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अखिलेश यादव बोले, बीजेपी ने शिक्षा व्यवस्था को बर्बाद कर दिया - Akhilesh Yadav statement on education policy

सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव ने बीजेपी सरकार को चौतरफा घेरने का प्रयास किया है. अखिलेश ने कहा कि झूठे कामों का ढिंढोरा जोर से पीटना ही भाजपा सरकार की सबसे बड़ी उपलब्धि है.

अखिलेश यादव ने बीजेपी को घेरा
अखिलेश यादव ने बीजेपी को घेरा
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Published : Sep 2, 2022, 7:59 PM IST

लखनऊ: समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने बयान जारी कर बीजेपी व यूपी सरकार पर निशाना साधा है. उन्होंने कहा कि बीजेपी सरकार ने शिक्षा व्यवस्था को पूरी तरह बर्बाद कर दिया है. मिशन कायाकल्प के नाम पर करोड़ों, अरबों रुपये फूंकने के बाद भी सरकारी स्कूलों के हालत में कोई सुधार नहीं हुआ है. उन्होंने कहा कि तमाम स्कूल जर्जर भवनों में चल रहें हैं, शिक्षकों के बहुत से पद खाली हैं. भाजपा सरकार और मुख्यमंत्री केवल वादों के सहारे अपने दिन बिता रहे हैं.
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा सरकार परिषदीय स्कूलों में बच्चों के हित में कोई भी व्यवस्था करने में नाकाम रही है. बच्चों को यूनीफार्म, जूता-मोजा मुहैया करने में लापरवाही बरती गई. अभी तक सभी स्कूलों में बच्चों को किताबें नहीं बंट पायीं हैं. लाखों बच्चे बिना किताबों के पढ़ाई करने पर मजबूर हैं. बच्चों के खेलकूद के लिए मैदान नहीं है. स्कूल की साफ-सफाई खुद बच्चों को ही करनी पड़ती है. उन्होंने कहा कि भाजपा राज में शिक्षा क्षेत्र में घोर अव्यवस्था और अधिकारियों की मनमानी के चलते परिषदीय स्कूलों से बच्चों और अभिभावकों का मोहभंग हो गया है.

शिक्षा की खराब गुणवत्ता और मूलभूत सुविधाओं की कमी के कारण अकेले नोएडा में 38 प्रतिशत बच्चों ने स्कूल जाना छोड़ दिया. स्कूल छोड़ने वाले बच्चों की संख्या उत्तर प्रदेश में लगातार बढ़ रही है. शिक्षक समय से स्कूल नहीं आते हैं, बहुत से शिक्षक नाम मात्र के शिक्षक बने हैं. सरकारी स्कूलों से मोहभंग का कारण यह भी है कि वहां न पेयजल की व्यवस्था है और न ही मिड-डे-मील बन रहा है. अखिलेश ने कहा कि तिर्वा के प्राथमिक विद्यालय बरूआ में मिड-डे-मील न मिलने पर छात्र हंगामा कर चुके हैं.

बच्चों को दूध, अंडा देने से राज्य सरकार पहले ही किनारा कर चुकी है. कई स्कूलों में छात्र पढ़ाई करने से ज्यादा मेहनत बाहर से पानी लाने में करते हैं. अधिकांश विद्यालयों में शौचालय न होने से छात्राओं को विशेषकर बहुत परेशानी होती है. उन्होंने सवाल पूछा कि भाजपा सरकार पता नहीं कहां इज्जतघर बना रही है? सच तो यह है कि भाजपा सरकार की शिक्षा सहित विकास के किसी काम में कोई रुचि नहीं है. बीजेपी लगातार सत्ता की राजनीति में व्यस्त रहती है. पिछले पांच साल में बीजेपी ने जनहित में कोई काम नहीं किया. भाजपा सरकार अब उत्तर प्रदेश के 11 हजार प्राथमिक विद्यालयों को भी पीपीपी मॉडल पर अपने चहेते पूंजीपतियों को देने की योजना बना रही है. झूठे कामों का ढिंढोरा जोर से पीटना ही भाजपा सरकार की सबसे बड़ी उपलब्धि है.

