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हरदोई: बिजली विभाग को टूटी सीढ़ियों सहारा

उत्तर प्रदेश के हरदोई में बिजली विभाग की हालत बहुत ही खराब चल रही है. एक सीढ़ी को लाने के लिए तीन से चार कर्मचारी लग जाते हैं. इसे लोहे के पहियों वाली एक भारी भरकम ट्रॉली पर लाया जाता है.

तकनीकी के क्षेत्र से कोसों दूर है बिजली विभाग.
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Published : Aug 22, 2019, 12:40 PM IST

हरदोई: जिले में वैसे तो तमाम विभाग मौजूद हैं. सभी विभागों में तकनीकी का बढ़ता स्तर भी यहां मौजूद संसाधनों से लगाया जा सकता है. लेकिन जिले का बिजली विभाग आखिर क्यों बढ़ते विज्ञान और तकनीकी जगत से कोसों दूर नजर आ रहा है. एक सीढ़ी को लाने के लिए तीन से चार कर्मचारी लगते हैं. इतना ही नहीं मामला और भी चौंकाने वाला तब हो जाता है, जब इन सीढ़ियों की स्थिति जर्जर और बदहाल हो. जिले के बिजली विभाग के पास जो सीढियां मौजूद हैं वो टूटी और बदहाल अवस्था में हैं.

तकनीकी के क्षेत्र से कोसों दूर है बिजली विभाग.

बिजली विभाग की जर्जर सीढ़िया-

  • दूर से ही आवाज़ के आते ही लोग समझ जाते हैं कि बिजली विभाग की शोर करने वाली गाड़ी आ रही है.
  • शायद कहीं बिजली खराब है अब तो घण्टों बाद ही बिजली आएगी.
  • जिले का बिजली विभाग आज भी पुराने जामने की पद्दति पर चल रहा है.
  • इस विभाग को टूटी हुई और जर्जर सीढ़ियों के सहारा मात्र है.
  • जब नगर पालिका और अन्य विभागों के पास ऊंचाइयों पर चढ़ कर काम करने के लिए हाइड्रोलिक मशीनें व वाहन मौजूद हैं.
  • तो बिजली विभाग इन संसाधनों की पहुंच से कोसों दूर है.
  • इस विभाग में आज भी बाबा आदम के जमाने की बांस की बनी सीढ़ियों के सहारे लाइन मैन बिजली के पोलों पर चढ़ कर बिजली बनाने और अन्य कामों को अंजाम दे रहे हैं.

जल्द ही बिजली विभाग को भी इन बाबा आदम जमाने के संसाधनों से छुटकारा मिलकर अत्याधुनिक संसाधनों का सुख प्राप्त हो पाएगा.

-पुलकित खरे, जिलाधिकारी

पढ़ें-हरदोई: 9 परिवारों के घरों पर चला बुलडोजर, लोगों ने किया चक्का जाम

हरदोई: जिले में वैसे तो तमाम विभाग मौजूद हैं. सभी विभागों में तकनीकी का बढ़ता स्तर भी यहां मौजूद संसाधनों से लगाया जा सकता है. लेकिन जिले का बिजली विभाग आखिर क्यों बढ़ते विज्ञान और तकनीकी जगत से कोसों दूर नजर आ रहा है. एक सीढ़ी को लाने के लिए तीन से चार कर्मचारी लगते हैं. इतना ही नहीं मामला और भी चौंकाने वाला तब हो जाता है, जब इन सीढ़ियों की स्थिति जर्जर और बदहाल हो. जिले के बिजली विभाग के पास जो सीढियां मौजूद हैं वो टूटी और बदहाल अवस्था में हैं.

तकनीकी के क्षेत्र से कोसों दूर है बिजली विभाग.

बिजली विभाग की जर्जर सीढ़िया-

  • दूर से ही आवाज़ के आते ही लोग समझ जाते हैं कि बिजली विभाग की शोर करने वाली गाड़ी आ रही है.
  • शायद कहीं बिजली खराब है अब तो घण्टों बाद ही बिजली आएगी.
  • जिले का बिजली विभाग आज भी पुराने जामने की पद्दति पर चल रहा है.
  • इस विभाग को टूटी हुई और जर्जर सीढ़ियों के सहारा मात्र है.
  • जब नगर पालिका और अन्य विभागों के पास ऊंचाइयों पर चढ़ कर काम करने के लिए हाइड्रोलिक मशीनें व वाहन मौजूद हैं.
  • तो बिजली विभाग इन संसाधनों की पहुंच से कोसों दूर है.
  • इस विभाग में आज भी बाबा आदम के जमाने की बांस की बनी सीढ़ियों के सहारे लाइन मैन बिजली के पोलों पर चढ़ कर बिजली बनाने और अन्य कामों को अंजाम दे रहे हैं.

