लखनऊ: समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने चौरी चौरा में जनक्रान्ति के 100 वर्ष पूरे होने पर देश की आजादी के लिए अपना प्राण निछावर करने वाले शहीदों को नमन करते हुए श्रद्धांजलि दी. उन्होने कहा कि देश सदैव शहीदों के बलिदान को याद रखेगा. अखिलेश यादव ने कहा है कि स्वतंत्रता सेनानियों के स्तुतिगान से उनका सम्मान नहीं होता है. बल्कि पूरी श्रद्धा से उनके विचारों को आत्मसात करना होता है.
इस दौरान अखिलेश यादव ने बीजेपी पर भी निशाना साधा. उन्होंने कहा कि "भाजपा का स्वतंत्रता आंदोलन से कोई संबंध नहीं रहा है. वे दिखावटी चर्चा करते है. स्वतंत्रता आंदोलन की चर्चा करना ही पर्याप्त नहीं, उनके मूल्यों को अपनाकर उन पर चलने का संकल्प भी लेना चाहिए. प्रतिबद्धताएं और उसकी प्राथमिकताएं तय करना और उन पर पूरी निष्ठा से मन, वचन, कर्म से समर्पण करना होता है." अखिलेश ने कहा कि "भाजपा सरकार द्वारा लोकतांत्रिक व्यवस्थाओं को कमजोर करना स्वतंत्रता सेनानियों के सपनों को नकारना है. चौरी चौरा कांड से भाजपा को सबक लेना चाहिए."
किसान आंदोलन को लेकर अखिलेश ने कहा," आज देश का किसान आंदोलित है. वह ठंड में कई साथियों को खोने के बाद भी खेती बचाने के लिए आंदोलनरत है. सरकार को किसानों की बात सुननी चाहिए. तीनों कृषि कानून की वापसी की वाजिब मांग को लेकर आंदोलित किसानों के प्रति सरकारी रवैये से ज्यादा उम्मीद नहीं है. सरकार को संविधान का सम्मान करना चाहिए. किसानो के प्रति क्रूरता और जनता के आक्रोश से भाजपा में भी असंतोष पनप रहा है."
'समाजवादी सरकार ने बनवाया था कैंसर अस्पताल'
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा कि "जनता की याददाश्त इतनी खराब नहीं कि लखनऊ में उच्च स्तरीय कैंसर अस्पताल के निर्माता का नाम भूल जाए. भाजपा के पास कोई योजना नहीं होने से उसका नेतृत्व हताशा में डूब गया है. मुख्यमंत्री ने ये फार्मूला अपना रखा है. समाजवादी सरकार ने कैंसर अस्पताल बनवाया. अब जब विदाई की बेला आ गई है तो मुख्यमंत्री समाजवादी सरकार के काम पर अपने नाम का पत्थर लगवा रहे हैं. जनता इन पत्थरों पर अपना सिर पटकने के अलावा क्या करे. कैंसर इंस्टिट्यूट एंड हॉस्पिटल का लोकार्पण समाजवादी सरकार में 2016 में हो चुका था. भाजपा सरकार के चार साल में भी उसका संचालन नहीं हो सका."