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युवाओं ने सीखा खाद्य प्रसंस्करण से आत्मनिर्भर बनना

उत्तर प्रदेश के लखनऊ जिले में तीन दिवसीय खाद्य प्रसंस्करण जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया. इसमें रोजगार उन्मूलन महात्मा गांधी ग्राम स्वरोजगार योजना के अंतर्गत प्रशिक्षण दिया गया.

खाद्य प्रसंस्करण
खाद्य प्रसंस्करण
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Published : Jan 22, 2021, 8:02 AM IST

लखनऊः जिले में चल रहे तीन दिवसीय खाद्य प्रसंस्करण जागरूकता शिविर का गुरुवार को समापन हो गया. इसमें युवाओं को आत्मनिर्भर होने के तरीकों का प्रशिक्षण दिया गया. गौरतलब है कि प्रदेश सरकार ग्रामीण क्षेत्रों में स्वरोजगार को बढ़ावा देने के लिए और ग्रामीण क्षेत्रों से युवाओं का पलायन रोकने के लिए रोजगार उन्मूलन महात्मा गांधी ग्राम स्वरोजगार योजना चला रही है. इसी के तहत अवध आम उत्पादक एवं बागवानी समिति के तत्वावधान में नबीपनाह में राजकीय सामुदायिक फल संरक्षण एवं प्रशिक्षण केंद्र अलीगंज की ओर से तीन दिवसीय खाद्य प्रसंस्करण जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया था.

खाद्य प्रसंस्करण से आत्मनिर्भर
राजकीय सामुदायिक फल संरक्षण एवं प्रशिक्षण केंद्र प्रभारी डॉ. संजीव कुमार सिंह चौहान ने बेरोजगार महिलाओं एवं नवयुवकों को बताया की कैसे खाद्य प्रसंस्करण द्वारा आप अपना उद्यम लगाकर आत्मनिर्भर बन सकते हैं. उन्होंने राज्य सरकार की ओर से खाद्य प्रसंस्करण को बढ़ावा देने के लिए दिए जाने वाले विशेष अनुदान के बारे में बताया. छोटे किसानों को अपने उत्पादों को एकत्रित करके ग्रेडिंग एवं पैकिंग कर सप्लाई करने में होने वाले लाभ के बारे में भी समझाया.

महिलाओं को किया गया प्रशिक्षित
जागरूकता शिविर में महिलाओं को चिप्स,पापड़,बड़ी,आम एवं मिश्रित सब्जियों का अचार बनाने का प्रशिक्षण दिया गया. इस कार्यक्रम में स्वावलंबन महिला स्वयं सहायता समूह की अध्यक्षा ने अन्य ग्रामीण महिलाओं को अपनी सफलता के बारे में बताया की कैसे उन्होंने अपना उद्योग 3 वर्ष पूर्व आम की खटाई से शुरू किया. उसके बाद इन्होंने आम के मूल्य संवर्धन में केंद्रीय उपोष्ण बागवानी संस्थान के फार्मर फर्स्ट परियोजना के अंतर्गत प्रशिक्षण लेकर महिला स्वयं सहायता समूह की स्थापना कर दशहरी आम के कई उत्पादों को तैयार किया. इनमें अचार, अमचूर, आम पना शामिल हैं.

प्रमाण पत्र वितरित किए
कार्यक्रम के तीसरे दिन 30 महिलाओं एवं नवयुवकों को तीन दिवसीय प्रशिक्षण का प्रमाण पत्र दिया गया. इस कार्यक्रम में अवध आम उत्पादक एवं बागवानी समिति के अध्यक्ष डॉ. रघुबीर सिंह, उपेन्द्र कुमार सिंह,उपाध्यक्ष सतीश कुमार सिंह, रोहित जायसवाल, निर्मल सिंह, धर्मेन्द्र प्रताप सहित 80 से अधिक ग्रामीणों ने भाग लिया. इसमें 50 महिला प्रशिक्षु उपस्थित थीं.

मूल्य संवर्धन है कम
अवध आम उत्पादक एवं बागवानी समिति नबीपनाह के महासचिव उपेन्द्र कुमार सिंह ने बताया की मलिहाबाद में आम की बागवानी की जाती है लेकिन आम का मूल्य संवर्धन बेहद कम है. ऐसे में आम प्रसंस्करण को कुटीर उद्योग के रूप में विकसित करना होगा. इससे ग्रामीण महिलाओं को रोजगार भी मिलेगा. इसके साथ ही महिला समूह ने आम के गूदे को निकाल कर उसे संरक्षित करने का भी जिम्मा उठाते हुए वोकल फॉर लोकल के नारे को भी सच कर दिखाया है.

