कासगंजः यूपी के कासगंज में एक शिक्षक ने स्कूल प्रबंधन पर तिलक लगाने के चलते स्कूल से निकालने का आरोप लगाया है. शिक्षक का कहना है कि उसने मामले में कई बार प्रशासनिक अधिकारियों से शिकायत की, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई. अब शिक्षक ने सीएम योगी आदित्यनाथ को अपने खून से पत्र लिखकर न्याय की गुहार लगाई है.
जिले के सेंट जोसेफ स्कूल में शिक्षक के रूप में तैनात रहे एटा के महाराणा प्रताप नगर के रहने वाले विकास तिवारी ने बताया कि वह वर्ष 2014 में संविदा पर बतौर हिंदी के शिक्षक पद पर नियुक्त हुए थे. बाद में वर्ष 2019 में उन्हें परमानेंट कर दिया गया. 2019 में स्कूल के प्रिंसिपल रॉबर्ट पीटर फारगे का स्थानांतरण हो गया. उनकी जगह पर स्कूल के नए प्रिंसिपल बनकर आए रॉबर्ट बरगी ने उनके साथ धार्मिक पक्षपात किया. नए प्रिंसिपल ने उन्हें कलावा बांधने और तिलक लगाने से रोका और कहा कि तिलक लगाकर स्कूल में कार्य नहीं करने दिया जाएगा.
विकास ने बताया कि जब उन्होंने तिलक लगाना बंद नहीं किया तो उन्हें स्कूल प्रबंधन ने नौकरी से निकाल दिया. इस संबंध में उन्होंने जिले के प्रशासनिक अधिकारियों से कई बार शिकायत की. लेकिन, कोई कार्रवाई नहीं हुई. विकास तिवारी ने बताया कि अब जब कोई कार्रवाई नहीं हुई है तब मैंने अपने खून से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को पत्र लिखकर न्याय की गुहार लगाई है.
वहीं इस पूरे मामले पर सेंट जोसेफ स्कूल के प्रिंसिपल डॉ. रॉबर्ट बरगी का कहना है कि प्रशिक्षक विकास तिवारी उनके यहां संविदा शिक्षक के रूप में तैनात था. लेकिन, इस वर्ष स्कूल प्रबंधन ने उनकी संविदा समाप्त करने का निर्णय लिया. संविदा समाप्त हो जाने के बाद शिक्षक द्वारा स्कूल को ब्लैकमेल करने के उद्देश्य से उक्त पत्र को खून से लिखा जाता है. अगर उन्हें लगता है कि उनके साथ कुछ गलत हुआ है तो वह न्यायालय का रास्ता अपनाएं. शिक्षक के द्वारा लगाए गए सभी आरोप निराधार हैं.
ये भी पढ़ें- लखनऊ और कानपुर को इलेक्ट्रिक बसों का तोहफा, सीएम योगी ने दिखाई हरी झंडी