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पति ने पत्नी पर डाला तेजाब, मदद के लिए सीएम आवास के चक्कर काट रहे परिजन - agra news

आगरा में एक पति ने अपनी ही पत्नी पर तेजाब डाल दिया, जिससे उसकी आंखें चली गईं. वहीं पीड़िता के परिजन मदद के लिए सीएम आवास के चक्कर लगा रहे हैं, लेकिन उन्हें न तो सीएम से मिलने दिया जा रहा है और न ही कोई मदद की जा रही है.

मदद की गुहार लगाते परिजन.
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Published : May 14, 2019, 11:46 AM IST

लखनऊ : प्रदेश में बेटियों और महिलाओं की सुरक्षा का दावा करने वाली योगी सरकार की हैरान करने वाली तस्वीर सामने आई है. एसिड अटैक पीड़िता को बेहतर इलाज दिलाने के लिए उसकी मां और दो बहनें सीएम आवास के चक्कर लगा रही हैं. वहीं सीएम योगी के अधिकारी और कर्मचारी न ही महिलाओं को सीएम से मिलने दे रहे हैं और न ही इनकी मदद कर रहे हैं.

सीएम योगी से मदद मांगने लखनऊ पहुंचे थे परिजन.

क्या है पूरा मामला

  • आगरा के रहने वाले मुकेश वर्मा ने अपनी ही पत्नी पर तेजाब डाल दिया.
  • इस एसिड अटैक से पीड़िता की आंखें चली गईं और चेहरे सहित शरीर का आधा हिस्सा बुरी तरह झुलस गया.
  • घटना के बाद पीड़िता के भाई की तहरीर पर पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर लिया है.

मेरे दामाद ने मेरी बेटी के ऊपर तेजाब डाल दिया. हम सीएम योगी से मिलने आए हैं, लेकिन मिलने नहीं दिया जा रहा है.
-पीड़िता की मां

सीएम योगी के पास बड़ी उम्मीद से आए, ताकि मेरी बहन का इलाज अच्छे से हो जाए, लेकिन कुछ भी नहीं हुआ.
-पीड़िता की बहन

लखनऊ : प्रदेश में बेटियों और महिलाओं की सुरक्षा का दावा करने वाली योगी सरकार की हैरान करने वाली तस्वीर सामने आई है. एसिड अटैक पीड़िता को बेहतर इलाज दिलाने के लिए उसकी मां और दो बहनें सीएम आवास के चक्कर लगा रही हैं. वहीं सीएम योगी के अधिकारी और कर्मचारी न ही महिलाओं को सीएम से मिलने दे रहे हैं और न ही इनकी मदद कर रहे हैं.

सीएम योगी से मदद मांगने लखनऊ पहुंचे थे परिजन.

क्या है पूरा मामला

  • आगरा के रहने वाले मुकेश वर्मा ने अपनी ही पत्नी पर तेजाब डाल दिया.
  • इस एसिड अटैक से पीड़िता की आंखें चली गईं और चेहरे सहित शरीर का आधा हिस्सा बुरी तरह झुलस गया.
  • घटना के बाद पीड़िता के भाई की तहरीर पर पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर लिया है.

मेरे दामाद ने मेरी बेटी के ऊपर तेजाब डाल दिया. हम सीएम योगी से मिलने आए हैं, लेकिन मिलने नहीं दिया जा रहा है.
-पीड़िता की मां

सीएम योगी के पास बड़ी उम्मीद से आए, ताकि मेरी बहन का इलाज अच्छे से हो जाए, लेकिन कुछ भी नहीं हुआ.
-पीड़िता की बहन

