जौनपुरः सरकार एक तरफ किसानों की आय को 2022 तक दोगुना करने की बात कह रही है, वहीं दूसरी तरफ किसान इन दिनों आवारा पशुओं से बेहद परेशान हैं. किसान के लिए उसकी फसल ही उसके सपनों को पूरा करने का एक जरिया होती है, लेकिन इस फसल पर इन दिनों आवारा पशुओं का संकट मंडरा रहा है.
आवारा पशुओं से परेशान किसान. अन्ना पशु झुंड में घूमते हैं और किसान की खड़ी फसल को पलभर में बर्बाद कर देते हैं, जिसके कारण किसान इन दिनों मुसीबत में है. वहीं जिला प्रशासन किसानों की समस्या के चलते प्रत्येक विकासखंड में चार-चार और गोशालाओं को बनाने का निर्देश दिया गया है, लेकिन यह निर्देश अभी कागजों में ही है.अभी तक जनपद में 1900 बेसहारा पशुओं को गोशालाओं के माध्यम से संरक्षित किया गया है, जबकि इनकी भारी संख्या अभी भी सड़कों पर खुलेआम घूम रही है. अपनी खड़ी फसल के बर्बाद होने से परेशान अशोक यादव ने बताया कि उनकी धान, गन्ना, चना और मटर जैसी फसलें यह पशु बर्बाद कर चुके हैं, जिसके कारण वह बहुत परेशान हैं.
आवारा पशुओं की समस्या को देखते हुए प्रत्येक विकासखंड में चार-चार और गोशाला मनरेगा के तहत बनाने का निर्देश दिया गया है. वहीं अभी जनपद में 1900 गोवंश गोशालाओं में संरक्षित हैं, जबकि इनकी संख्या लगभग 4000 तक है. जिनको इन गोशालाओं में संरक्षित करना है.
-दिनेश कुमार सिंह, जिलाधिकारी