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शिल्प बाजार में दिखी कई राज्यों की कला, मिल रहे ये हस्तशिल्प - गोरखपुर हस्तशिल्पी

गोरखपुर में भारत सरकार की तरफ से शिल्प बाजार का आयोजन किया गया है. इसमें देश के विभिन्न प्रांतों के हस्तशिल्पी अपने हुनर का जादू अपने उत्पाद के माध्यम से दिखाने पहुंचे हुए हैं.

शिल्प बाजार का आयोजन
शिल्प बाजार का आयोजन
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Published : Feb 1, 2021, 2:36 PM IST

गोरखपुर: हाथ के हुनर को पहचान देने के लिए विकास आयुक्त हस्तशिल्प एवं वस्त्र मंत्रालय भारत सरकार ने गोरखपुर में शिल्प बाजार का आयोजन कियाहै. इस बाजार में देश के विभिन्न प्रांतों के हस्तशिल्पी अपने उत्पाद लेकर आए हैं. शिल्पी कर्नाटक, बंगाल, राजस्थान, बिहार, उड़ीसा के अलावा यूपी के कालीन और टेराकोटा उत्पाद भी लेकर आए हैं. हस्तशिल्प विकास आयुक्त का मानना है कि कोरोना की महामारी से शिल्पियों के कारोबार पर बुरा असर पड़ा है. शिल्पियों और ग्राहकों को लाभ दिलाने के लिए ही देश के विभिन्न प्रान्तों में शिल्प बाजार का आयोजन किया गया है. इसी क्रम में गोरखपुर में भी शिल्प बाजार का आयोजन किया गया है.

राज्यों की दिखी कला

उत्पाद को बाजार देने के लिए हुआ आयोजन

भारत सरकार के वस्त्र मंत्रालय के तहत पंजीकृत हस्त शिल्पियों को इन बाजारों में निःशुल्क स्टॉल उपलब्ध कराई गई है. साथ ही सरकार शिल्पियों को आने-जाने के लिए भी मदद दे रही है. गोरखपुर में यह आयोजन 10 दिनों तक चलेगा. इसका उद्घाटन अपर आयुक्त ने किया. उन्होंने इस दौरान शिल्प बाजार का भ्रमण भी किया. इसमें मुरादाबाद के पीतल, बरेली की जरी जरदोजी, भदोही की कालीन, मधुबनी की पेंटिंग, आगरा से लेदर आइटम, लखनऊ का चिकन, पिथौरागढ़ की हैंड एंब्रॉयडरी, पश्चिम बंगाल के ड्राई फ्लावर, निजामाबाद की ब्लैक पॉटरी, राजस्थान के लेदर प्रोडक्ट और कर्नाटक से मोती और पत्थर के उत्पाद लेकर शिल्पी आए हैं.

शिल्पियों की आय बढ़ेगी

इस हस्तशिल्प बाजार में कुल 100 स्टॉल लगाए गए हैं. इसमें विभिन्न प्रांतों से आए शिल्पियों की कला का अद्भुत नजारा देखने को मिल रहा है. हस्तशिल्प संवर्धन अधिकारी रामजी त्रिपाठी ने इस दौरान कहा कि इस तरह के बाजार सृजन से शिल्पियों के रोजगार में वृद्धि होती है और हुनर का आदान-प्रदान भी होता है. क्षेत्रीय निदेशक ने दावा किया कि इस बाजार की मदद से कोरोना काल में आर्थिक संकट में शिल्पियों को उबारा जा सकेगा. अपर आयुक्त अजय कांत सैनी ने कहा कि एक ही छत के नीचे भारत के विभिन्न राज्यों और जिलों की विभिन्न वस्तुएं लगा कर सरकार शिल्पियों को प्रोत्साहित करना चाहती है. इससे देश और इस कारोबार से जुड़े लोग विकास के पथ पर तेजी से अग्रसर होंगे.

गोरखपुर: हाथ के हुनर को पहचान देने के लिए विकास आयुक्त हस्तशिल्प एवं वस्त्र मंत्रालय भारत सरकार ने गोरखपुर में शिल्प बाजार का आयोजन कियाहै. इस बाजार में देश के विभिन्न प्रांतों के हस्तशिल्पी अपने उत्पाद लेकर आए हैं. शिल्पी कर्नाटक, बंगाल, राजस्थान, बिहार, उड़ीसा के अलावा यूपी के कालीन और टेराकोटा उत्पाद भी लेकर आए हैं. हस्तशिल्प विकास आयुक्त का मानना है कि कोरोना की महामारी से शिल्पियों के कारोबार पर बुरा असर पड़ा है. शिल्पियों और ग्राहकों को लाभ दिलाने के लिए ही देश के विभिन्न प्रान्तों में शिल्प बाजार का आयोजन किया गया है. इसी क्रम में गोरखपुर में भी शिल्प बाजार का आयोजन किया गया है.

राज्यों की दिखी कला

उत्पाद को बाजार देने के लिए हुआ आयोजन

भारत सरकार के वस्त्र मंत्रालय के तहत पंजीकृत हस्त शिल्पियों को इन बाजारों में निःशुल्क स्टॉल उपलब्ध कराई गई है. साथ ही सरकार शिल्पियों को आने-जाने के लिए भी मदद दे रही है. गोरखपुर में यह आयोजन 10 दिनों तक चलेगा. इसका उद्घाटन अपर आयुक्त ने किया. उन्होंने इस दौरान शिल्प बाजार का भ्रमण भी किया. इसमें मुरादाबाद के पीतल, बरेली की जरी जरदोजी, भदोही की कालीन, मधुबनी की पेंटिंग, आगरा से लेदर आइटम, लखनऊ का चिकन, पिथौरागढ़ की हैंड एंब्रॉयडरी, पश्चिम बंगाल के ड्राई फ्लावर, निजामाबाद की ब्लैक पॉटरी, राजस्थान के लेदर प्रोडक्ट और कर्नाटक से मोती और पत्थर के उत्पाद लेकर शिल्पी आए हैं.

शिल्पियों की आय बढ़ेगी

इस हस्तशिल्प बाजार में कुल 100 स्टॉल लगाए गए हैं. इसमें विभिन्न प्रांतों से आए शिल्पियों की कला का अद्भुत नजारा देखने को मिल रहा है. हस्तशिल्प संवर्धन अधिकारी रामजी त्रिपाठी ने इस दौरान कहा कि इस तरह के बाजार सृजन से शिल्पियों के रोजगार में वृद्धि होती है और हुनर का आदान-प्रदान भी होता है. क्षेत्रीय निदेशक ने दावा किया कि इस बाजार की मदद से कोरोना काल में आर्थिक संकट में शिल्पियों को उबारा जा सकेगा. अपर आयुक्त अजय कांत सैनी ने कहा कि एक ही छत के नीचे भारत के विभिन्न राज्यों और जिलों की विभिन्न वस्तुएं लगा कर सरकार शिल्पियों को प्रोत्साहित करना चाहती है. इससे देश और इस कारोबार से जुड़े लोग विकास के पथ पर तेजी से अग्रसर होंगे.

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