लखनऊ: भारतीय जनता युवा मोर्चा के क्षेत्रीय उपाध्यक्ष संदीप ठाकुर ने सत्ता के रसूख का इस्तेमाल करके अपनी हिस्ट्रीशीटर खत्म करवा ली थी. मामले का खुलासा होने के बाद अपर मुख्य सचिव गृह अवनीश अवस्थी ने इसका संज्ञान लेते हुए कानपुर पुलिस कमिश्नर असीम अरुण को जांच के आदेश दिए हैं.
कानपुर-बुंदेलखंड के क्षेत्रीय उपाध्यक्ष संदीप ठाकुर की शिकायत किसी और दल के नेता ने नहीं, बल्कि उसके ही पार्टी के पूर्व जिलाध्यक्ष राधेश्याम पांडे ने प्रमुख सचिव गृह अवनीश अवस्थी से की. बीते शुक्रवार को केस दर्ज हुआ. भाजपा नेता ने आरोप लगाया है कि हिस्ट्रीशीट मानकों को ताक पर रखकर खत्म की गई है. हिस्ट्रीशीट खत्म होने से पहले लगातार उनके खिलाफ शहर के अलग-अलग थानों में अपराधिक मुकदमे दर्ज हैं. आरोप है कि संदीप ठाकुर के खिलाफ 20 से अधिक गंभीर मुकदमे दर्ज हैं. यहां तक कि हत्या के मामले में उसे सजा भी हो सकती है.
डीआईजी अनंत देव ने खत्म की हिस्ट्रीशीट
आरोप है कि तत्कालीन डीआईजी अनंत देव ने इसकी हिस्ट्रीशीट खत्म कर दी थी. डीआईजी से लेकर थानेदार ने भाजपा नेता के दाग को साफ करने के लिए झूठी रिपोर्ट लगाई. इसके बाद अपर मुख्य सचिव गृह अवनीश अवस्थी ने फौरन पुलिस कमिश्नर कानपुर से फोन पर बात की और मामले में जांच का आदेश दिया. संदीप के खिलाफ तत्कालीन थानेदार से लेकर सीओ, एसपी साउथ और डीआईजी ने अपनी रिपोर्ट के बाद हिस्ट्रीशीट खत्म की.
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निष्पक्ष जांच हुई तो फसेंगे कई अफसर
संदीप के खिलाफ नवंबर 2019 में हिस्ट्रीशीटर खत्म होने से एक साल पहले तक गंभीर धाराओं में मुकदमे दर्ज हुए थे. इसके चलते इसमें डीआईजी अनंत देव से लेकर एसपी साउथ और तत्कालीन थानेदार भी झूठी रिपोर्ट लगाने के दोषी हैं. इन सभी के खिलाफ विभागीय जांच होने के साथ ही अपराधी का काला चिट्ठा नष्ट करने की एफआईआर भी दर्ज होगी. मामले में मानकों को ताक पर रखकर भाजपा नेता संदीप की हिस्ट्रीशीट खत्म की गई है. अगर अब जांच होगी तो आईपीएस अनंत देव से लेकर थानेदार तक कई पुलिस अफसर नपेंगे. पुलिस कमिश्नर कानपुर असीम अरुण ने बताया कि मामले की निष्पक्ष जांच की जाएगी. अगर आरोप सही पाए गए तो भाजपा नेता की दोबारा से हिस्ट्रीशीट खोली जाएगी.