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Railway News : आरक्षित रेल टिकट में करा सकेंगे नाम परिवर्तन, जानिए क्या है नियम

रेलवे प्रशासन ने आरक्षित टिकट पर नाम परिवर्तन की प्रक्रिया आसान कर दी है. इसके चलते यात्रियों को नाम परिवर्तन के लिए डिवीजन के चक्कर लगाने नहीं पड़ेंगे. इस बाबत सीनियर डीसीएम रेखा शर्मा ने जानकारी साझा की है.

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Published : May 15, 2023, 8:43 PM IST

लखनऊ : रेलवे प्रशासन ने आरक्षित टिकट पर नाम परिवर्तन की प्रक्रिया को अब और आसान कर दिया है. अब जिन स्थानों पर राजपत्रित अधिकारी नहीं हैं, वहां पर मुख्य आरक्षण पर्यवेक्षक (सीआरएस) और आरक्षण पर्यवेक्षक प्रभारी (आरएस) भी नाम परिवर्तन करा सकते हैं. टेलीफोन से किसी राजपत्रित अधिकारी को इन अधिकारियों को अनुमोदन भेजना होगा. रेलवे में अभी तक यह सुविधा नहीं थी जिसके चलते यात्रियों को नाम परिवर्तन के लिए डिवीजन के चक्कर लगाने होते थे.

Railway News : आरक्षित रेल टिकट में करा सकेंगे नाम परिवर्तन.
Railway News : आरक्षित रेल टिकट में करा सकेंगे नाम परिवर्तन.
उत्तर रेलवे लखनऊ मंडल की वरिष्ठ वाणिज्य मंडल रेल प्रबंधक (सीनियर डीसीएम) रेखा शर्मा ने बताया कि उदाहरण के लिए बाराबंकी, सुलतानपुर जैसे जिलों के यात्रियों को नाम परिवर्तन के लिए लखनऊ आना पड़ता था, लेकिन अब वे अपने जिले से ही नाम परिवर्तन की प्रक्रिया पूरी कर सकते हैं. उन्होंने बताया कि यात्रियों की सुविधा को देखते हुए यह फैसला लिया गया है. रेलवे बोर्ड के नियमों के अनुसार नाम परिवर्तन की अनुमति केवल एक राजपत्रित अधिकारी की तरफ से ही दी जा सकती है. डिवीजनों (मंडल स्तर) पर ऐसी अनुमति सीनियर डीसीएम, डीसीएम और एसीएम प्रदान करते हैं. इसके अलावा जहां पर एरिया मैनेजर तैनात हैं, वहां पर आरएम, एआरएम के साथ-साथ एसएम (स्टेशन मैनेजर) भी इसकी अनुमति दे सकते हैं.


न हो दुरुपयोग इसकी भी व्यवस्था

-राजपत्रित अधिकारी की तरफ से नाम परिवर्तन के लिए आवश्यक पहचान प्रमाण के आधार पर परिवर्तन किया जा सकता है. जिसमें ड्राइविंग लाइसेंस, मतदाता पहचान पत्र, राशन कार्ड, -पैन कार्ड, आधार कार्ड, पासपोर्ट, सरकार की तरफ से जारी फोटो पहचान पत्र, फोटो के साथ बैंक पासबुक या नोटरी से हलफनामा देना होगा. इसमें परिवार के सदस्य के साथ संबंध दर्शाना होगा.
-परिवर्तन की अनुमतियों का एक रजिस्टर तैयार होगा, जिसमें पूरा विवरण होगा.
-मुख्यालय के साथ-साथ मंडलों के वाणिज्यिक अधिकारी आरक्षण कार्यालयों के निरीक्षण के दौरान इन रजिस्टरों की जांच करेंगे. इसकी मासिक रिपोर्ट तैयार की जाएगी. अनियमितता पर कार्रवाई होगी.
-नाम बदलने की सुविधा आरक्षित पीआरएस टिकट, ई-टिकट और आई-टिकट पर लागू है, इसमें आरएसी व वेटिंग वाले टिकट भी शामिल हैं.
-तत्काल टिकट पर नाम परिवर्तन नहीं कराया जा सकेगा.
-अगर मूल टिकट, रियायती टिकट है तो नाम परिवर्तन की सुविधा की अनुमति नहीं होगी.

