लखनऊ : डॉक्टर बाबा साहब भीमराव आंबेडकर केंद्रीय विश्वविद्यालय (बीबीएयू) के छात्रावास में डॉ. अंबेडकर की मूर्ति पर माल्यार्पण न करने व उनकी मूर्ति को क्षतिग्रस्त करने का विवाद सामने आया है. जिसके विरोध में शुक्रवार को इसके विरोध में कई छात्र प्रशासनिक भवन पर धरने पर बैठ गए. धरने पर बैठे छात्र बाबा साहब की अपमान करने वाले छात्राओं पर कार्रवाई की मांग कर रहे हैं. छात्रों का आरोप है कि 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस व बसंत पंचमी का आयोजन एक साथ था. इसलिए विश्वविद्यालय के संघमित्रा छात्रावास में रात में सरस्वती पूजा का आयोजन किया गया था. इसी दौरान कुछ छात्रों ने बाबा साहब भीमराव आंबेडकर के मूर्ति पर माल्यार्पण न करने की बात कही. आरोप है कि बाबा साहब भीमराव आंबेडकर की पूजा को लेकर विवादित बयानबाजी की गई. जिसको लेकर वहां विवाद हो गया.
विश्वविद्यालय के कुलानुशासन को भेजेगा शिकायत पत्र में आरोप लगाया है कि विश्वविद्यालय में 26 जनवरी को संघमित्रा महिला छात्रावास (विस्तार) में शाम लगभग 8:00 बजे सरस्वती पूजन हो रहा था. इसी दौरान वहां पर उपस्थित छात्राओं में से किसी ने बाबा साहब की प्रतिमा पर माल्यार्पण नहीं किया. इसके बाद पूजा कर रही छात्रों में से किसी छात्रा ने कहा कि यह सब बकवास करने यहां आई हो. इसके बाद दूसरी छात्रा ने कहा कि ज्यादा बोलोगी तो मूर्ति उठाकर फेंक देंगे. साथ ही मूर्ति को क्षतिग्रस्त करके पैरों से कुचल देंगे, जिसका समर्थन वहां की दो छात्राओं ने भी किया. इसके बाद विवाद बढ़ गया. शिकायत दर्ज कराने वाले छात्रों ने विश्वविद्यालय प्रशासन से आरोपी छात्रों पर सख्त कार्रवाई करने की मांग की है.
इस मामले को लेकर विश्वविद्यालय के छात्रों का एक वर्ग शुक्रवार सुबह से ही प्रशासनिक भवन पर धरने पर बैठ गया. प्रदर्शनकारी आरोपी छात्रों पर कार्रवाई करने की मांग कर रहे हैं. जिसके बाद मौके पर चीफ प्रॉक्टर पहुंचे, उन्होंने पूरे मामले इस जांच का आश्वासन दिया और धरना समाप्त करने कहा. हालांकि प्रदर्शन कर रहे छात्र आरोपी छात्रों पर कार्रवाई करने की मांग पर अड़े हुए हैं. चीफ प्रॉक्टर प्रोफेसर बीबी मलिक ने कहा कि इस मामले में जिन छात्रों का नाम आ रहा है उन्हें 3:00 बजे अपना पक्ष रखने के लिए बुलाया है. दोनों पक्षों के बात सुनने के बाद इस मामले की जांच कर जो भी दोषी होगा उस पर कार्रवाई की जाएगी.
यह भी पढ़ें : Medical facilities at KGMU : पीपीपी मॉडल पर पैथोलॉजी और रेडियोलॉजी की बढ़ेंगी जांचें