लखनऊ : भाजपा के राष्ट्रीय महामंत्री सुनील बंसल, प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह चौधरी एवं प्रदेश महामंत्री (संगठन) धर्मपाल सिंह ने गुरुवार को पार्टी के राज्य मुख्यालय पर बैठक आयोजित की. बैठक में प्रदेश महामंत्री (संगठन) ने प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना से पात्रों को जोड़ने के लिए प्रारम्भ किये गए अभियान के धरातलीय क्रियान्वयन का प्रशिक्षण दिया. बैठक में क्षेत्रीय अध्यक्ष, क्षेत्रीय प्रभारी तथा अभियान के जिला संयोजक व सहसंयोजक उपस्थित रहे. संचालन प्रदेश उपाध्यक्ष मानवेन्द्र सिंह ने किया.
प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना का किया गया शुभारम्भ : भाजपा के राष्ट्रीय महामंत्री सुनील बंसल ने कहा कि 'भारत के सामाजिक ढांचे में परम्परागत शिल्प व उद्योग अर्थव्यवस्था का मजबूत आधार थे. बाद में ऐसे शिल्प व उद्योगों की अनदेखी के कारण देश की परम्परागत उद्यमिता विकास की मुख्यधारा से दूर हो गई. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने इन परम्परागत शिल्पियों तथा उद्यमियों को आधुनिक प्रशिक्षण और आधुनिक उपकरणों की उपलब्धता सुनिश्चित करने के साथ ही बिना गारंटी के पांच फीसदी वार्षिक ब्याज की दर से तीन लाख रुपये तक का ऋण उपलब्ध कराने के लिए प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना का शुभारम्भ किया.'
योजनाबद्ध तरीके से चलाना है अभियान : उन्होंने कहा कि 'पार्टी कार्यकर्ता के रूप में हम सबकी जिम्मेदारी है कि हमारे आस-पास, हमारे गांव, गली, मोहल्ले में जो भी लकड़ी का काम करने वाले, सोने चांदी का काम करने वाले, चर्मकार, कपड़ों की धुलाई करने वाले, नाव बनाने वाले, ताला बनाने वाले आदि पारम्परिक कारीगरी से जुडे़ लोगों को पीएम विश्वकर्मा सम्मान योजना से जोड़कर उनकी आर्थिक व सामाजिक उन्नति से आत्मनिर्भर भारत के संकल्प को पूर्ण करना है. योजनाबद्ध तरीके से अभियान को चलाना है और प्रत्येक शिल्पी व कारीगर को योजना के लाभ बताकर योजना से जोड़ने के लिए प्रेरित करना है.'
पीढ़ियों से काम करने वाला है हुनर : प्रदेश भाजपा अध्यक्ष भूपेन्द्र सिंह चौधरी ने कहा कि 'जब तक देश के परम्परागत कारीगर, शिल्पकार, उद्यमी आर्थिक रूप से मजबूत नहीं होंगे तब तक देश भी आर्थिक महाशक्ति नहीं बन सकता है. उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने गरीबी का जीवन जिया है और अपने संघर्ष काल में देश की धरातलीय स्थिति को नजदीक से देखा है, यही कारण है कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में प्रारम्भ की गई हर योजना में गांव, गरीब, किसान, श्रमिक, कारीगर, शिल्पकार की आर्थिक व सामाजिक उन्नति निहित है. प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना भी देश के शिल्पकारों एवं कारीगरों को देश के विकास की मुख्यधारा में जोड़ने का सशक्त माध्यम हैं. पारम्परिक कौशल रखने वाले 18 प्रकार के शिल्पकार जिनके घरों में पीढ़ियों से काम करने वाला हुनर है, वह हुनर और निखरकर देश की आर्थिक ताकत बनेगा.'
आर्थिक सहायता प्रदान करना है मुख्य उद्देश्य : प्रदेश महामंत्री (संगठन) धर्मपाल सिंह ने कहा कि 'प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के द्वारा पीएम विश्वकर्मा योजना का शुरू करने का उद्देश्य पारंपरिक शिल्प से जुडे़ शिल्पकार और कारीगरों को आर्थिक सहायता प्रदान करना है, ताकि वह अपने प्रोडक्ट व सर्विस को बाजार में सहजता से पहुंचा सके. शिल्पकार और कारीगरों को आर्थिक सहायता कर उनके जीवन स्तर को और बेहतर बनाया जा सके और उनकी आय में वृद्धि की जा सके. उन्होंने कहा कि स्वरोजगार को प्रेरित करने के लिए पीएम विश्वकर्मा योजना के माध्यम से शिल्पकार एवं कारीगरों का सामाजिक जीवन स्तर उठाने का एक अभिनव प्रयास भी है.'