चमोली: माउंट त्रिशूल फतह करने के दौरान एवलॉन्च आने से नौसेना का पर्वतारोही दल उसकी चपेट में आ गया. जिसमें 10 पर्वतारोही लापता हो गए. नेहरू पर्वतरोहण संस्थान से रेस्क्यू टीम प्रधानाचार्य कर्नल अमित बिष्ट के नेतृत्व में चमोली जनपद से त्रिशूल चोटी के लिए रवाना हो गयी है. बताया जा रहा है की यह दल चमोली के घाट क्षेत्र से रवाना हुआ था. फिलहाल अपडेट है कि 5 पर्वतारोही सुरक्षित हैं. 5 की तलाश जारी है.
दो हफ्ते पहले निकला था दल: घाट क्षेत्र से दो हफ्ते पहले नौसेना के पर्वतारोहियों का ये दल माउंट त्रिशूल को फतह करने निकला था. निम (नेहरू पर्वतारोहण संस्थान) के प्रधानाचार्य कर्नल अमित बिष्ट ने बताया यह घटना शुक्रवार सुबह पांच बजे के करीब हुई है. नौसेना के 10 पर्वतारोही हिमस्खलन की चपेट में गए.
आज सुबह दल अभियान पर आगे बढ़ा था: नौसेना का दल करीब 15 दिन पहले 7,120 मीटर ऊंची त्रिशूल चोटी को फतह करने के लिए निकला था. शुक्रवार सुबह दल चोटी पर चढ़ने के लिए आगे बढ़ा. इसी दौरान एवलॉन्च आया. एवलॉन्च की चपेट में नौसेना के पर्वतारोही आए हैं. उत्तरकाशी से हेलीकॉप्टर के जरिये निम की सर्च एंड रेस्क्यू टीम लापता पर्वतारोहियों की खोज के लिए रवाना हो गई है.
भारतीय नौसेना पर्वतारोहण अभियान माउंट त्रिशूल, उत्तराखंड आज शिखर के पास हिमस्खलन में फंस गया. भारतीय सेना, एयर फोर्स और राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल की ग्राउंड टीम और हेलीकॉप्टरों द्वारा लापता पर्वतारोही की खोज और बचाव का हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं.
बता दें कि 20 सदस्यीय अभियान को 3 सितंबर 2021 को मुंबई से हरी झंडी दिखाकर रवाना किया गया था. दस पर्वतारोहियों ने आज सुबह शिखर पर चढ़ना शुरू किया था, लेकिन शिखर से पहले हिमस्खलन में फंस गए थे. जबकि 10 में से 5 सुरक्षित हैं, 5 पर्वतारोही को खोजने और बचाने का प्रयास जारी है.