लखनऊ: लगातार बढ़ रही गर्मी और तपिश से बचने के लिए लोग पुराने नुस्खों से बने पेय पदार्थो पर निर्भर हैं. गर्मी से बचाव के लिए लोग बेल का शरबत, गन्ने का जूस, आम का पना, और कई मसालों के मिश्रण से बनी शिकंजी का इस्तेमाल कर रहे हैं. लोगों का कहना है कि आयुर्वेदिक मसालों से बने पेय पदार्थ शरीर को तेज धूप से बचाते हैं. गर्मी में इन पेय पदार्थों का सेवन करने से शरीर में तरावट और ताजगी बनी रहती है.
घरेलू नुस्खों पर लोगों की राय...
- शिकंजी विक्रेता सम्मी कहते हैं कि शिकंजी कई तरह के आर्युवेदिक मसालों को मिलाकर तैयार की जाती है. इसमें छोटी-बड़ी हर, जावित्री, तेज पत्ता, छोटी-बड़ी इलायची, अजवाइन, दाल-चीनी, हींग सहित 22 तरह के मसालों को पीसने के बाद तैयार किया जाता है. इन्होंने बताया कि वह पिछले 20 सालों से लोगों को शिकंजी पिला रहे हैं, दूर-दूर से लोग उनके यहां शिकंजी पीने आते हैं.
- वहीं ग्राहक प्रीति शाह ने बताया देशी नुस्खों से बने पेय पदार्थ शरीर को ताजगी और तरावट देते हैं. आयुर्वेदिक मसालों के मिश्रण से शिकंजी पीने से स्वास्थ्य को भी कोई नुकसान नहीं है.
- ग्राहक राजेश ने बताया गर्मी अपना विकराल रूप धारण कर रही है. बढ़ते तापमान से खुद को बचाने के लिए देशी नुस्खों पर विश्वास है. यह हमें लू और गर्मी से होने वाली बीमारियों से बचाती है.
बाजार में बिकने वाले बनावटी रंग और स्वाद से बनी मीठे पानी की एयरेटेड बोतलें तो स्वाद और गुणों में पारम्परिक भारतीय पेय पदार्थों की छाया को नहीं छू सकतीं. नौतपे की गर्मियों में आपके शरीर को लू से बचाने और आपके शरीर के तापमान को स्थिर रखने में आम का पना बहुत सहायक होता है.