लखनऊ : माध्यमिक शिक्षा परिषद की यूपी बोर्ड हाईस्कूल व इंटरमीडिएट-2024 की परीक्षा में शामिल होने वाले परीक्षार्थियों के परीक्षा फॉर्म भरने में काफी संख्या में गलतियां हुई हैं. ऐसे में अगर सुधार न हुआ तो परीक्षा के समय परीक्षार्थियों को प्रवेश पत्र फंस सकता है. इसको देखते हुए माध्यमिक शिक्षा परिषद सचिव दिव्यकान्त शुक्ला ने परीक्षार्थियों को राहत देते हुए परीक्षा फॉर्म में हुई गलती को सुधारने का ऑनलाइन विकल्प दिया है.
सचिव ने बताया कि 'हाईस्कूल व इंटरमीडिएट परीक्षा में शामिल होने वाले छात्र-छात्राओं के शैक्षिक विवरण में हुई गलतियों के निस्तारण के लिए अब तक उनको ऑफलाइन संशोधन कराए जाने की प्रक्रिया थी. अब इस साल से इस प्रक्रिया को ऑनलाइन कर दिया गया है. परीक्षा फॉर्म भरने वाले सभी छात्र अपने सभी शैक्षिक विवरणों जैसे छात्र का नाम, माता-पिता का नाम, जन्मतिथि, जेंडर, जाति, फोटो व विषय आदि को एक साथ ऑनलाइन संशोधित कर सकते हैं. उन्होंने कहा कि परिषद की वेबसाइट upmsp.edu.in पर जाकर संशोधन किया जा सकता है.
इतने छात्रों ने भरे हैं यूपी बोर्ड परीक्षा फॉर्म | |
कक्षा 10वीं परीक्षा | 2024 |
नियमित | 29,42,916 |
निजी | 11,120 |
कुल | 29,54,036 |
कक्षा 12वीं परीक्षा | 2024 |
नियमित | 24,08,479 |
निजी | 1,41,348 |
कुल | 25,49,827 |
कुल कक्षा 10वीं+12वीं | |
परीक्षा | 2024 |
नियमित | 53,51,395 |
निजी | 1,52,468 |
कुल | 55,03,863 |
बोर्ड ने जारी किया आदेश : सचिव दिव्यकांत शुक्ला की ओर से प्रदेश के सभी माध्यमिक विद्यालयों के प्रधानाचार्य को विशेष रूप से निर्देशित किया गया है, कि वह परिषद की वेबसाइट पर अपलोड हाईस्कूल व इंटरमीडिएट परीक्षा वर्ष 2024 के सभी संस्थागत व व्यक्तिगत छात्र-छात्राओं के शैक्षिक विवरणों की विद्यालय अभिलेख से मिलकर जांच कर ले. इसके साथ ही छात्र-छात्राओं व उनके अभिभावकों से भी इनके चेकलिस्ट की जांच कर ली जाए. जिससे किसी प्रकार की गलती मिलने पर वेबसाइट पर उसे तत्काल संशोधित कराकर अपडेट किया जा सके. उन्होंने कहा कि सभी प्रधानाचार्य को निर्देश का सख्ती से पालन करना होगा. सभी प्रधानाचार्य को यह सुनिश्चित करना होगा कि 2024 की हाईस्कूल व इंटरमीडिएट परीक्षा में शामिल होने वाले एक भी छात्र-छात्रा का विवरण निर्धारित तिथि के अंतर्गत परिषद की वेबसाइट पर अपलोड होने से छूटने न पाए. साथ ही सभी छात्र- छात्राओं के शैक्षिक विवरण में किसी प्रकार की गलती ना रहने पाए. इसके बाद संशोधन का कोई अतिरिक्त अवसर नहीं दिया जाएगा.
नकल कराने का नहीं मिलेगा मौका : परिषद के अधिकारियों ने बताया कि 'पहले प्रधानाचार्य अक्सर छात्रों का शैक्षिक विवरण परिषद की वेबसाइट पर अपलोड करने से छोड़ देते थे और बाद में उन्हें परीक्षा में सम्मिलित करने के लिए अंतिम अनुक्रमांक की मांग करते थे. इस प्रकार के अंतिम अनुक्रमांक पाए छात्रों द्वारा परीक्षा में नकल करने व अन्य अवांछित कार्रवाई में संलिप्त रहने की संभावना ज्यादा रहती थी, लेकिन इस वर्ष अंतिम अनुक्रमांक देने की इस प्रथा पर प्रभावी अंकुश लगाते हुए एक भी छात्र को अंतिम अनुक्रमांक नहीं दिया गया है. इसके साथ ही 2020 से 2022 तक की परीक्षा में नियम विरुद्ध अंतिम अनुक्रमांक मांगने वाले दोषी प्रधानाचार्य के विरुद्ध कार्रवाई करते हुए उनसे संबंधित 199 विद्यालयों को डिबार किया गया था.