लखनऊ: शिया धर्मगुरु और मजलिस-ए-उलेमा-ए-हिन्द के महासचिव मौलाना कल्बे जवाद ने फ्रांस के खिलाफ एक बार फिर से नाराज़गी का इजहार किया है. मौलाना ने मुसलमानों से भड़कने के बजाए फ्रांस के उत्पादों के बहिष्कार करने की अपील की है.
मौलाना कल्बे जवाद नकवी ने एक बार फिर फ्रांस में पैगंबर हजरत मोहम्मद मुस्तफा के अपमानजनक कार्टून बनाए जाने पर दुख और गुस्सा व्यक्त किया. उन्होंने गुरुवार को अपने एक बयान में कहा कि जिस तरह से फ्रांस में पैगंबर हज़रत मोहम्मद के अपमानजनक कार्टून बनाए जा रहे हैं, वे निंदनीय हैं. यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि उपद्रवियों के पास सरकारी संरक्षण है और फ्रांसीसी राष्ट्रपति मैंक्रो खुद इस्लामोफोबिया के शिकार हैं, इसलिए अपराधियों पर कार्रवाई नहीं हो रही है.
'कोई मुसलमान पैग़म्बर साहब का अपमान बर्दाश्त नहीं कर सकता'
मौलाना कल्बे जवाद नकवी ने कहा कि कोई भी मुसलमान पैगंबर हज़रत मोहम्मद के अपमान को बर्दाश्त नहीं कर सकता है. लेकिन मुसलमानों को यह भी ध्यान रखना चाहिए कि उनको वैश्विक स्तर पर भड़काने के लिए इस तरह के अनुचित कार्य किए जाते हैं. उन्होंने कहा कि इस्लाम के खिलाफ दुश्मन ताकतें मुसलमानों की भावनाओं को भड़का कर अपने राजनीतिक हितों को प्राप्त करने की कोशिश करती हैं. यही खेल फ्रांस में हो रहा है.
फ्रांसीसी उत्पादों का बहिष्कार करने की अपील
मौलाना जवाद ने कहा कि इस्लाम किसी भी व्यक्ति को व्यक्तिगत रूप से अपराधी को दंडित करने की अनुमति नहीं देता है. सजा देने के लिए अदालतें बनाई गई हैं, जहां इस्लामी संविधान के दायरे में काजी अपराधी को सजा देता है. मुसलमानों को अपनी भावनाओं को नियंत्रित रखना चाहिए और इस्लाम विरोधी ताकतों की भड़काऊ हरकतों के खिलाफ एक व्यवस्थित रणनीति तैयार करनी चाहिए. जिस तरह हमारे मराजाए किराम, विशेष रूप से अयातुल्ला सैय्यद अली सिस्तानी ने इस्लाम विरोधी ताकतों की भड़काऊ हरकतों के खिलाफ एक व्यवस्थित रणनीति बताते हुए कहा है कि सारे मुसलमान फ्रांसीसी उत्पादों का बहिष्कार करें. मौलाना ने कहा कि सभी मुसलमानों को फ्रांसीसी उत्पादों का बहिष्कार करना चाहिए, ताकि इस्लाम विरोधी ताकतें हमारे पवित्र नबियों और पैगंबरों का अपमान करने की हिम्मत न कर सकें. उन्होंने कहा कि यह बहिष्कार केवल घोषणा तक सीमित नहीं होना चाहिए, बल्कि इस पर सख़्ती के साथ अमल भी होनी चाहिए.