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अस्पताल का निरीक्षण करने पहुंचे स्वास्थ्य मंत्री, आशा बहुओं ने काटा हंगामा

राजधानी लखनऊ के बाल महिला चिकित्सालय मलिहाबाद का स्वास्थ्य मंत्री जय प्रताप सिंह ने निरीक्षण किया. मंत्री के अस्पताल आने की सूचना पर आशा बहू भी अपनी समस्याओं को लेकर उनसे मिलने पहुंच गईं. इस दौरान अधिकारियों ने आशा बहुओं को मंत्री से मिलने से रोका तो वह हंगामा करने लगीं.

स्वास्थ्य मंत्री जय प्रताप सिंह
स्वास्थ्य मंत्री जय प्रताप सिंह
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Published : Jun 10, 2021, 2:20 AM IST

Updated : Jun 10, 2021, 5:54 AM IST

लखनऊ: बुधवार को बाल महिला चिकित्सालय में निरीक्षण के लिए स्वास्थ्य मंत्री जय प्रताप सिंह मलिहाबाद पहुंचे. इस दौरान वेतन न मिलने से नाराज आशा बहू भी वहां पहुंच गईं. स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने आशा बहुओं को हटाने का प्रयास किया, लेकिन वह नहीं हटीं. इस बीच आशा बहुओं ने काफी हंगामा किया. आशा बहुओं की स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों से काफी बहस हुई. हालांकि आशा बहुओं ने स्वास्थ्य मंत्री से मिलकर अपनी समस्याओं से अवगत कराया, जिस पर मंत्री ने आशा बहुओं को आस्वस्त किया.

बाल महिला चिकित्सालय मलिहाबाद का स्वास्थ्य मंत्री ने किया निरीक्षण.

चिकित्सा, स्वास्थ्य एवं मातृ शिशु कल्याण मंत्री जय प्रताप सिंह ने बुधवार को माल और मलिहाबाद सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी) पर आयोजित प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान (पीएमएसएमए) का निरीक्षण कर आवश्यक निर्देश दिया. स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि हर माह की 9 तारीख को आयोजित होने वाले पीएमएसएमए का उद्देश्य सभी गर्भवतियों को कम से कम एक बार एमबीबीएस डॉक्टर द्वारा जांच कराना एवं उनका इलाज करना है. ताकि उच्च जोखिम गर्भावस्था वाली महिलाओं को चिन्हित कर उन्हें उचित इलाज मुहैया कराया जाए.

जच्चा बच्चा का हो विशेष ध्यान
अगर गर्भवतियों का सही समय से इलाज हो जाएगा तो होने वाला बच्चा भी स्वस्थ होगा. कोरोना संक्रमण के दौरान तो हमें विशेष ध्यान रखना है. हमें इस दौरान अधिक से अधिक महिलाओं की जांच कर उनका इलाज कराना है. साथ ही यह भी ध्यान दें कि जिन गर्भवतियों को टिटेनस के टीके नहीं लगे हैं, उन्हे टीके लगें. गर्भवतियों और उनके साथ आने वाले परिवार के सदस्यों को कोरोना से बचाव के प्रोटोकॉल्स के बारे में भी जानकारी दें कि वह इनका पालन करें और साथ ही उन्हें कोरोना टीका लगवाने के लिए भी प्रेरित करें. कोरोना से बचाव का एकमात्र कारगर उपाय टीका है. यदि वह टीका लगवा लेंगे तो वह स्वयं तो सुरक्षित हो ही जाएंगे. साथ में गर्भवती भी सुरक्षित हो जाएगी और गर्भ में पल रहा बच्चा भी सुरक्षित होगा.

