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नई फिल्म रॉकेट्री को लेकर R Madhavan ने बताईं ये रोचक बातें, शाहरुख खान का किस्सा भी सुनाया

लखनऊ में नई फिल्म रॉकेट्री का प्रमोशन करने पहुंचे फिल्म अभिनेता आर माधवन ने फिल्म से जुड़ीं कई रोचक बातें साझा की. साथ ही उन्होंने फिल्म निर्माण के दौरान शाहरुख खान से जुड़ा एक किस्सा भी बताया. चलिए जानते हैं इस बारे में.

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नई फिल्म रॉकेट्री को लेकर R Madhavan ने बताईं ये रोचक बातें, शाहरुख खान का किस्सा भी सुनाया
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Published : Jun 25, 2022, 5:06 PM IST

लखनऊः रहना है तेरे दिल में, थ्री इडियट्स, तनु वेड्स मनु जैसी हिंदी फिल्मों से दर्शकों के दिल में खास जगह बनाने वाले फिल्म स्टार आर माधवन (R Madhavan) अब नई फिल्म रॉकेट्री (Rocketry) लेकर आ रहे हैं. यह फिल्म एयरोस्पेस वैज्ञानिकों को हीरो के रूप में सामने लाएगी. उनके मुताबिक यह फिल्म मशहूर वैज्ञानिक नंबी नारायण पर केंद्रित है.

उन्होंने फिल्म के प्रमोशन के मौके पर बताया कि इस फिल्म को बनाने में उन्हें काफी मशक्कत करनी पड़ी. कहा कि हमारे यहां दो तरह के देशभक्त होते हैं एक जो देश की रक्षा के लिए अपने सीने पर गोली खाते हैं. देशभर में गर्व से उनका नाम लिया जाता है लेकिन दूसरे ऐसे भी देशभक्त होते हैं जो काम तो देश को गौरवान्वित करने वाला करते हैं, लेकिन उनका नाम सामने नहीं आता है.

सेना के जवानों के अलावा पर्दे के पीछे भी देशभक्ति का जज्बा लेकर काम करने वाले वैज्ञानिकों की क्या अहमियत होती है यह फिल्म उन्हीं वैज्ञानिकों में से एक खास वैज्ञानिक नंबी नारायणन पर केंद्रित है. उन्होंने एक ऐसा रॉकेट इंजन बनाया था जिससे अब तक तमाम सेटेलाइट लांच किए जा चुके हैं. ये ऐसा लिक्विड इंजन है जिससे पहली बार में ही भारत मंगल ग्रह पर जा खड़ा हुआ जबकि अन्य देशों को कई-कई बार अपने रॉकेट इंजन बनाने पड़े तब जाकर वे सफल हुए.

अभिनेता आर माधवन ने दी यह जानकारी.

एक्टर व डायरेक्टर आर माधवन ने कहा कि जब हमारे देश के वैज्ञानिकों को पूरी दुनिया सराहती है तो मुझे लगता है कि अपने देश के वैज्ञानिकों को आगे लाना चाहिए और इसीलिए मैंने इस फिल्म का निर्माण किया है. उन्होंने कहा कि फिल्म में नंबी नारायण जबर्दस्त कैरेक्टर हैं. फिल्म को बनाने में बहुत ज्यादा चैलेंज आए. मेरे लिए यह काम बेहद कठिन था.


'ईटीवी भारत' ने जब उनसे सवाल पूछा कि साइंटिस्ट नंबी नारायण के अलावा और कौन सी ऐसी शख्सियत हैं जिन पर वह भविष्य में फिल्म बनाना चाहते हैं? इस पर वह बोले कि, मैं इतना थक चुका हूं कि मेरी बीवी ने कहा है कि अगर आप डायरेक्शन करना चाहते हो तो घर में मत घुसना. आज मैं नंबी नारायण की फिल्म खत्म कर लूंगा, इसे रिलीज कर लूंगा और उम्मीद करूंगा कि यह हिट हो जाए. फिर मैं दो-तीन महीने तक सोऊंगा. उसके बाद तय करूंगा कि आगे करना क्या है. सच बताऊं तो इस रोल को मेरे अलावा और कोई नहीं कर सकता था. इसके लिए टेक्निकल नॉलेज की जरूरत होती है, मैं उस बैकग्राउंड से हूं, इस वजह से मैं यह रोल कर ले गया.