Intro:एंकर

लखनऊ। लोकसभा चुनाव चल रहा है सभी पार्टियां व नेता जनता को लुभाने के लिए तमाम दावे करती हैं हालांकि अगर चुनाव को गहराई से देखें तो आधारभूत सुविधाएं व सुरक्षा के मुद्दे गौड़ नजर आते हैं फिर भी जब समाज से जुड़े हुए मुद्दों की बात होती है तो सबसे पहले महिलाओं की सुरक्षा की बात सभी बढ़-चढ़कर करते हैं सरकारें महिलाओं की सुरक्षा के तमाम दावे करते हैं महिलाओं को आगे बढ़ाने के लिए बड़ी-बड़ी बातें की जाती हैं लेकिन महिला सुरक्षा की जमीनी हकीकत राजनीतिक पार्टियां व सरकारों के बयानों व वादों की पोल खोलती हैं प्रदेश में महिला सुरक्षा व महिलाओं को मिलने वाली सुविधाओं का अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि एक मां व दो बहने अपनी एसिड अटैक पीड़िता बहन के बेहतर इलाज के लिए योगी आदित्यनाथ के घर के चक्कर लगा रही हैं और आलम यह है कि योगी आदित्यनाथ के आसपास घूमने वाले अधिकारी व कर्मचारी ना ही इन मजबूर महिलाओं को योगी से मिलने दे रहे हैं और न ही इनकी मदद कर रहे हैं





Body:वियो
मामला आगरा का है जहां पर मुकेश वर्मा नाम के युवक ने अपनी ही पत्नी पर तेजाब डालकर उसे जला दिया जिसमें पीड़िता की आंखें चली गई व चेहरा व आधा अंग बुरी तरीके से झुलस गया। घटना के बाद पीड़िता के भाई की तहरीर पर पुलिस ने मुकदमा दर्ज किया पीड़ित की मां बहनों का आरोप है कि जिस समय उसकी बहन को जलाया गया उसके पति मुकेश वर्मा सहित कई अन्य लोग भी मौजूद थे जिन्होंने इस अपराध में उसका साथ दिया लेकिन पुलिस ने खानापूर्ति करते हुए सिर्फ मुकेश पर ही कार्यवाही की है कार्यवाही से नाखुश पीड़ित की मां व उसकी दो बहने लखनऊ योगी आदित्यनाथ न्याय मांगने पहुंची जहां उन्हें योगी से मिलने नहीं दिया गया। पीड़ित की मा व उसकी बहनों का आरोप है कि पुलिस अपराध करने वालों पर कार्यवाही नहीं कर रही है वहीं पीड़ित की मां का कहना है कि उसकी बच्ची बुरी तरीके से जल गई है इलाज के लिए एम्स तो उन्हें भेजा गया लेकिन इसमें उन्हें सुविधाएं नहीं मिल पा रही हैं किसी सराय में उनकी बच्ची को रखा गया है जबकि उसकी हालत ऐसी है कि उसे एडमिट किया जाना चाहिए ईटीवी से खास बातचीत में पीड़ित की मां और उसकी बहनों का कहना है कि जिस तरीके से उनकी बच्ची के साथ अपराध हुआ है सरकार को उनकी मदद करनी चाहिए व बेहतर इलाज की व्यवस्था कर आनी चाहिए।


तमाम प्रयासों के बाद जब योगी आदित्यनाथ से मुलाकात नहीं हो पाई तो निराश होकर उन्होंने घर वापसी का फैसला लिया। वापस जाते समय अपनी बहन के लिए उम्मीद लेकर लखनऊ पहुंची बहनों व मां से जब ईटीवी भारत ने बातचीत की तो उनका दर्द आंखों से वह निकला। सिस्टम के प्रति इन पीड़ितों को इतनी विराशा थी कि जाते-जाते इन्होंने हारे हुए लहजे में कहा कि भले ही गुनाहगारो पर कार्यवाही न हो लेकिन कुछ ऐसा कर दीजिए कि कम से कम हमारी बहन को बेहतर इलाज मिल जाए हालांकि बातचीत में बेटी व बहन के साथ हुए अत्याचार पर आक्रोशित मा घटना को अंजाम देने वाले आरोपी के लिए सजा-ए-मौत की मांग कर रही थी


Conclusion:
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