लखनऊ: समाजवादी पार्टी के एमएलसी और राष्ट्रीय महासचिव स्वामी प्रसाद मौर्य ने कहा है कि गाली देने वाले लोग गाली देना अपना धर्म समझते हैं. ये लोग केवल वोट लेने के लिए हिंदुओं की बात करते हैं. रामचरित मानस को लेकर विवादित बयान देने और फिर भाजपा के आरोपों का पलटवार करते हुए गुरुवार को स्वामी प्रसाद मौर्य ने मीडिया से बातचीत में कहा कि गाली देने वाले गाली देने में अपना धर्म और साहस समझते हैं. ये लोग सिर्फ वोट लेने के लिए हिंदुओ की बात करते हैं. अपमानित होने वाले से उनकी पीड़ा पूछिए जैसे गांधी की को ट्रेन में अपमानित किया गया था वो सिर्फ वो ही जानते हैं.
स्वामी प्रसाद मौर्य ने कहा कि आज हमने किसी भी आराध्य धग्रंथ के खिलाफ बात नहीं की. हमने रामचरितमानस की चौपाइयों के कुछ अंश, जिसमें महिलाओं और शुद्र समाज को अपमानित करता है. इसलिए मैंने कहा था कि इसको बैन किया जाए. उन्होंने कहा कि लोग इसको अपने धर्म से जोड़ लेते है. अगर मैं न्याय दिलाने की बात करता हूं तो कुछ मुट्ठी भर लोग परेशान क्यों हैं. कहा कि मैं 97 फीसदी लोगों को न्याय दिलाने की बात कर रहा हूं. ये कैसा धर्म है, जो अपने ही धर्म के लोगों को अपमानित करता है. मैं यहीं जानना चाहता हूं. इस पर चिंतन करने मनन करने की जगह सब चिल्ली बघार रहे है. लोग अलग-अलग बात कर के मुद्दे से हटाना चाहते हैं.
स्वामी प्रसाद मौर्य ने कहा कि पिछड़ी जातियों को अगर हिंदू मानते है तो सम्मान क्यों नहीं करते हैं. कहा कि धर्म की आड़ में इनको अपमानित करते हो. लगातार मिल रही धमकी को लेकर उन्होंने कहा कि जितनी भी धमकी आ रही हैं तो मैं उनसे डरने वाला नहीं हूं, अपनी बात कहता रहूंगा. वहीं, उन्होंने आज ट्वीट करके कहा कि "इंडियंस आर डाग" कहकर अंग्रेजों ने जो अपमान व बदसलूकी ट्रेन में गांधी जी से किया था, वह दर्द गांधी जी ने ही समझा था. उसी प्रकार धर्म की आड़ में जो अपमानजनक टिप्पणियां महिलाओं और शुद्र समाज को की जाती हैं. उसका दर्द भी महिलायें और शुद्र समाज ही समझता है.
यह भी पढ़ें- CM Yogi Adityanath ने कहा, वंचित, शोषित समाज को आगे बढ़ाने का काम करेगा बजट