लोगों को परिवार नियोजन का मिले लाभ
इसके आलावा गर्भवतियों और उनके साथ आने वाले परिवार के सदस्यों को परिवार नियोजन के साधनों के बारे में भी जानकारी दें और साधन अपनाने के लिए प्रेरित करें. उन्होंने सभी आशाओं को मानदेय के भुगतान करने के निर्देश दिए. साथ ही उन्होंने कहा कि हर माह की 21 तारीख को स्वास्थ्य केन्द्रों पर आयोजित होने वाले खुशहाल परिवार दिवस के अवसर अधिक से अधिक लोगों को परिवार निजोजन की सेवाओं का लाभ दिया जाए. इस दौरान स्वास्थ्य मंत्री ने सीएचसी पर ओपीडी और 18 से 44 वर्ष के तथा 45 वर्ष से आयु के अधिक के लोगों के लिए चल रहे टीकाकरण केंद्र का निरीक्षण किया. उन्होंने वहां पर दी जाने वाली स्वास्थ्य सुविधाओं का भी जायजा लिया. जय प्रताप सिंह ने सीएचसी पर भर्ती प्रसूताओं से बात भी की और उनका हाल-चाल जाना.

बकाया वेतन की मांग को लेकर किया हंगामा
दिन-रात की मेहनत और विषम परिस्थितियों में आम जनता की सेवा का दायित्व उठा रहीं आशा बहुओं को काफी लंबे अंतराल से उनके वेतन का भुगतान नहीं हो पाया है. स्वास्थ्य मंत्री के निरीक्षण के दौरान लगभग तीन दर्जन आशा बहू कई माह से वेतन न मिलने की शिकायत करने स्वास्थ्य मंत्री के पास पहुंची थीं.

स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारियों से हुई हाथापाई
स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी आशा बहुओं को मंत्री के पास न जाकर स्वयं उनकी समस्या के निराकरण की बात कह रहे थे, लेकिन फिर भी आशा बहू मंत्री से मिलने की जिद कर बैठीं. जिस पर स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के साथ आशा बहुओं की झड़प हो गई. आशाओं द्वारा स्वास्थ्य मंत्री से शिकायत करने पर स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारी ने आशाओं को नौकरी से निकालने की धमकी दी, जिस पर आशा बहू वहीं धरने पर बैठ गईं. साथ ही क्षेत्र भर की आशा बहुओं का सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर जमावड़ा लगना शुरू हो गया.

इसे भी पढ़ें:- मुख्यमंत्री ने समीक्षा बैठक, बाढ़ से निपटने के लिए तैयार रहने के दिए निर्देश

मामले को लेकर सीएससी अधीक्षक डॉ. अवधेश ने बताया कि आशा बहू और स्वास्थ्य विभाग के कर्मियों के बीच मारपीट की बात गलत है, लेकिन वेतन को लेकर कुछ बहस हुई है. आशा बहुओं के साथ वार्ता जारी है. जल्द ही समस्या का समाधान कर लिया जाएगा.

लखनऊ: बुधवार को बाल महिला चिकित्सालय में निरीक्षण के लिए स्वास्थ्य मंत्री जय प्रताप सिंह मलिहाबाद पहुंचे. इस दौरान वेतन न मिलने से नाराज आशा बहू भी वहां पहुंच गईं. स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने आशा बहुओं को हटाने का प्रयास किया, लेकिन वह नहीं हटीं. इस बीच आशा बहुओं ने काफी हंगामा किया. आशा बहुओं की स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों से काफी बहस हुई. हालांकि आशा बहुओं ने स्वास्थ्य मंत्री से मिलकर अपनी समस्याओं से अवगत कराया, जिस पर मंत्री ने आशा बहुओं को आस्वस्त किया.

बाल महिला चिकित्सालय मलिहाबाद का स्वास्थ्य मंत्री ने किया निरीक्षण.

चिकित्सा, स्वास्थ्य एवं मातृ शिशु कल्याण मंत्री जय प्रताप सिंह ने बुधवार को माल और मलिहाबाद सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी) पर आयोजित प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान (पीएमएसएमए) का निरीक्षण कर आवश्यक निर्देश दिया. स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि हर माह की 9 तारीख को आयोजित होने वाले पीएमएसएमए का उद्देश्य सभी गर्भवतियों को कम से कम एक बार एमबीबीएस डॉक्टर द्वारा जांच कराना एवं उनका इलाज करना है. ताकि उच्च जोखिम गर्भावस्था वाली महिलाओं को चिन्हित कर उन्हें उचित इलाज मुहैया कराया जाए.