शाहरुख खान ऐसे बने फिल्म का हिस्सा
उन्होंने बताया कि शाहरुख खान को मैंने इस कहानी के बारे में बताया था. मुझे ऐसा लगा था कि वह सुन भी नहीं रहे हैं लेकिन उन्होंने कहा कि मैडी हम कुछ अलग करते हैं. उनके जन्मदिन पर जब मैं उनसे मिला तो उन्होंने कहा मैडी जो वो तुम्हारी रॉकेट वाली फिल्म है उसका मैं हिस्सा बनना चाहता हूं, मैं मुस्कराया तो शाहरुख ने कहा कि, नहीं मैं मजाक नहीं कर रहा. मैं वाकई उसका हिस्सा बनना चाहता हूं. मैंने कहा ठीक है सर और फिर मैं उनसे गले मिला और चला गया. मेरी पत्नी ने कहा कि उनको थैंक्यू कर दो, कम से कम उन्हें याद तो था तुम्हारा प्रोजेक्ट. मैंने मैसेज भेजा तो फौरन उनके सेक्रेट्री का फोन आया कि अरे वह पूछ रहे हैं कि आपको डेट कब चाहिए. इस रोल के लिए शाहरुख ने मुझसे एक पैसा नहीं लिया और हिंदी में ही नहीं इंग्लिश में भी उन्होंने डायलॉग बोले. ठीक यही मेरे साउथ के एक्टर मित्र सूर्या ने भी किया है.


ऐसे लिखी स्क्रिप्ट
अभिनेता आर माधवन ने कहा कि मुझे पहली बार ये स्क्रिप्ट लिखने में सात महीने लगे और फिर उसको चेंज करके लिखने में डेढ़ साल लगे. मुझे बहुत रिसर्च करनी पड़ी. मैं उम्मीद करूंगा मेरी रिसर्च खरी निकले. 2016 के अंत में मैंने यह सफर शुरू किया था और आज 2022 है. बीच में दो साल कोविड ने प्रभावित किए. इस फिल्म को बनाने में लगभग छह साल लगे हैं.

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लखनऊः रहना है तेरे दिल में, थ्री इडियट्स, तनु वेड्स मनु जैसी हिंदी फिल्मों से दर्शकों के दिल में खास जगह बनाने वाले फिल्म स्टार आर माधवन (R Madhavan) अब नई फिल्म रॉकेट्री (Rocketry) लेकर आ रहे हैं. यह फिल्म एयरोस्पेस वैज्ञानिकों को हीरो के रूप में सामने लाएगी. उनके मुताबिक यह फिल्म मशहूर वैज्ञानिक नंबी नारायण पर केंद्रित है.

उन्होंने फिल्म के प्रमोशन के मौके पर बताया कि इस फिल्म को बनाने में उन्हें काफी मशक्कत करनी पड़ी. कहा कि हमारे यहां दो तरह के देशभक्त होते हैं एक जो देश की रक्षा के लिए अपने सीने पर गोली खाते हैं. देशभर में गर्व से उनका नाम लिया जाता है लेकिन दूसरे ऐसे भी देशभक्त होते हैं जो काम तो देश को गौरवान्वित करने वाला करते हैं, लेकिन उनका नाम सामने नहीं आता है.

सेना के जवानों के अलावा पर्दे के पीछे भी देशभक्ति का जज्बा लेकर काम करने वाले वैज्ञानिकों की क्या अहमियत होती है यह फिल्म उन्हीं वैज्ञानिकों में से एक खास वैज्ञानिक नंबी नारायणन पर केंद्रित है. उन्होंने एक ऐसा रॉकेट इंजन बनाया था जिससे अब तक तमाम सेटेलाइट लांच किए जा चुके हैं. ये ऐसा लिक्विड इंजन है जिससे पहली बार में ही भारत मंगल ग्रह पर जा खड़ा हुआ जबकि अन्य देशों को कई-कई बार अपने रॉकेट इंजन बनाने पड़े तब जाकर वे सफल हुए.

