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पिछड़े 100 ब्लॉकों के विकास का रोडमैप तैयार, शासन से होगी सीधी निगरानी

उत्तर प्रदेश में आकांक्षात्मक विकास खंडों के विकास का रोडमैप तैयार हो गया है. इन विकास खंडों को निगरानी सीधे सीएम ऑफिस से की जाएगी. साथ ही मुख्यमंत्री फेलोशिप कार्यक्रम के लिए भी आवेदन शुरू होने वाले हैं.

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उत्तर प्रदेश सरकार
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Published : Aug 3, 2022, 7:49 PM IST

Updated : Aug 3, 2022, 8:20 PM IST

लखनऊः विकास की दौड़ में पिछड़े 100 आकांक्षात्मक विकास खंडों के चयन के बाद अब उनकी बेहतरी के लिए रोडमैप तैयार कर लिया गया है. सीएम योगी आदित्यनाथ की प्राथमिकता के अनुरूप चिकित्सा, पोषण, शिक्षा, कृषि, वित्तीय समावेशन, कौशल विकास और आधारभूत संरचना विकास से जुड़े कुल 14 विभागों के 75 इंडिकेर तय किए गए हैं, जिनमें बेहतरी के लिए कोशिश होगी.

खास बात यह कि सभी 100 विकासखंडों पर शासन की सीधी नजर होगी. यहां की प्रगति रिपोर्ट की समीक्षा भी मुख्यमंत्री करेंगे. तय कार्ययोजना के मुताबिक इन विकास खंडों की प्रगति का सबसे बड़ा मानक यहां के चिकित्सा, पोषण और शिक्षा सेक्टर की बेहतरी होगी. सीएम योगी का इस सेक्टर पर खास फोकस है.

विकास खंड के रिपोर्ट कार्ड में 60% अंक इसी आधार पर मिलेंगे. इसी तरह, कृषि एवं जल संसाधन सेक्टर में कृषि, पशुधन, उद्यान, और ग्राम्य विकास विभागों को रखा गया है. इनके प्रयासों के लिए 20% अंक होंगे. जबकि, वित्तीय समावेशन सेक्टर में संस्थागत वित्त, कौशल विकास और व्यावसायिक शिक्षा के 16 इंडिकेटरों के आधार पर और 10% अंक और ऊर्जा, नमामि गंगे, ग्रामीण जलापूर्ति, आईटी एवं इलेक्ट्रॉनिक्स व पंचायती राज विभाग की कोशिशों से यहां आधारभूत संरचना विकास की कोशिश होगी, जिसके लिए 10% अंक रखे गए हैं.

पढ़ेंः UP के इन तीन जिलों में खुलेंगे महिला शेल्टर होम, सरकार करेगी प्रशिक्षित

कार्ययोजना के अनुसार, प्रदेश के 34 जनपदों में चयनित सभी 100 आकांक्षात्मक विकासखंडों में 31 मार्च 2022 की स्थिति को बेसलाइन मानकर बेहतरी के लिए प्रयास किए जाएंगे. ताजा स्थिति के आकांक्षात्मक विकास खंडों में सबसे बेहतर स्थिति वाले टॉप-5 आकांक्षात्मक विकास खंडों में जालौन और रामपुरा (जालौन), राजगढ़ और मड़िहान (मिर्जापुर) और हरैया (बस्ती) विकास खंड शामिल हैं.

आकांक्षात्मक विकास खंडों में खाली नहीं रहेंगे महत्वपूर्ण पद
आकांक्षात्मक जिलों के तर्ज पर विकास खंडों की तरक्की की योजना शुरू करने से पहले ही सीएम योगी ने यहां पर तैनात होने वाले अधिकारियों की 'दक्षता' पर खास ध्यान देने का निर्देश दिया था. अब जबकि कार्यक्रम शुरू हो चुका है, ऐसे में सीएम ने इन ब्लॉक में बीडीओ, सीडीपीओ, एडीओ (पंचायत), खंड शिक्षा अधिकारी, पशु चिकित्सा अधिकारी, एएनएम, चिकित्सा अधिकारी, लेखपाल, ग्राम विकास अधिकारी, ग्राम पंचायत अधिकारी, प्राविधिक सहायक (कृषि) जैसे महत्वपूर्ण पदों पर तैनाती का विवरण मांगा.

