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राजधानी में बढ़ा डेंगू का प्रकोप, कोरोना की तर्ज पर डेंगू के मरीजों की होगी निगरानी

राजधानी में डेंगू बुखार का प्रकोप बढ़ रहा है. अस्पतालों की ओपीडी में भीड़ जुट रही है. विभिन्न अस्पतालों में 250 से अधिक बुखार के मरीज पहुंचे हैं.

कोरोना की तर्ज पर डेंगू के मरीजों की होगी निगरानी
कोरोना की तर्ज पर डेंगू के मरीजों की होगी निगरानी
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Published : Sep 3, 2021, 10:03 PM IST

लखनऊः अभी तक लोग कोरोना संक्रमण से ही जूझ रहे थे. लेकिन अब बारिश के मौसम में डेंगू ने भी दस्तक दे दी है. राजधानी भी डेंगू के डंक से अछूती नहीं है. यहां के विभिन्न अस्पतालों में 250 से अधिक बुखार के मरीज पहुंचे. वहीं इमरजेंसी में गंभीर मरीजों की भरमार है. ऐसे में वार्ड फुल हो गए हैं.

बलरामपुर, सिविल, लोहिया, रानी लक्ष्मीबाई, भाउराव देवरस समेत अन्य अस्पतालों की ओपीडी में बुखार के मरीजों के आने का सिलसिला जारी है. ओपीडी में 30 फीसदी बुखार पीड़ितों की संख्या बढ़ी है. प्राइवेट अस्पताल और क्लीनिक में भी बुखार के मरीज आ रहे हैं. अस्पतालों में 200 से ज्यादा बुखार पीड़ित भर्ती हैं. डेंगू की आशंका को लेकर बुखार के 20 से 25 फीसदी मरीजों की डॉक्टरों ने खून की जांच कराई. वहीं फैजुल्लागंज में एक मरीज में डेंगू की पुष्टि हुई है.

राजधानी में बढ़ा डेंगू का प्रकोप
राजधानी में बढ़ा डेंगू का प्रकोप

नहीं खाली है अस्पतालों की इमरजेंसी

अस्पतालों की इमरजेंसी फुल हो गई है. ट्रॉमा सेंटर, लोहिया संस्थान, सिविल अस्पताल की इमरजेंसी में सभी बेड भरे हैं. यहां आये मरीजों का कोरोना टेस्ट से पहले वार्ड में शिफ्ट नहीं किया जा रहा है. ऐसे में इमरजेंसी फुल हो गई है.

राजधानी में बढ़ा डेंगू का प्रकोप
राजधानी में बढ़ा डेंगू का प्रकोप

डेंगू के लक्षण

तेज बुखार, सिर, मांसपेशियों और जोड़ों में दर्द, आंखों के पिछले हिस्से में दर्द, कमजोरी लगना, भूख न लगना और मरीज का जी मिचलाना, चेहरे, गर्दन, चेस्ट पर लाल-गुलाबी रंग के रैशेज पड़ना है. वहीं डेंगू हेमरेजिक में नाक, मुंह, मसूड़े और मल मार्ग से खून आना है. इसके साथ ही डेंगू शॉक सिंड्रोम में ब्लडप्रेशर लो होना. बेहोशी होना शरीर में प्लेटलेट्स लगातार कम होने लगना है.

आसपास न जमा होने दें पानी

घर और आसपास पानी को जमा न होने दें. कूलर, बाथरूम, किचन में जलभराव पर ध्यान दें. एकत्र पानी में मच्छर का लार्वा नष्ट करने का तेल स्प्रे करें. एसी की पानी टपकने वाली ट्रे को रोज साफ करें. घर में रखे गमले में पानी जमा न होने दें. छत पर टूटे-फूटे डिब्बे, टायर, बर्तन आदि न रखें. पक्षियों को दाना-पानी देने के बर्तन को रोज साफ करें. शरीर को पूरी तरह ढकने वाले कपड़े पहनें. बच्चों को फुल पैंट और पूरी बाजू की शर्ट पहनाएं. संभव हो तो मच्छरदानी लगाकर सोएं.

बुखार में आहार का दें ध्यान

बुखार में आहार का ध्यान रखे. हरी सब्जियां, फलों के साथ सुपाच्य भोजन करें. तरल चीजें खूब पिएं. पानी सूप, दूध, छाछ, नारियल पानी, ओआएस का घोल, जूस और शिकंजी लें. बासी और तैलीय खाना न खाएं.

