लखनऊ : एक मई 2022 को चंदौली में कन्हैया यादव नाम के एक अपराधी को गिरफ्तार करने उसके घर गई पुलिस ने जमकर उत्पात मचाया. एनबीडब्ल्यू जारी होने पर अपराधी को गिरफ्तार करने पहुंची पुलिस के सामने ही अपराधी की बेटी की संदिग्ध रूप से मौत हो गई. आरोप लगा कि पुलिस ने युवती को इस कदर पीटा कि उसकी जान चली गई. हालांकि पुलिस की यह तेजी उस समय सुस्त पड़ जाती है जब किसी नेता या सेलिब्रेटी के खिलाफ एनबीडब्ल्यू जारी होता है और कोर्ट के बार-बार कहने पर भी पुलिस उसे गिरफ्तार कर कोर्ट के सामने पेश नहीं कर पाती है.
आचार संहिता उल्लंघन का है मामला : जया प्रदा के खिलाफ एमपी एमएलए कोर्ट में आचार संहिता उल्लंघन के मामले चल रहे हैं. पहले मामले में उन पर आरोप है कि लोक सभा चुनाव के दौरान उन्होंने 19 अप्रैल को नूरपुर गांव में सड़क का उद्घाटन किया था. दूसरा मामला केमरी थाने का है. यहां उन पर पिपलिया मिश्र गांव में आयोजित जनसभा में आपत्तिजनक टिप्पणी करने का आरोप है. ऐसे में एमपी एमएलए कोर्ट ने उन्हें कोर्ट में पेश होने के लिए कहा. जब वे नहीं आई तो उनके खिलाफ एनबीडब्ल्यू जारी किया. उसके बाद भी न वे पेश हुईं और न ही एनबीडब्ल्यू को अमल में लाने वाली पुलिस उन्हें कोर्ट के सामने ला सकी. ऐसे में कोर्ट ने 19 दिसंबर की तारिक मुकर्रर करते हुए एसपी रामपुर को आदेश दिया कि इस तारीख को उन्हें पेश किया जाए.
पूर्वांचल के बाहुबली को भी नहीं ढूंढ सकी पुलिस : दूसरा मामला हाल ही में जेल की सजा से मुक्त हुए पूर्व मंत्री और पूर्वांचल के कद्दावर राजनीतिज्ञ अमरमणि त्रिपाठी से जुड़ा है. जिन्हें पुलिस एनबीडब्ल्यू जारी होने के बाद भी गिरफ्तार कर कोर्ट के सामने पेश नहीं करवा सकी है. वर्ष 2001 में कारोबारी धर्मराज मधेशिया के बेटे राहुल का अपहरण हो गया था. इस मामले में अमरमणि त्रिपाठी को आरोपी बनाया गया था. बस्ती के एमपी एमएलए कोर्ट में चल रहे केस की सुनवाई के दौरान अमरमणि त्रिपाठी पहुंचे नहीं तो कोर्ट ने नाराजगी जाहिर की. कई बार अमरमणि को कोर्ट में पेश होने का आदेश दिया और जब अमरमणि पेश नहीं हुए तो 16 अक्टूबर को कोर्ट ने उनके खिलाफ एनबीडब्ल्यू जारी कर दिया. एसपी को निर्देश दिया की एक टीम गठित कर अमरमणि को गिरफ्तार कर एक नवंबर को कोर्ट के सामने पेश करें, लेकिन पुलिस की सुस्ती बरकरार है.
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