब नहीं होगा. इससे नौकरी की कमाई घर में ही खर्च होगी.'