डेंगू में मरीजों का बेहतर इलाज

बलरामपुर अस्पताल-लोकबंधु राज नारायण अस्पताल में डेंगू मरीजों को बेहतर इलाज मुहैया कराने की तैयारी पुख्ता कर ली गई है. यहां मच्छरदानी में डेंगू मरीज भर्ती किए जाएंगे. लोकबंधु अस्पताल में डेंगू मरीजों के लिए अलग वार्ड बनाया गया है. यहां 10 बेड रिजर्व किए गए हैं. वहीं बलरामपुर अस्पताल में 20 बेड का डेंगू वार्ड तैयार हो गया है.

हेल्प डेस्क शुरू

एसजीपीजीआई में जीरियाट्रिक हेल्प डेस्क शुरू की गई. इस पर बुजुर्गों के इलाज के लिए मदद मिलेगी. वहीं एसजीपीजीआई में ऑर्गन एंड टिश्यू ट्रांसप्लांट के लिए कार्यशाला होगी. इसमें अंगदान को लेकर जागरूक किया जाएगा.

इसे भी पढ़ें- राजनीतिक हुआ किसान आंदोलन, विधानसभा चुनावों पर नहीं पड़ेगा कोई असर : वीरेंद्र सिंह मस्त

बुखार के मरीजों की पहचान में लगीं RRT की 100 टीमें

डेंगू के मरीजों की निगरानी बढ़ा दी गई है. कोरोना की तरह डेंगू बुखार के मरीज की निगरानी कोविड कमांड सेंटर से होगी. मरीज के मोबाइल नम्बर पर कमांड सेंटर के कर्मचारी समय-समय पर बात करेंगे. मरीज की सेहत का हाल लेंगे. कोरोना का प्रकोप अब कम हो गया है. ऐसे में कमांड सेंटर के कर्मचारियों को डेंगू मरीजों की निगरानी के लिए लगाया जा रहा है. आशा और स्वास्थ्यकर्मियों की टीम मरीजों के घर जाकर उनका ब्यौरा लेंगी. वहीं रैपिड रिस्पांस टीम (आरआरटी) के सदस्यों को भी बुखार मरीज की पहचान से जोड़ा जाएगा. बुखार के मरीजों की कोरोना जांच भी समय-समय पर कराई जाएगी. यह टीमें बुखार पीड़ितों को दवाएं देंगी. अधिकारियों के मुताबिक करीब 100 टीमें कोरोना से हटाकर बुखार मरीजों के लिए लगाई गई हैं.

लखनऊः अभी तक लोग कोरोना संक्रमण से ही जूझ रहे थे. लेकिन अब बारिश के मौसम में डेंगू ने भी दस्तक दे दी है. राजधानी भी डेंगू के डंक से अछूती नहीं है. यहां के विभिन्न अस्पतालों में 250 से अधिक बुखार के मरीज पहुंचे. वहीं इमरजेंसी में गंभीर मरीजों की भरमार है. ऐसे में वार्ड फुल हो गए हैं.

बलरामपुर, सिविल, लोहिया, रानी लक्ष्मीबाई, भाउराव देवरस समेत अन्य अस्पतालों की ओपीडी में बुखार के मरीजों के आने का सिलसिला जारी है. ओपीडी में 30 फीसदी बुखार पीड़ितों की संख्या बढ़ी है. प्राइवेट अस्पताल और क्लीनिक में भी बुखार के मरीज आ रहे हैं. अस्पतालों में 200 से ज्यादा बुखार पीड़ित भर्ती हैं. डेंगू की आशंका को लेकर बुखार के 20 से 25 फीसदी मरीजों की डॉक्टरों ने खून की जांच कराई. वहीं फैजुल्लागंज में एक मरीज में डेंगू की पुष्टि हुई है.

राजधानी में बढ़ा डेंगू का प्रकोप
राजधानी में बढ़ा डेंगू का प्रकोप

नहीं खाली है अस्पतालों की इमरजेंसी

अस्पतालों की इमरजेंसी फुल हो गई है. ट्रॉमा सेंटर, लोहिया संस्थान, सिविल अस्पताल की इमरजेंसी में सभी बेड भरे हैं. यहां आये मरीजों का कोरोना टेस्ट से पहले वार्ड में शिफ्ट नहीं किया जा रहा है. ऐसे में इमरजेंसी फुल हो गई है.

