लखनऊः विद्यार्थियों को आत्मनिर्भर बनाने के लिए लखनऊ विश्वविद्यालय ने मनोविज्ञान विभाग में इस सत्र से तीन नए कोर्स शुरू किए हैं. सक्सेसफुल करियर बिलडिंग सर्टिफिकेट कोर्स, चाइल्ड गाइडेंस एंड काउंसलिंग डिप्लोमा कोर्स और प्रोफेशनल डिप्लोमा इन क्लीनिकल साकॉलजी की शुरुआत की गई है. इन तीनों कोर्सेस में करीब 80 फीसदी से अधिक एडमिशन हुए हैं.
विश्ववविद्यालय के कुलपति प्रो. आलोक कुमार राय के अनुसार तीनों कोर्सेस पीएम मोदी की आत्मनिर्भर योजना को देखते शुरू की गई है. पहले ही वर्ष में तीनों पाठ्यक्रम में छात्रों की शानदार प्रतिक्रिया मिली है. बता दें कि छह माह का सक्सेसफुल करियर बिलडिंग सारटिफिकेट कोर्स शुरू हो रहा है, जिसको करने के बाद मात्र छह माह बाद स्टूडेंट्स प्रोफेशनल करियर काउंसलर बन सकते हैं.
कैरियर काउंसलर डिप्लोमा कोर्स
ये कोर्स इंटर के बाद किया जा सकता है और इसकी अवधि छह माह है. कोर्स करने के बाद स्टूडेंट्स एक प्रोफेसर काउंसलर के तौर पर किसी भी संस्थान में बतौर करियर काउंसलर नौकरी करने के लिए सक्षम होंगे. इस कोर्स में 30 सीटें हैं.
चाइल्ड गाइडेंस एंड काउंसलिंग डिप्लोमा कोर्स
ये एक प्रोफेशनल कोर्स है. इसे एमए या पीजी करने के बाद स्टूडेंट्स कर सकते हैं. इसकी अवधि एक साल की है. इस कोर्स को करने के बाद स्टूडेंट्स एक प्रोफेशनल चाइल्ड गांइडेंस के तौर पर कहीं भी नौकरी पा सकते हैं. इसमें बच्चों को उनके करियर के प्रति सही सलाह दी जा सकती है. इस कोर्स में 30 सीटें हैं.
प्रोफेशनल डिप्लोमा इन क्लीनिकल साकॉलजी
ये एक प्रोफेशनल कोर्स है. इसकी समयावधि एक साल की है, जिसे एमए या पीजी के बाद किया जा सकता है. इस कोर्स को करने के बाद स्टूडेंट्स किसी मेडिकल इंस्टीट्यूट में एक क्लीनिकल सायकोलॉजिस्ट की नौकरी कर सकते हैं. इसमें कई तरह की गंभीर और मानसिक बीमारियों से जूझ रहे मरीजों की मानसिक स्थिति पर अध्ययन किया जाता है. कोर्स के दौरान स्टूडेंट्स को ट्रेनिंग अध्ययन के लिए मेडिकल इंस्टीट्यूट भी भेजा जाएगा. इस कोर्स में 16 सीटें हैं.