वर्तमान में यहां बीडीओ और खंड शिक्षा अधिकारी के सभी पदों पर तैनाती है, जबकि एडीओ पंचायत के 3, पशु चिकित्सा अधिकारी के 16 और सीडीपीओ के 21 पद रिक्त हैं. सीएम ने इन पदों सहित अन्य सभी महत्वपूर्ण पदों पर तत्काल योग्य और ऊर्जावान अधिकारियों की तैनाती के निर्देश दिए हैं.

पढ़ेंः एलडीए की मोहान रोड योजना में 8 हजार गरीबों को मिलेगा फ्लैट, सितंबर में शुरू होगा निर्माण

सीएम फेलोशिप के लिए जल्द शुरू होगा आवेदन
वहीं, प्रदेश के युवाओं को सरकार के साथ नीति, प्रबंधन, क्रियान्वयन, अनुश्रवण के कार्यों में सहभागिता का विशिष्ट अवसर प्रदान करने के उद्देश्य से शुरू की गई 'मुख्यमंत्री फेलोशिप कार्यक्रम' के लिए आवेदन की प्रक्रिया स्वतंत्रता दिवस के बाद शुरू करने की तैयारी है. चयनित युवाओं द्वारा 100 आकांक्षात्मक विकास खंड में केन्द्र/राज्य सरकार द्वारा संचालित समस्त योजनाओं का समवर्ती मूल्यांकन कार्य किया जाएगा.

शोधार्थियों द्वारा योजनाओं के संचालन में आ रही चुनौतियों के निराकरण तथा योजनाओं से जनमानस को अपेक्षित लाभ पहुंचाने के लिए सुझाव भी लिए जायेंगे. साथ ही शोधार्थियों द्वारा योजना से संबंधित नीति निर्धारण योजना संरचना एवं योजना के कार्यान्वयन से संबंधित कार्यों में प्रतिभाग किया जायेगा. सीएम फेलोशिप के लिए तय मानकों में कृषि, ग्रामीण विकास, पंचायतीराज एवं संबद्ध क्षेत्र वन, पर्यावरण एवं जलवायु-शिक्षा, स्वास्थ्य, स्वच्छता, पोषण एवं कौशल विकास ऊर्जा एवं नवीकरणीय ऊर्जा- पर्यटन एवं संस्कृति डाटा साइंस, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, आइटी, आइटीईएस, जैव प्रौद्योगिकी, मशीन लर्निंग डाटा गवर्नेंस बैंकिंग, वित्त एवं राजस्व-लोक नीति एवं गवर्नेंस सेक्टर के युवा आवेदन सकेंगे.

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लखनऊः विकास की दौड़ में पिछड़े 100 आकांक्षात्मक विकास खंडों के चयन के बाद अब उनकी बेहतरी के लिए रोडमैप तैयार कर लिया गया है. सीएम योगी आदित्यनाथ की प्राथमिकता के अनुरूप चिकित्सा, पोषण, शिक्षा, कृषि, वित्तीय समावेशन, कौशल विकास और आधारभूत संरचना विकास से जुड़े कुल 14 विभागों के 75 इंडिकेर तय किए गए हैं, जिनमें बेहतरी के लिए कोशिश होगी.

खास बात यह कि सभी 100 विकासखंडों पर शासन की सीधी नजर होगी. यहां की प्रगति रिपोर्ट की समीक्षा भी मुख्यमंत्री करेंगे. तय कार्ययोजना के मुताबिक इन विकास खंडों की प्रगति का सबसे बड़ा मानक यहां के चिकित्सा, पोषण और शिक्षा सेक्टर की बेहतरी होगी. सीएम योगी का इस सेक्टर पर खास फोकस है.

विकास खंड के रिपोर्ट कार्ड में 60% अंक इसी आधार पर मिलेंगे. इसी तरह, कृषि एवं जल संसाधन सेक्टर में कृषि, पशुधन, उद्यान, और ग्राम्य विकास विभागों को रखा गया है. इनके प्रयासों के लिए 20% अंक होंगे. जबकि, वित्तीय समावेशन सेक्टर में संस्थागत वित्त, कौशल विकास और व्यावसायिक शिक्षा के 16 इंडिकेटरों के आधार पर और 10% अंक और ऊर्जा, नमामि गंगे, ग्रामीण जलापूर्ति, आईटी एवं इलेक्ट्रॉनिक्स व पंचायती राज विभाग की कोशिशों से यहां आधारभूत संरचना विकास की कोशिश होगी, जिसके लिए 10% अंक रखे गए हैं.