यह भी पढ़ें : IPL 2023 : लखनऊ और मुंबई के मुकाबले को लेकर सूर्यकुमार पर टिकी दोनों टीमों की रणनीति

लखनऊ : रेलवे प्रशासन ने आरक्षित टिकट पर नाम परिवर्तन की प्रक्रिया को अब और आसान कर दिया है. अब जिन स्थानों पर राजपत्रित अधिकारी नहीं हैं, वहां पर मुख्य आरक्षण पर्यवेक्षक (सीआरएस) और आरक्षण पर्यवेक्षक प्रभारी (आरएस) भी नाम परिवर्तन करा सकते हैं. टेलीफोन से किसी राजपत्रित अधिकारी को इन अधिकारियों को अनुमोदन भेजना होगा. रेलवे में अभी तक यह सुविधा नहीं थी जिसके चलते यात्रियों को नाम परिवर्तन के लिए डिवीजन के चक्कर लगाने होते थे.

Railway News : आरक्षित रेल टिकट में करा सकेंगे नाम परिवर्तन.
Railway News : आरक्षित रेल टिकट में करा सकेंगे नाम परिवर्तन.
उत्तर रेलवे लखनऊ मंडल की वरिष्ठ वाणिज्य मंडल रेल प्रबंधक (सीनियर डीसीएम) रेखा शर्मा ने बताया कि उदाहरण के लिए बाराबंकी, सुलतानपुर जैसे जिलों के यात्रियों को नाम परिवर्तन के लिए लखनऊ आना पड़ता था, लेकिन अब वे अपने जिले से ही नाम परिवर्तन की प्रक्रिया पूरी कर सकते हैं. उन्होंने बताया कि यात्रियों की सुविधा को देखते हुए यह फैसला लिया गया है. रेलवे बोर्ड के नियमों के अनुसार नाम परिवर्तन की अनुमति केवल एक राजपत्रित अधिकारी की तरफ से ही दी जा सकती है. डिवीजनों (मंडल स्तर) पर ऐसी अनुमति सीनियर डीसीएम, डीसीएम और एसीएम प्रदान करते हैं. इसके अलावा जहां पर एरिया मैनेजर तैनात हैं, वहां पर आरएम, एआरएम के साथ-साथ एसएम (स्टेशन मैनेजर) भी इसकी अनुमति दे सकते हैं.


न हो दुरुपयोग इसकी भी व्यवस्था

-राजपत्रित अधिकारी की तरफ से नाम परिवर्तन के लिए आवश्यक पहचान प्रमाण के आधार पर परिवर्तन किया जा सकता है. जिसमें ड्राइविंग लाइसेंस, मतदाता पहचान पत्र, राशन कार्ड, -पैन कार्ड, आधार कार्ड, पासपोर्ट, सरकार की तरफ से जारी फोटो पहचान पत्र, फोटो के साथ बैंक पासबुक या नोटरी से हलफनामा देना होगा. इसमें परिवार के सदस्य के साथ संबंध दर्शाना होगा.
-परिवर्तन की अनुमतियों का एक रजिस्टर तैयार होगा, जिसमें पूरा विवरण होगा.
-मुख्यालय के साथ-साथ मंडलों के वाणिज्यिक अधिकारी आरक्षण कार्यालयों के निरीक्षण के दौरान इन रजिस्टरों की जांच करेंगे. इसकी मासिक रिपोर्ट तैयार की जाएगी. अनियमितता पर कार्रवाई होगी.
-नाम बदलने की सुविधा आरक्षित पीआरएस टिकट, ई-टिकट और आई-टिकट पर लागू है, इसमें आरएसी व वेटिंग वाले टिकट भी शामिल हैं.
-तत्काल टिकट पर नाम परिवर्तन नहीं कराया जा सकेगा.
-अगर मूल टिकट, रियायती टिकट है तो नाम परिवर्तन की सुविधा की अनुमति नहीं होगी.

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