कासगंज: जिले में आशा कार्यकर्ताओं के द्वारा प्रसूताओं को निजी अस्पतालों में भर्ती कराए जाने के कई मामले सामने आने के बाद स्वास्थ्य विभाग एक्शन मोड़ में आ गया है, जिसके चलते जिले के सभी चिकित्साधिक्षक को ऐसी आशाओं को कड़ी चेतावनी देने के निर्देश दिए गए हैं तो वहीं फर्जी नर्सिंग होम और झोलाछाप डॉक्टरों पर भी कार्रवाई की तैयारी चल रही है.
दरअसल, जिले में कई आशा कार्यकर्ताओं के द्वारा ग्रामीण क्षेत्रों से प्रसूताओं को सरकारी अस्पताल में प्रसव या अन्य उपचार के लिए न लाकर पैसों और कमीशन के लालच में निजी अस्पतालों में भर्ती कराए जाने के कई मामले प्रकाश में आने के बाद स्वास्थ्य विभाग अब एक्शन मोड़ में आ गया है, जिसके चलते कासगंज के नवागत मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. अनिल कुमार ने जिले के सभी सीएचसी और पीएचसी पर तैनात चिकित्साधिक्षक की बैठक कर आशाओं को सख्त चेतावनी देने के निर्देश दिए हैं.
मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. अनिल कुमार ने बताया कि ऐसी आशा कार्यकर्ता अगर अपनी आदतों से बाज नहीं आईं तो उनके निष्कासन की कार्रवाई की जाएगी.
वहीं जनपद में चल रहे कई अवैध नर्सिंग होम जो अवैध धन वसूली भी कर रहे हैं, उन पर भी सख्त कार्रवाई को लेकर एक टीम बनाई गई है. जल्द से जल्द उन पर एक्शन होने वाला है. वहीं सभी निजी अस्पतालों को सीसीटीवी लगाने के निर्देश दिए जा रहे हैं, जिससे हमारी टीम कभी भी अस्पतालों में पहुंचकर उनके डीबीआर की जांच कर सकेगी कि जिससे हमें पता चल सके कि कोई अवैध कार्य हो रहा है या नहीं.
अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. प्रदीप कुमार ने बताया कि आशा कार्यकर्ताओं की बैठक कर उन्हें प्रसूताओं को निजी अस्पतालों में न ले जाने की सख्त चेतावनी देने के निर्देश दिए गए हैं. वहीं निजी चिकित्सालयों में भी हम अपने कर्मचारी लगा कर गुप्त रूप से जांच कराएंगे और दोषी पाए जाने पर आशाओं पर विभागीय कार्रवाई की जाएगी.
वहीं जगह-जगह अपनी दुकान चला रहे झोलाछाप डॉक्टरों पर कार्रवाई को लेकर अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. प्रदीप कुमार ने बताया कि हमने सभी एमओआईसी और यूनानी सहित होम्योपैथी और आयुर्वेदिक चिकित्साधिकारी को पंजीकृत डॉक्टरों की सूची तैयार करने के निर्देश दिए हैं. इसके अलावा जितने भी गैर पंजीकृत डॉक्टर पाए जाते हैं, उन पर सख्त कार्रवाई कर मुकदमा पंजीकृत कराया जाएगा.