अभिनेता आर माधवन ने दी यह जानकारी.

एक्टर व डायरेक्टर आर माधवन ने कहा कि जब हमारे देश के वैज्ञानिकों को पूरी दुनिया सराहती है तो मुझे लगता है कि अपने देश के वैज्ञानिकों को आगे लाना चाहिए और इसीलिए मैंने इस फिल्म का निर्माण किया है. उन्होंने कहा कि फिल्म में नंबी नारायण जबर्दस्त कैरेक्टर हैं. फिल्म को बनाने में बहुत ज्यादा चैलेंज आए. मेरे लिए यह काम बेहद कठिन था.


'ईटीवी भारत' ने जब उनसे सवाल पूछा कि साइंटिस्ट नंबी नारायण के अलावा और कौन सी ऐसी शख्सियत हैं जिन पर वह भविष्य में फिल्म बनाना चाहते हैं? इस पर वह बोले कि, मैं इतना थक चुका हूं कि मेरी बीवी ने कहा है कि अगर आप डायरेक्शन करना चाहते हो तो घर में मत घुसना. आज मैं नंबी नारायण की फिल्म खत्म कर लूंगा, इसे रिलीज कर लूंगा और उम्मीद करूंगा कि यह हिट हो जाए. फिर मैं दो-तीन महीने तक सोऊंगा. उसके बाद तय करूंगा कि आगे करना क्या है. सच बताऊं तो इस रोल को मेरे अलावा और कोई नहीं कर सकता था. इसके लिए टेक्निकल नॉलेज की जरूरत होती है, मैं उस बैकग्राउंड से हूं, इस वजह से मैं यह रोल कर ले गया.

शाहरुख खान ऐसे बने फिल्म का हिस्सा
उन्होंने बताया कि शाहरुख खान को मैंने इस कहानी के बारे में बताया था. मुझे ऐसा लगा था कि वह सुन भी नहीं रहे हैं लेकिन उन्होंने कहा कि मैडी हम कुछ अलग करते हैं. उनके जन्मदिन पर जब मैं उनसे मिला तो उन्होंने कहा मैडी जो वो तुम्हारी रॉकेट वाली फिल्म है उसका मैं हिस्सा बनना चाहता हूं, मैं मुस्कराया तो शाहरुख ने कहा कि, नहीं मैं मजाक नहीं कर रहा. मैं वाकई उसका हिस्सा बनना चाहता हूं. मैंने कहा ठीक है सर और फिर मैं उनसे गले मिला और चला गया. मेरी पत्नी ने कहा कि उनको थैंक्यू कर दो, कम से कम उन्हें याद तो था तुम्हारा प्रोजेक्ट. मैंने मैसेज भेजा तो फौरन उनके सेक्रेट्री का फोन आया कि अरे वह पूछ रहे हैं कि आपको डेट कब चाहिए. इस रोल के लिए शाहरुख ने मुझसे एक पैसा नहीं लिया और हिंदी में ही नहीं इंग्लिश में भी उन्होंने डायलॉग बोले. ठीक यही मेरे साउथ के एक्टर मित्र सूर्या ने भी किया है.


ऐसे लिखी स्क्रिप्ट
अभिनेता आर माधवन ने कहा कि मुझे पहली बार ये स्क्रिप्ट लिखने में सात महीने लगे और फिर उसको चेंज करके लिखने में डेढ़ साल लगे. मुझे बहुत रिसर्च करनी पड़ी. मैं उम्मीद करूंगा मेरी रिसर्च खरी निकले. 2016 के अंत में मैंने यह सफर शुरू किया था और आज 2022 है. बीच में दो साल कोविड ने प्रभावित किए. इस फिल्म को बनाने में लगभग छह साल लगे हैं.

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