लखनऊ : राजधानी लखनऊ के तमाम अस्पतालों में मरीजों की संख्या इन दिनों काफी दादा बन गई है. बहुत सारे मरीज एच3एन2 इनफ्लुएंजा से पीड़ित हो रहे हैं. इसके अलावा जो मरीज सर्दी जुखाम वायरल बुखार से पीड़ित हो रहे हैं उनमें बहुत अधिक कमजोरी हो गई है. जिसके चलते भी वह अस्पताल में परामर्शदाता के पास इलाज के लिए पहुंच रहे हैं. विशेषज्ञों का कहना है कि इन्फ्लूएंजा 15 से 20 दिन तक हो रहा है. इसके बाद मरीज को रिकवर होने में भी समय लग रहा है. हमेशा से ऐसा होता आया है जब भी बुखार होता है चार-पांच दिन बाद बुखार सही हो जाता है, लेकिन कमजोरी मरीज को हो जाती है. इधर बीच इनफ्लुएंजा से पीड़ित मरीजों को बुखार लंबे समय तक हो रहा है. उसके बाद मरीज को रिकवर होने में भी लंबा वक्त लग रहा है.
हजरतगंज स्थित डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी सिविल अस्पताल के सीएमएस डॉ. आरपी सिंह के मुताबिक अस्पताल में इनफ्लुएंजा से पीड़ित मरीजों की संख्या बढ़ी है. तमाम व्यवस्था अस्पताल में की गई है. इस समय अस्पताल में चार फिजीशियन है. फिजीशियन की ओपीडी में अधिक भीड़ हो रही है. बहुत से मरीज जिनको बुखार पहले हो चुका है, लेकिन कमजोरी दूर नहीं हो रही है. इसलिए भी अस्पताल में आ रहे हैं. आमतौर पर होता है कि बुखार ठीक होने के बाद मरीज को कमजोरी होती है. इस समय बुखार भी लंबा चल रहा है तो कमजोरी भी लंबे समय तक बनी रही है. इसके लिए जरूरी है कि मरीज अपनी सेहत का ख्याल रखें. कोविड और इनफ्लुएंजा से बचाव के लिए जरूरी है एतिहात बरतना. इनफ्लुएंजा की जांच के लिए केजीएमयू में सैंपल भेजे जा रहे हैं और कोविड की जांच अस्पताल में निरंतर हो रही है.
सिविल अस्पताल के वरिष्ठ फिजीशियन डॉ. एके श्रीवास्तव ने कहा कि अस्पताल में इस समय मरीजों की संख्या थोड़ी बढ़ गई है. लेकिन दो हफ्ता पहले के मुकाबले कुछ कम हुई है. इस मौसम में ज्यादातर मरीज ऐसे आ रहे हैं जो इनफ्लुएंजा से पीड़ित हैं उनमें कमजोरी, शरीर में ऐंठन व दर्द, मांसपेशियों में जकड़न, खाना खाने की इच्छा न करना, उल्टी जैसा महसूस होना, चलने फिरने का बिल्कुल भी इच्छा न होना. जो भी मरीज इनफ्लुएंजा से पीड़ित हो रहा है. बुखार उतरने के बाद मरीज को इन सब दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. इसी के चलते अस्पतालों में भी मरीजों की काफी संख्या बढ़ रही है और इन सभी मरीजों में यह सभी समान लक्षण देखने को मिल रहे हैं.
बलरामपुर अस्पताल की सीएमएस डॉ. जीपी गुप्ता ने बताया कि अस्पताल में इस समय पहले के मुकाबले थोड़ी कम भीड़ हो रही है, लेकिन मरीजों की संख्या अभी भी बहुत कम नहीं कही जा सकती है. रोजाना अस्पताल में 3000 नए मरीज इलाज के लिए पहुंचते हैं. उन्होंने बताया कि इनफ्लुएंजा और वायरल बुखार से पीड़ित मरीजों की संख्या जाहिर तौर पर बड़ी है. जिसकी वजह से फिजीशियन की ओपीडी में भी मरीजों की संख्या बढ़ी है. साथ ही पैथोलॉजी में भी जांच के लिए मरीज आ रहे हैं. लोक बंधु अस्पताल के एमएस डॉ. अजय शंकर त्रिपाठी ने बताया कि अस्पताल में इस समय वायरल बुखार से पीड़ित मरीज आ रहे हैं. ऐसे में जितने भी मरीज आ रहे हैं वह अपनी जरूरी जांचें भी करा रहे हैं. इस समय वायरल बुखार से पीड़ित मरीज में एक समान लक्षण देखने को मिल रहे हैं. ऐसे में लोगों को इस समय सावधानी बरतने की जरूरत है. कोविड एप्रोप्रियेट बिहेवियर अपनाने की आवश्यकता है.
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