राजधानी में बढ़ा डेंगू का प्रकोप
राजधानी में बढ़ा डेंगू का प्रकोप

डेंगू के लक्षण

तेज बुखार, सिर, मांसपेशियों और जोड़ों में दर्द, आंखों के पिछले हिस्से में दर्द, कमजोरी लगना, भूख न लगना और मरीज का जी मिचलाना, चेहरे, गर्दन, चेस्ट पर लाल-गुलाबी रंग के रैशेज पड़ना है. वहीं डेंगू हेमरेजिक में नाक, मुंह, मसूड़े और मल मार्ग से खून आना है. इसके साथ ही डेंगू शॉक सिंड्रोम में ब्लडप्रेशर लो होना. बेहोशी होना शरीर में प्लेटलेट्स लगातार कम होने लगना है.

आसपास न जमा होने दें पानी

घर और आसपास पानी को जमा न होने दें. कूलर, बाथरूम, किचन में जलभराव पर ध्यान दें. एकत्र पानी में मच्छर का लार्वा नष्ट करने का तेल स्प्रे करें. एसी की पानी टपकने वाली ट्रे को रोज साफ करें. घर में रखे गमले में पानी जमा न होने दें. छत पर टूटे-फूटे डिब्बे, टायर, बर्तन आदि न रखें. पक्षियों को दाना-पानी देने के बर्तन को रोज साफ करें. शरीर को पूरी तरह ढकने वाले कपड़े पहनें. बच्चों को फुल पैंट और पूरी बाजू की शर्ट पहनाएं. संभव हो तो मच्छरदानी लगाकर सोएं.

बुखार में आहार का दें ध्यान

बुखार में आहार का ध्यान रखे. हरी सब्जियां, फलों के साथ सुपाच्य भोजन करें. तरल चीजें खूब पिएं. पानी सूप, दूध, छाछ, नारियल पानी, ओआएस का घोल, जूस और शिकंजी लें. बासी और तैलीय खाना न खाएं.

डेंगू में मरीजों का बेहतर इलाज

बलरामपुर अस्पताल-लोकबंधु राज नारायण अस्पताल में डेंगू मरीजों को बेहतर इलाज मुहैया कराने की तैयारी पुख्ता कर ली गई है. यहां मच्छरदानी में डेंगू मरीज भर्ती किए जाएंगे. लोकबंधु अस्पताल में डेंगू मरीजों के लिए अलग वार्ड बनाया गया है. यहां 10 बेड रिजर्व किए गए हैं. वहीं बलरामपुर अस्पताल में 20 बेड का डेंगू वार्ड तैयार हो गया है.

हेल्प डेस्क शुरू

एसजीपीजीआई में जीरियाट्रिक हेल्प डेस्क शुरू की गई. इस पर बुजुर्गों के इलाज के लिए मदद मिलेगी. वहीं एसजीपीजीआई में ऑर्गन एंड टिश्यू ट्रांसप्लांट के लिए कार्यशाला होगी. इसमें अंगदान को लेकर जागरूक किया जाएगा.

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बुखार के मरीजों की पहचान में लगीं RRT की 100 टीमें

डेंगू के मरीजों की निगरानी बढ़ा दी गई है. कोरोना की तरह डेंगू बुखार के मरीज की निगरानी कोविड कमांड सेंटर से होगी. मरीज के मोबाइल नम्बर पर कमांड सेंटर के कर्मचारी समय-समय पर बात करेंगे. मरीज की सेहत का हाल लेंगे. कोरोना का प्रकोप अब कम हो गया है. ऐसे में कमांड सेंटर के कर्मचारियों को डेंगू मरीजों की निगरानी के लिए लगाया जा रहा है. आशा और स्वास्थ्यकर्मियों की टीम मरीजों के घर जाकर उनका ब्यौरा लेंगी. वहीं रैपिड रिस्पांस टीम (आरआरटी) के सदस्यों को भी बुखार मरीज की पहचान से जोड़ा जाएगा. बुखार के मरीजों की कोरोना जांच भी समय-समय पर कराई जाएगी. यह टीमें बुखार पीड़ितों को दवाएं देंगी. अधिकारियों के मुताबिक करीब 100 टीमें कोरोना से हटाकर बुखार मरीजों के लिए लगाई गई हैं.

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