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एनएसआई कैम्पस में फिर आया तेंदुआ, गर्ल्स हॉस्टल में मची भगदड़

कानपुर के एनएसआई कैम्पस में शुक्रवार सुबह एक बार फिर तेंदुआ गया. संस्थान के सुरक्षाकर्मियों ने शुक्रवार सुबह पौने चार बजे गर्ल्स हॉस्टल के पास रोड क्रॉस करते तेंदुआ को देखा गया.

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Published : Nov 25, 2022, 11:44 AM IST

कानपुर: करीब एक हफ्ते तक पूरी तरह छिपे रहने के बाद कानपुर के राष्ट्रीय शर्करा संस्थान (एनएसआई) कैम्पस में एक बार फिर से तेंदुआ आ गया. सुबह करीब पौने चार बजे संस्थान के सुरक्षाकर्मियों ने गर्ल्स हॉस्टल के पास तेंदुआ को रोड क्रास करते देखा, तो वहीं पास में लगे सीसीटीवी कैमरा में तेंदुआ की चहलकदमी भी रिकॉर्ड हो गई. किसी तरह की अनहोनी हो, उससे पहले सुरक्षाकर्मियों ने यह सूचना निदेशक प्रो.नरेंद्र मोहन को दी.

एनएसआई कैम्पस में फिर पहुंचा तेंदुआ

निदेशक ने वन विभाग टीम को फौरन ही कैम्पस में बुलवाया. हालांकि, तेंदुआ के आने से छात्राओं में हड़कंप की स्थिति है. सभी छात्राओं ने खुद के हॉस्टल के कमरों में बंद कर लिया. डीएफओ श्रद्धा यादव ने कहा कि एनएसआई और आईआईटी कानपुर कैम्पस में तेंदुआ दिखने की सूचना मिली है. टीम को मौके पर भेजा गया है. जाल लगाकर तेंदुआ को पकड़ेंगे.

15 दिन वन विभाग अफसरों को जमकर दौड़ाया: लगभग एक हफ्ते पहले जब तेंदुआ आईआईटी कानपुर से एनएसआई कैम्पस के बीच घूम रहा था, तब तेंदुआ ने लगातार 15 दिनों तक वन विभाग अफसरों को खूब दौड़ाया. आईआईटी, एनएसआई से घूमते-घूमते तेंदुआ शहर के घनी आबादी वाले क्षेत्र ऑर्डिनेंस फैक्ट्री तक जा पहुंचा, लेकिन अफसर उसे पकड़ नहीं पाए. तेंदुआ की हर गतिविधि सीसीटीवी कैमरा में भी कैद होती रही, लेकिन अफसर केवल हाथ मलते रहे.

लखीमपुर से जू पहुंचा तेंदुआ, मिली उम्रकैद की सजा: लखीमपुर खीरी से सात साल के एक तेंदुआ को रेस्क्यू कर कानपुर जू लाया गया है. तेंदुआ ने लखीमपुर में कई लोगों को घायल कर दिया था. उसके व्यवहार को देखते हुए प्रमुख वन संरक्षक वन्य जीव ने तेंदुआ को आजीवन उम्रकैद की सजा सुनाई है. वहीं, चिकित्सकों ने तेंदुआ के खौफनाक व्यवहार को भांपते हुए उसका नाम जग्गू रखा है.

यह भी पढ़ें: अचानक बाइक के सामने आया तेंदुआ, जानिए फिर क्या हुआ...

कानपुर: करीब एक हफ्ते तक पूरी तरह छिपे रहने के बाद कानपुर के राष्ट्रीय शर्करा संस्थान (एनएसआई) कैम्पस में एक बार फिर से तेंदुआ आ गया. सुबह करीब पौने चार बजे संस्थान के सुरक्षाकर्मियों ने गर्ल्स हॉस्टल के पास तेंदुआ को रोड क्रास करते देखा, तो वहीं पास में लगे सीसीटीवी कैमरा में तेंदुआ की चहलकदमी भी रिकॉर्ड हो गई. किसी तरह की अनहोनी हो, उससे पहले सुरक्षाकर्मियों ने यह सूचना निदेशक प्रो.नरेंद्र मोहन को दी.

एनएसआई कैम्पस में फिर पहुंचा तेंदुआ

निदेशक ने वन विभाग टीम को फौरन ही कैम्पस में बुलवाया. हालांकि, तेंदुआ के आने से छात्राओं में हड़कंप की स्थिति है. सभी छात्राओं ने खुद के हॉस्टल के कमरों में बंद कर लिया. डीएफओ श्रद्धा यादव ने कहा कि एनएसआई और आईआईटी कानपुर कैम्पस में तेंदुआ दिखने की सूचना मिली है. टीम को मौके पर भेजा गया है. जाल लगाकर तेंदुआ को पकड़ेंगे.

15 दिन वन विभाग अफसरों को जमकर दौड़ाया: लगभग एक हफ्ते पहले जब तेंदुआ आईआईटी कानपुर से एनएसआई कैम्पस के बीच घूम रहा था, तब तेंदुआ ने लगातार 15 दिनों तक वन विभाग अफसरों को खूब दौड़ाया. आईआईटी, एनएसआई से घूमते-घूमते तेंदुआ शहर के घनी आबादी वाले क्षेत्र ऑर्डिनेंस फैक्ट्री तक जा पहुंचा, लेकिन अफसर उसे पकड़ नहीं पाए. तेंदुआ की हर गतिविधि सीसीटीवी कैमरा में भी कैद होती रही, लेकिन अफसर केवल हाथ मलते रहे.

लखीमपुर से जू पहुंचा तेंदुआ, मिली उम्रकैद की सजा: लखीमपुर खीरी से सात साल के एक तेंदुआ को रेस्क्यू कर कानपुर जू लाया गया है. तेंदुआ ने लखीमपुर में कई लोगों को घायल कर दिया था. उसके व्यवहार को देखते हुए प्रमुख वन संरक्षक वन्य जीव ने तेंदुआ को आजीवन उम्रकैद की सजा सुनाई है. वहीं, चिकित्सकों ने तेंदुआ के खौफनाक व्यवहार को भांपते हुए उसका नाम जग्गू रखा है.

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