इसे पढ़ें- डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य की नसीहत, अखिलेश यादव अपनी आंखों की जांच कराएं

लखनऊ: समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने बयान जारी कर बीजेपी व यूपी सरकार पर निशाना साधा है. उन्होंने कहा कि बीजेपी सरकार ने शिक्षा व्यवस्था को पूरी तरह बर्बाद कर दिया है. मिशन कायाकल्प के नाम पर करोड़ों, अरबों रुपये फूंकने के बाद भी सरकारी स्कूलों के हालत में कोई सुधार नहीं हुआ है. उन्होंने कहा कि तमाम स्कूल जर्जर भवनों में चल रहें हैं, शिक्षकों के बहुत से पद खाली हैं. भाजपा सरकार और मुख्यमंत्री केवल वादों के सहारे अपने दिन बिता रहे हैं.
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा सरकार परिषदीय स्कूलों में बच्चों के हित में कोई भी व्यवस्था करने में नाकाम रही है. बच्चों को यूनीफार्म, जूता-मोजा मुहैया करने में लापरवाही बरती गई. अभी तक सभी स्कूलों में बच्चों को किताबें नहीं बंट पायीं हैं. लाखों बच्चे बिना किताबों के पढ़ाई करने पर मजबूर हैं. बच्चों के खेलकूद के लिए मैदान नहीं है. स्कूल की साफ-सफाई खुद बच्चों को ही करनी पड़ती है. उन्होंने कहा कि भाजपा राज में शिक्षा क्षेत्र में घोर अव्यवस्था और अधिकारियों की मनमानी के चलते परिषदीय स्कूलों से बच्चों और अभिभावकों का मोहभंग हो गया है.

शिक्षा की खराब गुणवत्ता और मूलभूत सुविधाओं की कमी के कारण अकेले नोएडा में 38 प्रतिशत बच्चों ने स्कूल जाना छोड़ दिया. स्कूल छोड़ने वाले बच्चों की संख्या उत्तर प्रदेश में लगातार बढ़ रही है. शिक्षक समय से स्कूल नहीं आते हैं, बहुत से शिक्षक नाम मात्र के शिक्षक बने हैं. सरकारी स्कूलों से मोहभंग का कारण यह भी है कि वहां न पेयजल की व्यवस्था है और न ही मिड-डे-मील बन रहा है. अखिलेश ने कहा कि तिर्वा के प्राथमिक विद्यालय बरूआ में मिड-डे-मील न मिलने पर छात्र हंगामा कर चुके हैं.

बच्चों को दूध, अंडा देने से राज्य सरकार पहले ही किनारा कर चुकी है. कई स्कूलों में छात्र पढ़ाई करने से ज्यादा मेहनत बाहर से पानी लाने में करते हैं. अधिकांश विद्यालयों में शौचालय न होने से छात्राओं को विशेषकर बहुत परेशानी होती है. उन्होंने सवाल पूछा कि भाजपा सरकार पता नहीं कहां इज्जतघर बना रही है? सच तो यह है कि भाजपा सरकार की शिक्षा सहित विकास के किसी काम में कोई रुचि नहीं है. बीजेपी लगातार सत्ता की राजनीति में व्यस्त रहती है. पिछले पांच साल में बीजेपी ने जनहित में कोई काम नहीं किया. भाजपा सरकार अब उत्तर प्रदेश के 11 हजार प्राथमिक विद्यालयों को भी पीपीपी मॉडल पर अपने चहेते पूंजीपतियों को देने की योजना बना रही है. झूठे कामों का ढिंढोरा जोर से पीटना ही भाजपा सरकार की सबसे बड़ी उपलब्धि है.

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