जच्चा बच्चा का हो विशेष ध्यान
अगर गर्भवतियों का सही समय से इलाज हो जाएगा तो होने वाला बच्चा भी स्वस्थ होगा. कोरोना संक्रमण के दौरान तो हमें विशेष ध्यान रखना है. हमें इस दौरान अधिक से अधिक महिलाओं की जांच कर उनका इलाज कराना है. साथ ही यह भी ध्यान दें कि जिन गर्भवतियों को टिटेनस के टीके नहीं लगे हैं, उन्हे टीके लगें. गर्भवतियों और उनके साथ आने वाले परिवार के सदस्यों को कोरोना से बचाव के प्रोटोकॉल्स के बारे में भी जानकारी दें कि वह इनका पालन करें और साथ ही उन्हें कोरोना टीका लगवाने के लिए भी प्रेरित करें. कोरोना से बचाव का एकमात्र कारगर उपाय टीका है. यदि वह टीका लगवा लेंगे तो वह स्वयं तो सुरक्षित हो ही जाएंगे. साथ में गर्भवती भी सुरक्षित हो जाएगी और गर्भ में पल रहा बच्चा भी सुरक्षित होगा.

लोगों को परिवार नियोजन का मिले लाभ
इसके आलावा गर्भवतियों और उनके साथ आने वाले परिवार के सदस्यों को परिवार नियोजन के साधनों के बारे में भी जानकारी दें और साधन अपनाने के लिए प्रेरित करें. उन्होंने सभी आशाओं को मानदेय के भुगतान करने के निर्देश दिए. साथ ही उन्होंने कहा कि हर माह की 21 तारीख को स्वास्थ्य केन्द्रों पर आयोजित होने वाले खुशहाल परिवार दिवस के अवसर अधिक से अधिक लोगों को परिवार निजोजन की सेवाओं का लाभ दिया जाए. इस दौरान स्वास्थ्य मंत्री ने सीएचसी पर ओपीडी और 18 से 44 वर्ष के तथा 45 वर्ष से आयु के अधिक के लोगों के लिए चल रहे टीकाकरण केंद्र का निरीक्षण किया. उन्होंने वहां पर दी जाने वाली स्वास्थ्य सुविधाओं का भी जायजा लिया. जय प्रताप सिंह ने सीएचसी पर भर्ती प्रसूताओं से बात भी की और उनका हाल-चाल जाना.

बकाया वेतन की मांग को लेकर किया हंगामा
दिन-रात की मेहनत और विषम परिस्थितियों में आम जनता की सेवा का दायित्व उठा रहीं आशा बहुओं को काफी लंबे अंतराल से उनके वेतन का भुगतान नहीं हो पाया है. स्वास्थ्य मंत्री के निरीक्षण के दौरान लगभग तीन दर्जन आशा बहू कई माह से वेतन न मिलने की शिकायत करने स्वास्थ्य मंत्री के पास पहुंची थीं.

स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारियों से हुई हाथापाई
स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी आशा बहुओं को मंत्री के पास न जाकर स्वयं उनकी समस्या के निराकरण की बात कह रहे थे, लेकिन फिर भी आशा बहू मंत्री से मिलने की जिद कर बैठीं. जिस पर स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के साथ आशा बहुओं की झड़प हो गई. आशाओं द्वारा स्वास्थ्य मंत्री से शिकायत करने पर स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारी ने आशाओं को नौकरी से निकालने की धमकी दी, जिस पर आशा बहू वहीं धरने पर बैठ गईं. साथ ही क्षेत्र भर की आशा बहुओं का सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर जमावड़ा लगना शुरू हो गया.

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मामले को लेकर सीएससी अधीक्षक डॉ. अवधेश ने बताया कि आशा बहू और स्वास्थ्य विभाग के कर्मियों के बीच मारपीट की बात गलत है, लेकिन वेतन को लेकर कुछ बहस हुई है. आशा बहुओं के साथ वार्ता जारी है. जल्द ही समस्या का समाधान कर लिया जाएगा.

Last Updated : Jun 10, 2021, 5:54 AM IST
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