जल्द ही बिजली विभाग को भी इन बाबा आदम जमाने के संसाधनों से छुटकारा मिलकर अत्याधुनिक संसाधनों का सुख प्राप्त हो पाएगा.

-पुलकित खरे, जिलाधिकारी

पढ़ें-हरदोई: 9 परिवारों के घरों पर चला बुलडोजर, लोगों ने किया चक्का जाम

Intro:आकाश शुक्ला हरदोई। 9919941250

एंकर--हरदोई जिले में वैसे तो तमाम विभाग मौजूद हैं।सभी विभागों में तकनीकी का बढ़ता स्तर भी यहां मौजूद संसाधनों से लगाया जा सकता है।लेकिन आज जिले का बिजली विभाग आखिर क्यों बढ़ते विज्ञान और तकनीकी जगत से कोसों दूर नजर आ रहा है। ईटीवी की टीम आपको दिखाने जा रही है इस विभाग कि बेबसी और विभाग का सहारा।आइए ले चलते हैं आपको यहां मौजूद संसाधनों की तरफ।


Body:वीओ--1--खर्र खर्र खरररर ये आवाज़ किसी और चीज़ की नहीं बल्कि बिजली विभाग में मौजूद लोहे के पहियों वाली सीढ़ी ट्रॉली की है।आज दूर से ही इस आवाज़ के आते ही लोग समझ जाते हैं कि बिजली विभाग की शोर करने वाली गाड़ी आ रही है शायद कहीं बिजली खराब है अब तो घण्टों बाद ही बिजली आएगी।जिले का बिजली विभाग आज भी पुराने जामने की पद्दति पर चल रहा है।इस वीभग को टूटी हुई और जर्जर सीढ़ियों के सहारा मात्र है।आज जब नगर पालिका व अन्य विभागों के पास ऊंचाइयों पर चढ़ कर काम करने के लिए हाइड्रोलिक मशीनें व वाहन मौजूद हैं।तो बिजली विभाग इन संसाधनों की पहुंच से कोसों दूर है।इस विभाग में आज भी बाबा आदम के जमाने की बांस की बनी सीढ़ियों के सहारे लाइन मैन बिजली के पोलों पर चढ़ कर बिजली बनाने व अन्य कामों को अंजाम दे रहे हैं।इससे न सिर्फ लाइन मैनो को खतरा रहता है बल्कि चंद मिनटों के काम मे घंटो लग जाते हैं।जैसा कि आप तस्वीरों में देख सकते हैं, की एक सीढ़ी को तीन से चार कर्मचारी लाने ले जाने का काम कर रहे हैं।इसे लोहे के पहियों वाली एक भारी भरकम ट्रॉली पर लाया जाता है।इतना ही नहीं मामला और भी चौकाने वाला तब हो जाता है जब इन सीढ़ियों की स्थिति जर्जर और बदहाल हो।जिले के बिजली विभाग के पास जो सीढियां मौजूद हैं वो टूटी और बदहाल अवस्था मे हैं।ऐसे में कभी भी ये काम के दौरान टूट सकती हैं एयर किसी बड़े हादसे को दावत दी सकती हैं।

विसुअल विद वॉइस ओवर

वीओ--2--सवाल ये उठता है कि आज के इस अत्याधुनिक युग मे जब विज्ञान आसमान की ऊंचाइयों को छू रहा है।तब एक अहम विभाग बिजली विभाग के पास आखिर इन संसाधनों व सुविधाओ का अभाव क्यों?इसका जवाब किसी के पास नहीं है।हालांकि सीढ़ियों के सहारे चलने वाले इस विभाग के एक लाइन मैन से जब जानकारी ली गयी तो कैमरे के सामने आते ही आ रही समस्याओं का बखान करना शुरू कर दिया।

बाईट--रामशंकर--लाइन मैन

वीओ--3--वहीं जिलाधिकारी ने इस बात को माना और इस विषय मे जानकारी भी दी।कहा कि शासन को इस संबंध में अवगत भी कराया गया है।कहा कि जल्द ही बिजली विभाग को भी इन बाबा आदम जमाने के संसाधनों से छुटकारा मिलकर अत्याधुनिक संसाधनों का सुख प्राप्त हो पाएगा।

बाईट--पुलकित खरे--जिलाधिकारी हरदोई
पीटूसी


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