लखनऊः जिले में चल रहे तीन दिवसीय खाद्य प्रसंस्करण जागरूकता शिविर का गुरुवार को समापन हो गया. इसमें युवाओं को आत्मनिर्भर होने के तरीकों का प्रशिक्षण दिया गया. गौरतलब है कि प्रदेश सरकार ग्रामीण क्षेत्रों में स्वरोजगार को बढ़ावा देने के लिए और ग्रामीण क्षेत्रों से युवाओं का पलायन रोकने के लिए रोजगार उन्मूलन महात्मा गांधी ग्राम स्वरोजगार योजना चला रही है. इसी के तहत अवध आम उत्पादक एवं बागवानी समिति के तत्वावधान में नबीपनाह में राजकीय सामुदायिक फल संरक्षण एवं प्रशिक्षण केंद्र अलीगंज की ओर से तीन दिवसीय खाद्य प्रसंस्करण जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया था.

खाद्य प्रसंस्करण से आत्मनिर्भर
राजकीय सामुदायिक फल संरक्षण एवं प्रशिक्षण केंद्र प्रभारी डॉ. संजीव कुमार सिंह चौहान ने बेरोजगार महिलाओं एवं नवयुवकों को बताया की कैसे खाद्य प्रसंस्करण द्वारा आप अपना उद्यम लगाकर आत्मनिर्भर बन सकते हैं. उन्होंने राज्य सरकार की ओर से खाद्य प्रसंस्करण को बढ़ावा देने के लिए दिए जाने वाले विशेष अनुदान के बारे में बताया. छोटे किसानों को अपने उत्पादों को एकत्रित करके ग्रेडिंग एवं पैकिंग कर सप्लाई करने में होने वाले लाभ के बारे में भी समझाया.

महिलाओं को किया गया प्रशिक्षित
जागरूकता शिविर में महिलाओं को चिप्स,पापड़,बड़ी,आम एवं मिश्रित सब्जियों का अचार बनाने का प्रशिक्षण दिया गया. इस कार्यक्रम में स्वावलंबन महिला स्वयं सहायता समूह की अध्यक्षा ने अन्य ग्रामीण महिलाओं को अपनी सफलता के बारे में बताया की कैसे उन्होंने अपना उद्योग 3 वर्ष पूर्व आम की खटाई से शुरू किया. उसके बाद इन्होंने आम के मूल्य संवर्धन में केंद्रीय उपोष्ण बागवानी संस्थान के फार्मर फर्स्ट परियोजना के अंतर्गत प्रशिक्षण लेकर महिला स्वयं सहायता समूह की स्थापना कर दशहरी आम के कई उत्पादों को तैयार किया. इनमें अचार, अमचूर, आम पना शामिल हैं.

प्रमाण पत्र वितरित किए
कार्यक्रम के तीसरे दिन 30 महिलाओं एवं नवयुवकों को तीन दिवसीय प्रशिक्षण का प्रमाण पत्र दिया गया. इस कार्यक्रम में अवध आम उत्पादक एवं बागवानी समिति के अध्यक्ष डॉ. रघुबीर सिंह, उपेन्द्र कुमार सिंह,उपाध्यक्ष सतीश कुमार सिंह, रोहित जायसवाल, निर्मल सिंह, धर्मेन्द्र प्रताप सहित 80 से अधिक ग्रामीणों ने भाग लिया. इसमें 50 महिला प्रशिक्षु उपस्थित थीं.

मूल्य संवर्धन है कम
अवध आम उत्पादक एवं बागवानी समिति नबीपनाह के महासचिव उपेन्द्र कुमार सिंह ने बताया की मलिहाबाद में आम की बागवानी की जाती है लेकिन आम का मूल्य संवर्धन बेहद कम है. ऐसे में आम प्रसंस्करण को कुटीर उद्योग के रूप में विकसित करना होगा. इससे ग्रामीण महिलाओं को रोजगार भी मिलेगा. इसके साथ ही महिला समूह ने आम के गूदे को निकाल कर उसे संरक्षित करने का भी जिम्मा उठाते हुए वोकल फॉर लोकल के नारे को भी सच कर दिखाया है.

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