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कार्ययोजना के अनुसार, प्रदेश के 34 जनपदों में चयनित सभी 100 आकांक्षात्मक विकासखंडों में 31 मार्च 2022 की स्थिति को बेसलाइन मानकर बेहतरी के लिए प्रयास किए जाएंगे. ताजा स्थिति के आकांक्षात्मक विकास खंडों में सबसे बेहतर स्थिति वाले टॉप-5 आकांक्षात्मक विकास खंडों में जालौन और रामपुरा (जालौन), राजगढ़ और मड़िहान (मिर्जापुर) और हरैया (बस्ती) विकास खंड शामिल हैं.

आकांक्षात्मक विकास खंडों में खाली नहीं रहेंगे महत्वपूर्ण पद
आकांक्षात्मक जिलों के तर्ज पर विकास खंडों की तरक्की की योजना शुरू करने से पहले ही सीएम योगी ने यहां पर तैनात होने वाले अधिकारियों की 'दक्षता' पर खास ध्यान देने का निर्देश दिया था. अब जबकि कार्यक्रम शुरू हो चुका है, ऐसे में सीएम ने इन ब्लॉक में बीडीओ, सीडीपीओ, एडीओ (पंचायत), खंड शिक्षा अधिकारी, पशु चिकित्सा अधिकारी, एएनएम, चिकित्सा अधिकारी, लेखपाल, ग्राम विकास अधिकारी, ग्राम पंचायत अधिकारी, प्राविधिक सहायक (कृषि) जैसे महत्वपूर्ण पदों पर तैनाती का विवरण मांगा.

वर्तमान में यहां बीडीओ और खंड शिक्षा अधिकारी के सभी पदों पर तैनाती है, जबकि एडीओ पंचायत के 3, पशु चिकित्सा अधिकारी के 16 और सीडीपीओ के 21 पद रिक्त हैं. सीएम ने इन पदों सहित अन्य सभी महत्वपूर्ण पदों पर तत्काल योग्य और ऊर्जावान अधिकारियों की तैनाती के निर्देश दिए हैं.

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सीएम फेलोशिप के लिए जल्द शुरू होगा आवेदन
वहीं, प्रदेश के युवाओं को सरकार के साथ नीति, प्रबंधन, क्रियान्वयन, अनुश्रवण के कार्यों में सहभागिता का विशिष्ट अवसर प्रदान करने के उद्देश्य से शुरू की गई 'मुख्यमंत्री फेलोशिप कार्यक्रम' के लिए आवेदन की प्रक्रिया स्वतंत्रता दिवस के बाद शुरू करने की तैयारी है. चयनित युवाओं द्वारा 100 आकांक्षात्मक विकास खंड में केन्द्र/राज्य सरकार द्वारा संचालित समस्त योजनाओं का समवर्ती मूल्यांकन कार्य किया जाएगा.

शोधार्थियों द्वारा योजनाओं के संचालन में आ रही चुनौतियों के निराकरण तथा योजनाओं से जनमानस को अपेक्षित लाभ पहुंचाने के लिए सुझाव भी लिए जायेंगे. साथ ही शोधार्थियों द्वारा योजना से संबंधित नीति निर्धारण योजना संरचना एवं योजना के कार्यान्वयन से संबंधित कार्यों में प्रतिभाग किया जायेगा. सीएम फेलोशिप के लिए तय मानकों में कृषि, ग्रामीण विकास, पंचायतीराज एवं संबद्ध क्षेत्र वन, पर्यावरण एवं जलवायु-शिक्षा, स्वास्थ्य, स्वच्छता, पोषण एवं कौशल विकास ऊर्जा एवं नवीकरणीय ऊर्जा- पर्यटन एवं संस्कृति डाटा साइंस, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, आइटी, आइटीईएस, जैव प्रौद्योगिकी, मशीन लर्निंग डाटा गवर्नेंस बैंकिंग, वित्त एवं राजस्व-लोक नीति एवं गवर्नेंस सेक्टर के युवा आवेदन सकेंगे.

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Last Updated : Aug 3, 2022, 8:20 PM IST
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